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जिम्मेदारों के कोरे आश्वासन और लालफीताशाही की भेंट चढ़ा छठ घाट, निर्माण नहीं होने पर ग्रामीणों ने आक्रोश

Chhath Puja in Kushinagar : ग्राम प्रधान ने सरकार की नीतियों और मनरेगा पेमेंट में देरी का हवाला दिया.

सिधुआं-हिरनहां गांव में प्रदर्शन करते ग्रामीण.
सिधुआं-हिरनहां गांव में प्रदर्शन करते ग्रामीण. (Photo Credit : ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Nov 4, 2024, 5:57 PM IST

कुशीनगर : पड़रौना विकासखंड क्षेत्र के सिधुआं-हिरनहां गांव में छठ महापर्व के लिए घाटों की अव्यवस्था देख ग्रामीण नाराज हैं. जिले के कई जनप्रतिनिधियों ने पोखरे का सुंदरीकरण का आश्वासन दिया, लेकिन अबतक किसी ने ध्यान नहीं दिया है. जिससे नाराज छठ व्रती महिलाएं व ग्रामीणों ने प्रदर्शन कर शासन -प्रशासन से छठ घाट का निर्माण कराने की मांग की है. वहीं ग्राम प्रधान सरकार की नीतियों में खामी और मनरेगा पेमेंट में देरी होने पर काम न होने का हवाला देकर बच रहे हैं. बीडीओ ने अमृत सरोवर निर्माण का हवाला दे रहे हैं.

प्रदर्शन करते सिधुआं-हिरनहां गांव के लोग. (Video Credit : ETV Bharat)


सदर ब्लाॅक स्थित सिधुआं- हिरनहां गांव में निश्चित छठ घाट नहीं है. व्रती महिलाओं की समस्या को देखते हुए ग्रामीण दर्जनों बार छठ घाट निर्माण के बाबत क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों से गुहार लगा चुके हैं. ग्रामीणों के अनुसार सदर विधायक व उनकी माता शिवकुमारी देवी, वर्तमान सांसद विजय कुमार दुबे व जिला पंचायत अध्यक्ष प्रतिनिधि प्रदीप जायसवाल, पूर्व विधायक व मंत्री रहे स्वामी प्रसाद मौर्य भी छठ घाट के निर्माण का आश्वासन दे चुके हैं. इसके बावजूद छठ घाट का निर्माण आजतक नहीं हो सका है. इससे नाराज महिलाओं और ग्रामीणों ने रविवार को छठघाट पर प्रदर्शन कर शासन -प्रशासन से छठ घाट का निर्माण व सौंदर्यीकरण करवाने की मांग की.

सिधुआं, हिरनहां छठ घाट का निर्माण व सौंदर्यीकरण करवानें के लिए गांव की शांति देवी, गौरी देवी, इंद्रावती देवी, अमरपति देवी, सोहदरी देवी, सुनीता देवी, कुसुम देवी, प्रियंका देवी, अमित यादव, प्रमोद यादव, विशाल यादव, वीरेंद्र तिवारी, अशोक तिवारी, गुड्डू यादव, जितेन्द्र, रामप्रसाद यादव, मंटू यादव, सद्दाम अंसारी, राजकुमार, रंजीत, अनूप आदि ने फिर आवाज उठाई है.



ग्राम प्रधान अशोक शुक्ला ने बताया कि गांव में दो पोखरे हैं. एक को ठीक कराया जा चुका है. दूसरा तालाब काफी बड़ा है. हमारी ग्रामसभा के जरिये उसका कार्य कराना मुश्किल है. मनरेगा से कराया जाए तो उसका पेमेंट ही डेढ़ साल से दो साल लटका रहता है. फिलहाल सरकार की नीति नियमावली के अनुसार उस तालाब पर काम संभव नहीं.


बीडीओ पडरौना सुशिल कुमार ने बताया की मनरेगा से अनुमन्यता पौढ़ी निर्माण की नहीं है, लेकिन पार्ट पार्ट में काम हो सकता है. ग्राम प्रधान पेमेंट इत्यादि का हवाला देकर खुद को अलग कर रहे हैं. जबकि गांव में एक अन्य तालाब पर पहले ही काम पूरा हो चूका है. पूजा बीतने के बाद माननीय सदर विधायक से भी बात हुई है वह हम सबकी प्राथमिकता में है. तालाब में पानी अधिक है, इसलिए जरूरी तैयारियां की जा रही हैं.

यह भी पढ़ें : अस्ताचलगामी को दिया गया पहला अर्घ्य, कल उदयाचलगामी सूर्य को दिया जाएगा अर्घ्य

यह भी पढ़ें : छठ पूजा की तैयारी : 150 से ज्यादा लोक कलाकार देंगे शानदार प्रस्तुति, उत्कृष्ट कार्य करने वाली विभूतियां होंगी सम्मानित

कुशीनगर : पड़रौना विकासखंड क्षेत्र के सिधुआं-हिरनहां गांव में छठ महापर्व के लिए घाटों की अव्यवस्था देख ग्रामीण नाराज हैं. जिले के कई जनप्रतिनिधियों ने पोखरे का सुंदरीकरण का आश्वासन दिया, लेकिन अबतक किसी ने ध्यान नहीं दिया है. जिससे नाराज छठ व्रती महिलाएं व ग्रामीणों ने प्रदर्शन कर शासन -प्रशासन से छठ घाट का निर्माण कराने की मांग की है. वहीं ग्राम प्रधान सरकार की नीतियों में खामी और मनरेगा पेमेंट में देरी होने पर काम न होने का हवाला देकर बच रहे हैं. बीडीओ ने अमृत सरोवर निर्माण का हवाला दे रहे हैं.

प्रदर्शन करते सिधुआं-हिरनहां गांव के लोग. (Video Credit : ETV Bharat)


सदर ब्लाॅक स्थित सिधुआं- हिरनहां गांव में निश्चित छठ घाट नहीं है. व्रती महिलाओं की समस्या को देखते हुए ग्रामीण दर्जनों बार छठ घाट निर्माण के बाबत क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों से गुहार लगा चुके हैं. ग्रामीणों के अनुसार सदर विधायक व उनकी माता शिवकुमारी देवी, वर्तमान सांसद विजय कुमार दुबे व जिला पंचायत अध्यक्ष प्रतिनिधि प्रदीप जायसवाल, पूर्व विधायक व मंत्री रहे स्वामी प्रसाद मौर्य भी छठ घाट के निर्माण का आश्वासन दे चुके हैं. इसके बावजूद छठ घाट का निर्माण आजतक नहीं हो सका है. इससे नाराज महिलाओं और ग्रामीणों ने रविवार को छठघाट पर प्रदर्शन कर शासन -प्रशासन से छठ घाट का निर्माण व सौंदर्यीकरण करवाने की मांग की.

सिधुआं, हिरनहां छठ घाट का निर्माण व सौंदर्यीकरण करवानें के लिए गांव की शांति देवी, गौरी देवी, इंद्रावती देवी, अमरपति देवी, सोहदरी देवी, सुनीता देवी, कुसुम देवी, प्रियंका देवी, अमित यादव, प्रमोद यादव, विशाल यादव, वीरेंद्र तिवारी, अशोक तिवारी, गुड्डू यादव, जितेन्द्र, रामप्रसाद यादव, मंटू यादव, सद्दाम अंसारी, राजकुमार, रंजीत, अनूप आदि ने फिर आवाज उठाई है.



ग्राम प्रधान अशोक शुक्ला ने बताया कि गांव में दो पोखरे हैं. एक को ठीक कराया जा चुका है. दूसरा तालाब काफी बड़ा है. हमारी ग्रामसभा के जरिये उसका कार्य कराना मुश्किल है. मनरेगा से कराया जाए तो उसका पेमेंट ही डेढ़ साल से दो साल लटका रहता है. फिलहाल सरकार की नीति नियमावली के अनुसार उस तालाब पर काम संभव नहीं.


बीडीओ पडरौना सुशिल कुमार ने बताया की मनरेगा से अनुमन्यता पौढ़ी निर्माण की नहीं है, लेकिन पार्ट पार्ट में काम हो सकता है. ग्राम प्रधान पेमेंट इत्यादि का हवाला देकर खुद को अलग कर रहे हैं. जबकि गांव में एक अन्य तालाब पर पहले ही काम पूरा हो चूका है. पूजा बीतने के बाद माननीय सदर विधायक से भी बात हुई है वह हम सबकी प्राथमिकता में है. तालाब में पानी अधिक है, इसलिए जरूरी तैयारियां की जा रही हैं.

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