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बुरहानपुर जिला अस्पताल के कर्मचारियों ने फिर साबित किया, ऐसी होती है इंसानियत

बुरहानपुर जिला अस्पताल के कर्मचारियों ने एक बार फिर मानवता की मिसाल पेश की. ट्रेन हादसे में मृत युवक का कराया अंतिम संस्कार.

Burhanpur Hospital employees
बुरहानपुर जिला अस्पताल के कर्मचारियों की हर तरफ तारीफ (ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Nov 14, 2024, 1:21 PM IST

बुरहानपुर : कलेक्ट्रेट रोड स्थित स्व. नंदकुमार सिंह चौहान जिला चिकित्सालय परिसर से मानवता की मिसाल पेश करने वाली अनोखी तस्वीर सामने आई है. दरअसल, दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग पर पातोंडा गांव के पास रेलवे लाइन पर ट्रेन से गिरकर बिहार निवासी एक यात्री की मौत हो गई. शव को रेलवे पुलिस ने जिला अस्पताल पहुंचाया. इसके बाद पुलिस ने युवक के परिजनों को सूचना दी. परिजन जिला अस्पताल पहुंच गए, लेकिन उनके पास शव को पैतृक गांव ले जाने और अंतिम संस्कार कराने के लिए रुपये नहीं थे.

अस्पताल के कर्मचारियों ने तुरत-फुरत किया चंदा

जब इसकी जानकारी अस्पताल में कार्यरत कर्मचारियों को लगी तो उन्होंने मदद के लिए हाथ आगे बढ़ाए. जिला अस्पताल के कर्मचारियों ने तुरंत राशि एकत्र की. इसके बाद ये राशि को परिजनों को सौंप दी. परिजनों ने बुरहानपुर में ही शव का अंतिम संस्कार किया. जिला अस्पताल में पदस्थ सफाई ठेका सुपरवाइजर रवि सिंगोतियां ने बताया "बिहार निवासी यात्री ट्रेन हादसे का शिकार हो गया. परिजन मौके पर पहुंचे, उन्होंने शव की शिनाख्त की. लेकिन परिजनों के पास शव को बिहार ले जाने और अंतिम संस्कार के लिए रुपए नहीं थे.

नगर निगम करवाता है अज्ञात शवों का अंतिम संस्कार

इसके बाद अस्पताल के कर्मचारियों ने अपनी स्वेच्छा से राशि जमा की. कर्मचारियों ने चंदा जमाकर अंतिम संस्कार कराया. बता दें कि इससे पहले भी अस्पताल में कार्यरत कर्मचारियों ने कई अज्ञात लोगों का अंतिम संस्कार कराया है. अधिकांश मामलों में परिजन दूरदराज के होने के कारण शव पैतृक गांव ले जाने में असमर्थ रहते हैं. कई बार दुर्घटना में शिकार की शिनाख्त नहीं हो पाती. इसीलिए उनका अंतिम संस्कार नगर निगम द्वारा कराया जाता है. कई बार अस्पताल के कर्मचारी भी इस नेक काम के लिए आगे आते हैं.

बुरहानपुर : कलेक्ट्रेट रोड स्थित स्व. नंदकुमार सिंह चौहान जिला चिकित्सालय परिसर से मानवता की मिसाल पेश करने वाली अनोखी तस्वीर सामने आई है. दरअसल, दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग पर पातोंडा गांव के पास रेलवे लाइन पर ट्रेन से गिरकर बिहार निवासी एक यात्री की मौत हो गई. शव को रेलवे पुलिस ने जिला अस्पताल पहुंचाया. इसके बाद पुलिस ने युवक के परिजनों को सूचना दी. परिजन जिला अस्पताल पहुंच गए, लेकिन उनके पास शव को पैतृक गांव ले जाने और अंतिम संस्कार कराने के लिए रुपये नहीं थे.

अस्पताल के कर्मचारियों ने तुरत-फुरत किया चंदा

जब इसकी जानकारी अस्पताल में कार्यरत कर्मचारियों को लगी तो उन्होंने मदद के लिए हाथ आगे बढ़ाए. जिला अस्पताल के कर्मचारियों ने तुरंत राशि एकत्र की. इसके बाद ये राशि को परिजनों को सौंप दी. परिजनों ने बुरहानपुर में ही शव का अंतिम संस्कार किया. जिला अस्पताल में पदस्थ सफाई ठेका सुपरवाइजर रवि सिंगोतियां ने बताया "बिहार निवासी यात्री ट्रेन हादसे का शिकार हो गया. परिजन मौके पर पहुंचे, उन्होंने शव की शिनाख्त की. लेकिन परिजनों के पास शव को बिहार ले जाने और अंतिम संस्कार के लिए रुपए नहीं थे.

नगर निगम करवाता है अज्ञात शवों का अंतिम संस्कार

इसके बाद अस्पताल के कर्मचारियों ने अपनी स्वेच्छा से राशि जमा की. कर्मचारियों ने चंदा जमाकर अंतिम संस्कार कराया. बता दें कि इससे पहले भी अस्पताल में कार्यरत कर्मचारियों ने कई अज्ञात लोगों का अंतिम संस्कार कराया है. अधिकांश मामलों में परिजन दूरदराज के होने के कारण शव पैतृक गांव ले जाने में असमर्थ रहते हैं. कई बार दुर्घटना में शिकार की शिनाख्त नहीं हो पाती. इसीलिए उनका अंतिम संस्कार नगर निगम द्वारा कराया जाता है. कई बार अस्पताल के कर्मचारी भी इस नेक काम के लिए आगे आते हैं.

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