लखनऊ: सीबीआई ने शुक्रवार को बहराइच और लखनऊ में घूस लेते हुए डाक विभाग और रेलवे के तीन कर्मचारियों को रंगे हाथ गिरफ्तार किया है. बहराइच के लेखा कार्यालय में तैनात डाक सहायक विभागीय कार्य निपटाने के लिए 2 लाख रुपए को घूस ले रहा था. जबकि लखनऊ में तैनात जीआरपी के दरोगा और डीएमएस को कबाड़ का सामान बेचने के एवज में ठेकेदार से रुपये की सुविधा शुल्क ले रहे थे.
जांच खत्म करवाने के नाम पर 20 हजार रुपये ले रहा था क्लर्क
सीबीआई के मुताबिक, बहराइच के नानपारा के डाकघर में सहायक शाखा डाकपाल के पद पर तैनात आजाद खान ने सीबीआई की एंटी करप्शन ब्रांच में शिकायत दर्ज कराई थी. जिसके मुताबिक, उसे फर्जी शिकायत के आधार पर निलंबित किया गया था, बाद में उसे बहाल भी कर दिया गया. लेकिन लेखा कार्यालय में तैनात बाबू विनोद कुमार उससे केस खत्म करने के नाम पर दो लाख रुपये की रिश्वत मांग रहा है और बीस हजार रुपए एडवांस में जमा करने को कह रहा है. पीड़ित आजाद की शिकायत पर सीबीआई ने जाल बिछाया और शुक्रवार को आरोपी विनोद कुमार को पीड़ित से 20 हजार रुपये घूस लेते रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया. इसके अलावा आरोपी बाबू के घर की भी सीबीआई ने तलाशी ली है.
रेलवे अधिकारी कबाड़ी उठाने के लिए मांग रहे थे घूस
वहीं, लखनऊ में जीआरपी और रेलवे कर्मचारी को घूस लेते गिरफ्तार किया है. सीबीआई के मुताबिक, 13 जून को लखनऊ के नादरगंज स्थित विशाल ट्रेडर्स के मालिक आकाश यादव ने शिकायत दर्ज कराई थी. शिकायत में कहा था कि उसने आलमबाग डिपो में रेलवे के कबाड़ की खरीद की थी, जिसमें कुछ माल उन्होंने उठा लिया था. लेकिन बाकी का माल उठाने के एवज में RPF के दरोगा मनोज राय और रेलवे के डीएमएस अविरल उससे प्रति ट्रक घूस की मांग कर रहे हैं. जिसके बाद सीबीआई ने जाल बिछाया और दोनों को घूस लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है.