रायपुर : छत्तीसगढ़ में नगरीय निकाय चुनाव के लिए राजनीतिक दलों के प्रत्याशियों ने नामांकन दाखिल किया है. 31 जनवरी तक नाम वापसी की अंतिम तारीख है.इस बार बीजेपी कांग्रेस के साथ निर्दलीय प्रत्याशी भी चुनाव मैदान में किस्मत आजमा रहे हैं. लेकिन चुनाव से पहले प्रमुख दलों के नेताओं के बीच जुबानी जंग तेज हो चुकी है. रायपुर एकात्म परिसर में नगरीय प्रशासन मंत्री अरुण साव ने कांग्रेस पर गंभीर आरोप लगाए हैं. अरुण साव ने कहा कि नगर निगम में कांग्रेस के घपले और घोटाले को लेकर बीजेपी आरोप पत्र लेकर आएगी. इस आरोप पत्र की जांच के बाद कार्रवाई भी की जाएगी.अरुण साव के मुताबिक नगरीय निकाय चुनाव जो प्रदेश के 10 नगर निगम 49 नगर पालिका में और 114 नगर पंचायत में हो रहा है. उसके लिए नामांकन दाखिल करने का काम पूरा हो गया है. 31 जनवरी तक नाम वापस लिए जा सकते हैं.
बीजेपी के पक्ष में चल रही हवा : अरुण साव के मुताबिक नामांकन के दौरान उन्हें लोरमी, मुंगेली, बिलासपुर जैसे अन्य जगहों के रैली में शामिल होने का अवसर मिला. इस नामांकन रैली में लोगों का उत्साह देखने को मिला और यह उत्साह ठीक वैसा ही था जैसे साल 2023 के विधानसभा चुनाव साल 2024 में लोकसभा चुनाव और रायपुर दक्षिण के उपचुनाव में था. आम जनता में वैसा ही उत्साह आज भी नगरीय निकाय चुनाव में देखने को मिल रहा है. जिस तरह से आम जनता इस नामांकन रैली में शामिल हुए हैं. ऐसे में यह बताता है कि भारतीय जनता पार्टी के पक्ष में लहर चल रही है. सभी नगरीय निकाय चुनाव में भारतीय जनता पार्टी चुनाव जीतने वाली है.
शहर की जनता के साथ अन्याय और अत्याचार किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. शहर सुंदर स्वच्छ बने इसके लिए बीजेपी समर्पित है. इन्हीं सारे मुद्दों को लेकर बीजेपी चुनाव लड़ रही है. जनता का आशीर्वाद भी बीजेपी को पूरी तरह से मिल रहा है. नगर निगम में कांग्रेस ने जो शहर की दुर्दशा की है घपले और घोटाले किए हैं. उसको लेकर बीजेपी आरोप पत्र लेकर आएगी- अरुण साव, नगरीय प्रशासन मंत्री
कांग्रेस पर लगाए गंभीर आरोप : अरुण साव ने कांग्रेस के मेयर प्रत्याशी पर भी अपनी राय दी है.साव के मुताबिक पिछले पांच दिनों से कांग्रेस में आपाधापी मची है. किस तरह से कांग्रेस प्रत्याशी का चयन हो रहा है, कैसे प्रत्याशियों का चयन हो रहा है ये बात भी महत्वपूर्ण है. इसे दुर्भाग्यजनक है कि महापौर जैसे पद के लिए कांग्रेस को जमीन पर काम करने वाली कांग्रेस नेत्री नहीं मिली. जमीनी स्तर पर काम करने वाले कांग्रेस के कार्यकर्ता की उपेक्षा और अपमान कांग्रेस पार्टी ने किया है. कांग्रेस पार्टी को कम से कम नगर निगम में महापौर पद के लिए ऐसे प्रत्याशी को उतारना था जिन्होंने कांग्रेस पार्टी और संगठन के लिए काम किया हो. इससे साफ है कि ऐसे प्रत्याशी भी कांग्रेस के पास वर्तमान समय में नहीं है. रायपुर नगर निगम में कांग्रेस ने पिछले 15 सालों तक राज किया है. प्रदेश के अधिकांश नगर निगम में कांग्रेस के महापौर हैं.
सर्व आदिवासी समाज की अनोखी पहल, आने वाले कल का संवार रहे भविष्य
विराट वीर मेला में दिखी आदिवासी परंपरा की झलक, मंच पर आगा देव ने दिए दर्शन
भिलाई में घूम रहा तेंदुआ, मैत्री बाग जू प्रबंधन के बाद अब वन विभाग लेपर्ड की तलाश में