रायपुर : सरकारी कर्मचारी अधिकारी मोर्चा ने लंबित महंगाई भत्ता की मांग को लेकर 9 सितंबर को एकदिवसीय हड़ताल की घोषणा की है. जबकि कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने 11 और 27 सितंबर को एक दिवसीय हड़ताल की घोषणा की है.
छग कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने किया ऐलान : छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन ने ब्लॉक और जिला स्तर पर मशाल रैली आयोजित करने का फैसला किया है. इसके साथ ही 27 सितंबर को भी सभी जिला मुख्यालय में प्रदर्शन करने की भी तैयारी है. छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन के प्रांतीय संयोजक कमल वर्मा ने मीडिया से बात करते हुए फेडरेशन की मांगों को बताया है.
"11 सितंबर को ब्लॉक और जिला स्तर पर मशाल रैली आयोजित की जाएगी. इसके साथ ही 27 सितंबर को सभी जिला मुख्यालय में एक दिन का सामूहिक अवकाश लेकर प्रदर्शन किया जाएगा." - कमल वर्मा, प्रांतीय संयोजक, छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन
छत्तीसगढ़ कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन की मांगें :
- प्रदेश के कर्मचारियों को केंद्र के समान 1 जनवरी 2024 से 4 फीसदी महंगाई भत्ता दिया जाए.
- प्रदेश के कर्मचारियों को जुलाई 2019 से देय तिथि पर महंगाई भत्तों के साथ एरियर्स की राशि का समायोजन जीपीएफ खाते में किया जाए.
- प्रदेश के शासकीय सेवकों को चार स्तरीय समय मान वेतनमान दिया जाएय
- केंद्र के समान गृह भाड़ा भत्ता दिया जाए.
- एमपी सरकार की भांति प्रदेश के शासकीय सेवकों के अर्जित अवकाश के संचयन की अधिकतम सीमा 240 दिवस के स्थान पर 300 दिवस किया जाए.
छग शिक्षक संघर्ष मोर्चा का एकजुटता संदेश : छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा ने सरकारी कर्मचारी अधिकारी मोर्चा और कर्मचारी अधिकारी फेडरेशन एकजुट करने के लिए पत्र लिखा है. छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा के प्रदेश संचालक संजय शर्मा, वीरेंद्र दुबे, मनीष मिश्रा, विकास राजपूत ने कर्मचारियों के हितों के लिए दोनों ग्रुप से अपील किया कि 6 और 7 सितंबर तक बैठक कर पूर्व घोषित तिथि 9 सितंबर 11 सितंबर और 27 सितंबर को हड़ताल घोषित करें. उनका मानना है कि अलग-अलग हड़ताल से अपेक्षित लाभ नहीं मिलता.
छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा की मांगें : छत्तीसगढ़ शिक्षक संघर्ष मोर्चा ने एलबी संवर्ग शिक्षकों के मूल मांग में पूर्व सेवा की गणना कर प्रथम नियुक्ति तिथि से सही वेतन का निर्धारण करने की भी मांग की है. साथ ही सहायक शिक्षकों की वेतन विसंगति दूर कर क्रमोन्नति वेतनमान का निर्धारण करने और पुरानी पेंशन निर्धारित करने का मांग की गई है. इतना ही नहीं कुल 20 साल की पूर्ण सेवा में पुरानी पेंशन प्रदान करने की भी मांग रखी है.