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हिमाचल में शुरू होगा जाइका का सेकेंड फेज, नए गांव होंगे शामिल, किसानों को मिलेगी ये सुविधा - JICA PROJECT IN HIMACHAL

हिमाचल प्रदेश में जाइका परियोजना का दूसरा फेज शुरू किया जाएगा. ये फेज प्रदेश के 12 जिलों से शुरू किया जाएगा.

JICA PROJECT IN HIMACHAL
हिमाचल के कैबिनेट मंत्री चंद्र कुमार (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Feb 12, 2025, 10:05 AM IST

Updated : Feb 12, 2025, 10:27 AM IST

शिमला: हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण इलाकों में कृषि आर्थिकी का एक मजबूत आधार बनने जा रहा है. प्रदेश में कृषि क्षेत्र बढ़ाने के लिए सरकार किसानों को कई तरह की सुविधाएं देने जा रही है. इसके लिए प्रदेश के 12 जिलों में जाइका का दूसरा फेज शुरू हो गया है. जिसमें अब नए गांव शामिल किए जाएंगे. इसमें पहले फेज में शामिल किए गए को गांव को नहीं लिया जाएगा. कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने मंगलवार को शिमला में आयोजित जाइका एग्जीक्यूटिव काउंसिल की बैठक के बाद ईटीवी भारत को ये जानकारी दी.

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया, "जाइका के दूसरे चरण में भी वही मॉडल अपनाया जाएगा, जो पहले चरण में कारगर साबित हुआ था. दूसरे चरण में हर कृषि क्षेत्र को बढ़ाने जा रहे हैं. जिसके लिए नए गांव को लिया जाएगा और नए किसान संघों और नई कमेटियों का गठन किया जाएगा. जिन्हें आधिकारिक रूप से पंजीकृत भी किया जाएगा."

चंद्र कुमार, कृषि मंत्री (ETV Bharat)

किसानों दी जाएगी ट्रेनिंग

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया कि जाइका के दूसरे फेज में किसानों को ट्रेनिंग भी जाएगी. कृषि उत्पादन बढ़ाने के लिए वाटर सोर्स को डेवलप किया जाएगा. सिंचाई क्षमता को बढ़ाने के लिए माइक्रो-लेवल इरिगेशन सिस्टम लागू किए जाएंगे. इसके अलावा, कृषि क्षेत्र में बढ़ावा देने के लिए किसानों को विभिन्न एग्रीकल्चर फार्म और यूनिवर्सिटीज के टूर पर भेजा जाएगा, ताकि वे आधुनिक कृषि तकनीकों को करीब से समझ सकें और अपने खेतों में उनका उपयोग कर सकें. कृषि मंत्री ने कहा कि यह योजना प्रदेश की कृषि संरचना में एक बड़ा बदलाव लाने के लिए तैयार है. किसानों को न सिर्फ नई तकनीकों से अवगत कराया जाएगा, बल्कि उनके उत्पादन और आय में भी वृद्धि होगी. सरकार इस परियोजना के जरिए हिमाचल प्रदेश को कृषि के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है.

पहले चरण में खर्च हुए 325 करोड़

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया कि जाइका एग्जीक्यूटिव काउंसिल की बैठक में पहले चरण के कार्यों और उनकी प्रगति पर विस्तार से चर्चा की गई. पहले चरण में कुल 325 करोड़ खर्च किए गए, जिसके तहत कई अहम कदम उठाए गए थे. पहले चरण में यह कार्यक्रम राज्य के पांच जिलों में शुरू किया गया था, जहां किसानों को मजबूत संगठनों से जोड़ा गया. किसान संघ और किसान कमेटियां बनाई गईं, जिन्हें कृषि उत्पादन बढ़ाने और आधुनिक तकनीकों को अपनाने के लिए प्रशिक्षित किया गया. फसल विविधीकरण (क्रॉप डायवर्सिफिकेशन) को बढ़ावा दिया गया, जिससे किसानों को पारंपरिक खेती से आगे बढ़कर अन्य लाभदायक फसलों की ओर आकर्षित किया गया. इसके अलावा, नई नर्सरियों की स्थापना और कुल्हों को सुधारा गया. चंद्र कुमार ने बताया कि भारत सरकार के कृषि मंत्रालय ने इस परियोजना की लगातार निगरानी की और इसकी प्रगति का आकलन किया.

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया, "अब जाइका परियोजना के दूसरे चरण की शुरुआत पूरे हिमाचल प्रदेश में की जाएगी. जिसमें राज्य के सभी 12 जिलों के नए गांव शामिल किए जाएंगे. पहले चरण में जिन गांवों को इस योजना का लाभ मिला था, उन्हें इस बार शामिल नहीं किया जाएगा, बल्कि नए क्षेत्रों को इसमें जोड़ा जाएगा."

क्या है जाइका?

(JICA) जापान अंतरराष्ट्रीय सहयोग एजेंसी एक सरकारी एजेंसी है जो जापान सरकार के लिए आधिकारिक विकास सहायता का बड़ा हिस्सा प्रदान करती है. इसे विकासशील देशों में आर्थिक और सामाजिक विकास में सहायता करने और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने के लिए अधिकृत किया गया है. जापान अंतरराष्ट्रीय सहयोग एजेंसी क्षेत्र-उन्मुख दृष्टिकोण, मानव सुरक्षा और बढ़ी हुई प्रभावशीलता, दक्षता और गति के स्तंभों के इर्द-गिर्द अपनी गतिविधियों को आगे बढ़ा रही है.

ये भी पढ़ें: पहाड़ों पर गिरा दूध उत्पादन, इस वजह से पशुपालक परेशान...नहीं निकल रहा समाधान

शिमला: हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण इलाकों में कृषि आर्थिकी का एक मजबूत आधार बनने जा रहा है. प्रदेश में कृषि क्षेत्र बढ़ाने के लिए सरकार किसानों को कई तरह की सुविधाएं देने जा रही है. इसके लिए प्रदेश के 12 जिलों में जाइका का दूसरा फेज शुरू हो गया है. जिसमें अब नए गांव शामिल किए जाएंगे. इसमें पहले फेज में शामिल किए गए को गांव को नहीं लिया जाएगा. कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने मंगलवार को शिमला में आयोजित जाइका एग्जीक्यूटिव काउंसिल की बैठक के बाद ईटीवी भारत को ये जानकारी दी.

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया, "जाइका के दूसरे चरण में भी वही मॉडल अपनाया जाएगा, जो पहले चरण में कारगर साबित हुआ था. दूसरे चरण में हर कृषि क्षेत्र को बढ़ाने जा रहे हैं. जिसके लिए नए गांव को लिया जाएगा और नए किसान संघों और नई कमेटियों का गठन किया जाएगा. जिन्हें आधिकारिक रूप से पंजीकृत भी किया जाएगा."

चंद्र कुमार, कृषि मंत्री (ETV Bharat)

किसानों दी जाएगी ट्रेनिंग

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया कि जाइका के दूसरे फेज में किसानों को ट्रेनिंग भी जाएगी. कृषि उत्पादन बढ़ाने के लिए वाटर सोर्स को डेवलप किया जाएगा. सिंचाई क्षमता को बढ़ाने के लिए माइक्रो-लेवल इरिगेशन सिस्टम लागू किए जाएंगे. इसके अलावा, कृषि क्षेत्र में बढ़ावा देने के लिए किसानों को विभिन्न एग्रीकल्चर फार्म और यूनिवर्सिटीज के टूर पर भेजा जाएगा, ताकि वे आधुनिक कृषि तकनीकों को करीब से समझ सकें और अपने खेतों में उनका उपयोग कर सकें. कृषि मंत्री ने कहा कि यह योजना प्रदेश की कृषि संरचना में एक बड़ा बदलाव लाने के लिए तैयार है. किसानों को न सिर्फ नई तकनीकों से अवगत कराया जाएगा, बल्कि उनके उत्पादन और आय में भी वृद्धि होगी. सरकार इस परियोजना के जरिए हिमाचल प्रदेश को कृषि के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रही है.

पहले चरण में खर्च हुए 325 करोड़

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया कि जाइका एग्जीक्यूटिव काउंसिल की बैठक में पहले चरण के कार्यों और उनकी प्रगति पर विस्तार से चर्चा की गई. पहले चरण में कुल 325 करोड़ खर्च किए गए, जिसके तहत कई अहम कदम उठाए गए थे. पहले चरण में यह कार्यक्रम राज्य के पांच जिलों में शुरू किया गया था, जहां किसानों को मजबूत संगठनों से जोड़ा गया. किसान संघ और किसान कमेटियां बनाई गईं, जिन्हें कृषि उत्पादन बढ़ाने और आधुनिक तकनीकों को अपनाने के लिए प्रशिक्षित किया गया. फसल विविधीकरण (क्रॉप डायवर्सिफिकेशन) को बढ़ावा दिया गया, जिससे किसानों को पारंपरिक खेती से आगे बढ़कर अन्य लाभदायक फसलों की ओर आकर्षित किया गया. इसके अलावा, नई नर्सरियों की स्थापना और कुल्हों को सुधारा गया. चंद्र कुमार ने बताया कि भारत सरकार के कृषि मंत्रालय ने इस परियोजना की लगातार निगरानी की और इसकी प्रगति का आकलन किया.

कृषि मंत्री चंद्र कुमार ने बताया, "अब जाइका परियोजना के दूसरे चरण की शुरुआत पूरे हिमाचल प्रदेश में की जाएगी. जिसमें राज्य के सभी 12 जिलों के नए गांव शामिल किए जाएंगे. पहले चरण में जिन गांवों को इस योजना का लाभ मिला था, उन्हें इस बार शामिल नहीं किया जाएगा, बल्कि नए क्षेत्रों को इसमें जोड़ा जाएगा."

क्या है जाइका?

(JICA) जापान अंतरराष्ट्रीय सहयोग एजेंसी एक सरकारी एजेंसी है जो जापान सरकार के लिए आधिकारिक विकास सहायता का बड़ा हिस्सा प्रदान करती है. इसे विकासशील देशों में आर्थिक और सामाजिक विकास में सहायता करने और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने के लिए अधिकृत किया गया है. जापान अंतरराष्ट्रीय सहयोग एजेंसी क्षेत्र-उन्मुख दृष्टिकोण, मानव सुरक्षा और बढ़ी हुई प्रभावशीलता, दक्षता और गति के स्तंभों के इर्द-गिर्द अपनी गतिविधियों को आगे बढ़ा रही है.

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Last Updated : Feb 12, 2025, 10:27 AM IST
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