बून्दी. पॉक्सो कोर्ट क्रम संख्या दो के न्यायाधीश ने महिला से दुष्कर्म के मामले में आरोपी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही, 80 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है. मामले में दुष्कर्म के बाद बदनामी के डर से पीड़िता के पति ने आत्महत्या कर ली थी.
विशिष्ठ लोक अभियोजक महावीर प्रसाद मेघवाल ने बताया कि बूंदी के पॉक्सो क्रम संख्या दो के न्यायाधीश बालकृष्ण मिश्र ने आरोपी कालू लाल गुर्जर निवासी भेरूपुरा बरडा थाना नमाना को ये सजा सुनाई है. बता दें कि मामले में दुष्कर्म के बाद बदनामी के डर से पीड़िता के पति ने आत्महत्या कर ली थी. विशिष्ठ लोक अभियोजक मेघवाल ने बताया कि पीड़िता ने 1 जून 2023 को नमाना थाने में रिपोर्ट दी थी, जिसमें बताया गया था कि वह 29 मई 2023 को शाम करीब 7 बजे खाना बना रही थी. उसके पति खेत पर काम करने गए हुए थे, तभी भेरूपुरा निवासी बरडा कालू लाल गुर्जर वहां आया और आते ही पीड़िता का मुंह दबा दिया.
इसे भी पढ़ें : नाबालिग से दुष्कर्म कर बेचने के मामले में 14 साल से फरार आरोपी गिरफ्तार
पीड़िता के चिल्लाने पर आरोपी ने पीड़िता के पति को जिंदा जलाने की धमकी देकर पीड़िता के साथ दुष्कर्म किया. कालू लाल गुर्जर ने घटना के बारे में किसी को भी बताने पर जान से मारने की धमकी दी. डर की वजह से पीड़िता ने यह बात किसी को नहीं बताई. बाद में गांव के ही एक युवक ने पति को इस बारे में जानकारी दी, जिसके बाद पति के पूछने पर पीड़िता ने पति को सारी बात बताई. बदनामी के डर से पीड़िता के पति ने आत्महत्या कर ली.
पीड़िता की रिपोर्ट पर मामला दर्ज कर मामले की जांच के बाद पुलिस ने कोर्ट में आरोप पत्र पेश किया. जिस पर दोनों पक्ष की सुनवाई के बाद न्यायालय ने कालू लाल गुर्जर को दुष्कर्म का दोषी मानते हुए आजीवन कारावास और 80 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है. अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते हुए विशिष्ठ लोक अभियोजक महावीर प्रसाद मेघवाल ने 15 गवाह और 23 दस्तावेज पेश किए.