श्रीगंगानगर. श्रीगंगानगर और अनूपगढ़ जिलों के कई इलाकों में बरसात से खराब हुए गेहूं की खरीद के मामले में केन्द्र सरकार ने बड़ी राहत दी है. खाद्य और उपभोक्ता मामलों के विभाग की सहायक निदेशक डॉ प्रीति शुक्ला ने इस संबंध में आदेश जारी किया है. इस आदेश के मुताबिक बरसात से खराब हुए गेहूं को भी किसान बेच सकेगा और खास बात यह है कि किसानों को उनकी फसल का पूरा दाम मिलेगा.
एफसीआई के रीजनल मैनेजर चौधरी अभिरीत ने बताया कि पिछले दिनों अनूपगढ़ और श्रीगंगानगर जिलों में बारिश और ओलावृष्टि के कारण गेहूं की फसल को नुकसान हुआ था. इसके बाद गेहूं की गुणवत्ता सही नहीं होने के कारण खरीद रुक गई थी. पिछले दिनों मिनिस्ट्री ऑफ फूड एंड कंज्यूमर अफेयर की टीम ने इस गेहूं का सैंपल लिया और इसकी रिपोर्ट की जांच करने के बाद यह छूट दी गई है.
पढ़ें: गेहूं बेचने के लिए हजारों किसानों ने कराया रजिस्ट्रेशन, 5 दिन में एक किसान पहुंचा केंद्र पर
इस तरह मिलेगी छूट: चौधरी अभिरीत ने बताया कि बारिश के कारण गेंहू की चमक खो गई थी, उसमें सत्तर प्रतिशत की छूट दी गई है. इसके साथ साथ डैमेज में छह प्रतिशत की छूट दी गई है,जबकि गेहूं के दाना सिकुड़ने की स्थिति में भी बीस प्रतिशत की छूट दी गई है. उन्होंने बताया कि इस गाइडलाइन के दौरान किसान का कोई भी पैसा नहीं कटेगा, जो कि एक राहत भरा निर्णय है.
बता दें कि केंद्र सरकार द्वारा दी गई इस छूट के बाद किसानों को एक बड़ी राहत मिली है, क्योंकि पिछले वर्ष भी किसानों की कॉटन की फसल खराब हो गई थी. इस बार पक्की फसल बारिश और ओलावृष्टि के कारण प्रभावित हुई थी. एफसीआई के रीजनल मैनेजर ने बताया कि गेहूं की सरकारी खरीद सुचारू रूप से शुरू कर दी गई है. अब किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं आने दी जाएगी.