बुरहानपुर। यात्रियों को उनकी मंजिल तक ले जाने वाली ट्रेन से जुड़े मामलों में अक्सर दुखद खबरें सामने आती रहती हैं, लेकिन मध्य प्रदेश के बुरहानपुर से एक सुखद खबर सामने आई है. दरअसल, एलटीटी प्रयागराज दुरंतो एक्सप्रेस में सवार एक महिला यात्री को अचानक प्रसव पीड़ा हुई. चलती ट्रेन में पत्नी की प्रसव पीड़ा को देखकर महिला का पति और बोगी में सवार अन्य यात्री सकते में आ गए.
चलती ट्रेन में महिला ने दिया बच्चे को जन्म
इस दौरान रात के 11.30 बज रहे थे और ट्रेन भुसावल-बुरहानपुर के बीच चल रही थी, इसलिए बीच रास्ते और वो भी इतनी रात में प्रसव कराने का कोई चांस भी नहीं था. इसके बाद बोगी में बैठी अन्य महिलाओं ने एक बड़ा फैसला लिया. फैसला गर्भवती महिला की डिलीवरी कराने का. उन्होंने महिला का प्रसव कराया. यह नजारा देखकर थोड़ी देर के लिए सब लोग घबरा गए, लेकिन बच्चे की किलकारी जब गूंजी तो सभी के चेहरे खुशी से खिल गए और सभी ने राहत की सांस ली. इसके बाद रेलवे से संपर्क किया गया, रेलवे ने मानवता के नाते तुरंत ट्रेन को बुरहानपुर स्टेशन पर रोककर जच्चा-बच्चा दोनों को जिला अस्पताल रवाना किया.
अपने घर लौट रहे थे पति-पत्नी
जानकारी के मुताबिक, रीवा निवासी शेख हफीज मुंबई में सेल्समैन के पद पर पदस्थ हैं. उनकी पत्नी बेबी बाई 9 माह की गर्भवती थीं. डॉक्टर ने 2 अप्रैल या 3 अप्रैल को डिलीवरी होने की संभावना जताई थी. इसलिए शेख हफीज अपनी आसानी के लिए पत्नी को लेकर मुंबई से (ट्रेन क्रमांक 12293) एलटीटी-प्रयागराज दुरंतो एक्सप्रेस में सवार होकर रीवा अपने घर ले जा रहा था.
बोगी में बैठी महिलाओं ने कराया प्रसव
कुछ देर तक तो सब कुछ सही रहा लेकिन जब ट्रेन भुसावल रेलवे स्टेशन से आगे बढ़ी तो पत्नी को अचानक प्रसव पीड़ा होने लगी. यह देखकर वहां मौजूद सभी लोग घबरा गए. पास में बैठी महिलाओं ने हालात देखकर वहीं बोगी में ही डिलीवरी कराने का निर्णय लिया और सफलतापूर्वक डिलेवरी भी कराई.
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इसके बाद रेलवे स्टॉफ ने ट्रेन को बुरहानपुर रेलवे स्टेशन पर रुकवाकर जच्चा-बच्चा को अस्पताल में भर्ती कराया. डॉक्टरों के मुताबिक जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ्य हैं, साथ ही नॉर्मल डिलीवरी होने पर डॉक्टरों ने महिला को अस्पताल से छुट्टी भी दे दी है. इसके अलावा हफीज ने बेटे का नाम अबू बकर रखा है.