पलामू: लोकसभा चुनाव को लेकर पलामू में लाइसेंसी हथियार मामले में बड़ी कार्रवाई की गयी है. पलामू में पदस्थापित ऑपरेशन एसपी, एसडीएम, डीएसपी, सार्जेंट मेजर, थाना प्रभारी समेत कई राजनीतिक हस्तियों के हथियार के लाइसेंस रद्द कर दिये गये हैं. लोकसभा चुनाव में शस्त्रों का सत्यापन और जमा नहीं करने वालों पर कार्रवाई की गई है. पलामू जिला प्रशासन ने कार्रवाई करते हुए 320 लोगों के हथियार लाइसेंस रद्द कर दिये हैं.
पूरे मामले को लेकर पलामू सूचना जनसंपर्क विभाग ने प्रेस विज्ञप्ति भी जारी की है. सूचना एवं जनसंपर्क विभाग की ओर से कहा गया है कि लोकसभा चुनाव के लिए शस्त्र लाइसेंस का भौतिक सत्यापन नहीं किया गया है और न ही शस्त्रों को स्थानीय थाने में जमा किया गया है और न ही विमुक्ति के लिए स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में आवेदन दिया गया था.
दरअसल, पलामू में करीब 1400 लोगों के पास हथियार का लाइसेंस है. इन 1400 में से 320 लोगों के हथियार लाइसेंस रद्द कर दिये गये हैं. पलामू टाइगर रिजर्व के निदेशक और उपनिदेशक के शस्त्र लाइसेंस भी रद्द कर दिये गये हैं. पलामू डीसी शशिरंजन ने कहा कि चुनाव आयोग की गाइडलाइन के मुताबिक सभी को मौका दिया गया था. गाइडलाइन का पालन नहीं करने वालों के हथियार लाइसेंस रद्द कर दिये गये हैं.
इनके हथियार लाइसेंस किए गए रद्द
पलामू के पूर्व अभियान एसपी कन्हैया सिंह, एसडीएम सुधीर कुमार दास, अवधेश उपाध्याय, डीएसपी गिरीश पांडे, सार्जेंट मेजर अनीश मोमित कुजूर, अनिल सिंह, टीके झा, थाना प्रभारी आदिकांत महतो, प्रमोद सिंह, पवन यादव, जेके ठाकुर, भारतीय राज्य के कई कर्मचारी जुड़े बैंक के साथ, पलामू टाइगर रिजर्व के निदेशक, उपनिदेशक, बंदोबस्त पदाधिकारी महेंद्र सिंह, दिलीप सिंह नामधारी, गिरिनाथ सिंह, भाजपा नेता विभाकर नारायण पांडे, पूर्व मंत्री केएन त्रिपाठी के भाई समेत कई बड़े हस्तियों के लाइसेंस रद्द किए गए हैं.
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