नई दिल्ली: छठ पूजा के जरिए भाजपा आने वाले दिल्ली विधानसभा चुनाव को लेकर पूर्वांचल वोटर को साधने में लगी है. इसलिए अलग-अलग इलाके में भाजपा नेता मिशन पूर्वांचल चला रहे हैं. इसके तहत कहीं भाजपा नेता व्रती महिलाओं को साड़ी बांट रहे हैं तो कहीं भाजपा नेता पांच तरह के फल दे रहे हैं तो कहीं अपनी जमीन पर बनवा दिया छठ घाट.
बीजेपी का मिशन पूर्वांचल
दिल्ली में छठ हर तरफ पूजा की धूम मची हूई है, और दिल्ली का शायद ही कोई ऐसा इलाका हो जहां पूर्वांचल के लोग नहीं रहते हों. तो जाहिर है ऐसे में छठ पूजा भी बढ़ चढ़कर हो रही है और कहीं ना कहीं आने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर भाजपा भी चुनावी मूड़ में आ गई है. और बीजेपी छठ पूजा के माध्यम से ही पूर्वांचल वोटरों को साधने के लिए मिशन पूर्वांचल में जुट गई है. ऐसा इसलिए कह रहे हैं क्योंकि वेस्ट दिल्ली के अलग-अलग इलाके में भाजपा नेता व्रत करने वाली महिलाओं और दूसरे व्रती के लिए एक से बढ़कर एक काम कर रहे हैं.
साड़ी, नारियल और पांच तरह के फल और पूजन सामग्री बांटे
एक तरफ जनकपुरी इलाके में बीजेपी के वरिष्ठ नेता और जम्मू कश्मीर के सह प्रभारी आशीष सूद ने काफी संख्या में व्रती महिलाओं को साड़ी और नारियल बांटे. साथ ही सवाल पूछने पर कहा कि यह तो महिलाओं का सम्मान है और देश के प्रधानमंत्री भी नारी शक्ति को सम्मान देते हैं. उन्होंने कहा कि इस मसले का चुनाव से कोई लेना-देना नहीं है. वहीं नारायणा इलाके में भाजपा नेता संजीव अरोड़ा ने व्रतियों को पांच तरह के फल और अन्य पूजन सामग्री वितरित किए और उन्होंने बताया की यह तो बस सम्मान स्वरूप व्रत करने वालों को भेंट किया गया है.
पूजा के लिए छठ घाट बनवा दिया
तो वहीं उत्तम नगर इलाके के भाजपा नेता सुभाष मग्गो ने अपनी ही जमीन पर छठ घाट बनवा दिया. जिससे व्रती काफी खुश नजर आए. सवाल पूछने पर उन्होंने कहा की दिल्ली सरकार छठ घाट को लेकर बड़े-बड़े दावे करती है, लेकिन असल महीने में ही वह छठ पूजा को लेकर राजनीति कर रही है, और व्रत करने वालों को अभी भी छठ घाट नहीं मिल रहे, इसलिए उन्होंने यह प्रयास किया है जो पिछले कई सालों से करते आए हैं.
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वोट के लिए कुछ भी करेंगे
भाजपा नेता भले ही यह कहें कि इसमें कोई राजनीति नहीं है लेकिन जिस तरह के प्रयास छठ पूजा को लेकर किया जा रहे हैं उस से साफ है कि दिल्ली में आने वाले आज कुछ महीनो में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर यह सब किया जा रहा है, क्योंकि राजनीतिक दलों को यह पता है की इस चुनाव में दिल्ली में रहने वाले लाखों पूर्वांचल काफी अहम भूमिका निभाते हैं इसलिए उनको खुश करने के लिए तमाम प्रयास किये जा रहे हैं.
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