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कैंची मोड़ पर जमीन धंसने से लटका पंडोह बाईपास का काम, स्थानीय लोगों में नाराजगी

पंडोह बाईपास का निर्माण कार्य लटकने से लोगों में नाराजगी जताई है. स्थानीय लोगों ने जल्द इसका निर्माण कार्य पूरा करने की मांग की है.

पंडोह बाईपास का निर्माण कार्य लटका
पंडोह बाईपास का निर्माण कार्य लटका (ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Nov 11, 2024, 1:43 PM IST

Updated : Nov 11, 2024, 4:43 PM IST

मंडी: कीतरपुर-मनाली फोरलेन प्रोजेक्ट के तहत पंडोह बाजार को बाईपास करने की मुहिम अभी भी सिरे नहीं चढ़ पा रही है. एनएचएआई ने अब कैंची मोड के आगे तक टनल बनाने की संभावना तलाशना शुरू कर दी है. इसके लिए प्रोजेक्ट की अलाइनमेंट में दोबारा से बदलाव करने के सुझाव एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर को मिले हैं, लेकिन पंडोह बाईपास का काम बार-बार लटकने से स्थानीय लोगों में नाराजगी देखी जा रही है.

बता दें कि पंडोह डैम के पास पिछले और इस बार की बरसात के दौरान काफी ज्यादा नुकसान हुआ था. यहां बन चुके फोरलेन का भी बहुत बड़ा भाग बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हुआ है और आज भी यहां पर जमीन धंस रही है. इस कारण एनएचएआई के मुख्यालय ने अब पंडोह बाईपास की अलाइनमेंट में बदलाव करके यहां पहले से प्रस्तावित टनल के विस्तार की संभावनाओं को तलाशने की प्रपोजल मांगी है. दरअसल एनएचएआई चाहती है कि पंडोह बाईपास प्रोजेक्ट में पंडोह डैम के पास जो 900 मीटर की टनल प्रस्तावित है उसे आगे तक बढ़ाया जाए, क्योंकि यहां पर जो फोरलेन क्षतिग्रस्त हुआ है भविष्य में उसके और ज्यादा क्षतिग्रस्त होने की भी पूरी संभावना है. इसलिए यहां पर टनल के विस्तार पर ही जोर दिया जा रहा है. इसलिए एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर को इसकी दोबारा से अलाइनमेंट करने के आदेश दिए गए हैं.

एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर वरूण चारी ने बताया कि, 'कैंची मोड़ के पास टनल निर्माण की संभावनाएं तलाशने की प्रपोजल आई है. जियो टैगिंग के जरिए यहां पर सर्वे किया जा रहा है. सर्वे के बाद सारी रिपोर्ट बनाकर मुख्यालय को भेजी जाएगी. जल्द ही पंडोह बाईपास की अलाइनमेंट अप्रूव करवाकर इस कार्य को शुरू कर दिया जाएगा.'

नजर नहीं आ रही टनल निर्माण की संभावना

मौजूदा स्थिति की बात करें तो यहां पर हाल फिलहाल में टनल निर्माण की कोई संभावना नजर नहीं आ रही है, क्योंकि जिस क्षेत्र में टनल निर्माण की बात कही जा रही है वहां पर पहले से ही स्लाइडिंग जोन है. यदि एनएचएआई को यहां टनल बनानी ही है तो फिर उसके लिए बहुत अंदर तक जाकर खुदाई करनी पड़ेगी. ऐसा करने से मौजूदा समय में बन रही टनलों के साथ उसकी अलाइनमेंट मैच नहीं होगी. लेकिन अब इस विषय पर सारी रिपोर्ट बनाने के बाद पंडोह बाईपास की दोबारा से डिटेल बनाकर भेजी जानी है. ऐसे में इस कार्य को अभी काफी लंबा समय लग सकता है, जिस कारण अभी हाल फिलहाल में पंडोह बाईपास का प्रोजेक्ट लटकता हुआ ही नजर आ रहा है.

काम लटकने से लोगों में नाराजगी
वहीं, पंडोह बाईपास का काम लटकने से जहां पंडोह के लोगों में नाराजगी देखने को मिल रही है, वहीं, पंडोह बाजार को भारी भरकम ट्रेफिक जाम से भी जूझना पड़ रहा है. पंडोह निवासी बालकृष्ण, गौरव वर्मा और पवन कुमार का कहना है कि, 'कीतरपुर से लेकर मंडी तक और फिर औट से लेकर मनाली तक प्रोजेक्ट को पूरा कर लिया गया है, लेकिन बीच का भाग आज दिन तक पूरा नहीं हो पाया है। इन्होंने सरकार से मांग उठाई है कि इस कार्य को भी जल्द से जल्द किया जाए.'

ये भी पढ़ें: कुल्लू-मनाली की सड़कें अब होंगी दुरूस्त, 15 करोड़ रुपए जारी

मंडी: कीतरपुर-मनाली फोरलेन प्रोजेक्ट के तहत पंडोह बाजार को बाईपास करने की मुहिम अभी भी सिरे नहीं चढ़ पा रही है. एनएचएआई ने अब कैंची मोड के आगे तक टनल बनाने की संभावना तलाशना शुरू कर दी है. इसके लिए प्रोजेक्ट की अलाइनमेंट में दोबारा से बदलाव करने के सुझाव एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर को मिले हैं, लेकिन पंडोह बाईपास का काम बार-बार लटकने से स्थानीय लोगों में नाराजगी देखी जा रही है.

बता दें कि पंडोह डैम के पास पिछले और इस बार की बरसात के दौरान काफी ज्यादा नुकसान हुआ था. यहां बन चुके फोरलेन का भी बहुत बड़ा भाग बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हुआ है और आज भी यहां पर जमीन धंस रही है. इस कारण एनएचएआई के मुख्यालय ने अब पंडोह बाईपास की अलाइनमेंट में बदलाव करके यहां पहले से प्रस्तावित टनल के विस्तार की संभावनाओं को तलाशने की प्रपोजल मांगी है. दरअसल एनएचएआई चाहती है कि पंडोह बाईपास प्रोजेक्ट में पंडोह डैम के पास जो 900 मीटर की टनल प्रस्तावित है उसे आगे तक बढ़ाया जाए, क्योंकि यहां पर जो फोरलेन क्षतिग्रस्त हुआ है भविष्य में उसके और ज्यादा क्षतिग्रस्त होने की भी पूरी संभावना है. इसलिए यहां पर टनल के विस्तार पर ही जोर दिया जा रहा है. इसलिए एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर को इसकी दोबारा से अलाइनमेंट करने के आदेश दिए गए हैं.

एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर वरूण चारी ने बताया कि, 'कैंची मोड़ के पास टनल निर्माण की संभावनाएं तलाशने की प्रपोजल आई है. जियो टैगिंग के जरिए यहां पर सर्वे किया जा रहा है. सर्वे के बाद सारी रिपोर्ट बनाकर मुख्यालय को भेजी जाएगी. जल्द ही पंडोह बाईपास की अलाइनमेंट अप्रूव करवाकर इस कार्य को शुरू कर दिया जाएगा.'

नजर नहीं आ रही टनल निर्माण की संभावना

मौजूदा स्थिति की बात करें तो यहां पर हाल फिलहाल में टनल निर्माण की कोई संभावना नजर नहीं आ रही है, क्योंकि जिस क्षेत्र में टनल निर्माण की बात कही जा रही है वहां पर पहले से ही स्लाइडिंग जोन है. यदि एनएचएआई को यहां टनल बनानी ही है तो फिर उसके लिए बहुत अंदर तक जाकर खुदाई करनी पड़ेगी. ऐसा करने से मौजूदा समय में बन रही टनलों के साथ उसकी अलाइनमेंट मैच नहीं होगी. लेकिन अब इस विषय पर सारी रिपोर्ट बनाने के बाद पंडोह बाईपास की दोबारा से डिटेल बनाकर भेजी जानी है. ऐसे में इस कार्य को अभी काफी लंबा समय लग सकता है, जिस कारण अभी हाल फिलहाल में पंडोह बाईपास का प्रोजेक्ट लटकता हुआ ही नजर आ रहा है.

काम लटकने से लोगों में नाराजगी
वहीं, पंडोह बाईपास का काम लटकने से जहां पंडोह के लोगों में नाराजगी देखने को मिल रही है, वहीं, पंडोह बाजार को भारी भरकम ट्रेफिक जाम से भी जूझना पड़ रहा है. पंडोह निवासी बालकृष्ण, गौरव वर्मा और पवन कुमार का कहना है कि, 'कीतरपुर से लेकर मंडी तक और फिर औट से लेकर मनाली तक प्रोजेक्ट को पूरा कर लिया गया है, लेकिन बीच का भाग आज दिन तक पूरा नहीं हो पाया है। इन्होंने सरकार से मांग उठाई है कि इस कार्य को भी जल्द से जल्द किया जाए.'

ये भी पढ़ें: कुल्लू-मनाली की सड़कें अब होंगी दुरूस्त, 15 करोड़ रुपए जारी

Last Updated : Nov 11, 2024, 4:43 PM IST
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