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पंचकूला में एक सप्ताह में मिले 25 डेंगू मरीज, जुलाई से अब तक 50 केस, समय पर नहीं हुई फॉगिंग - Dengue cases in Panchkula district

Dengue Cases in Panchkula District: पंचकूला जिले में डेंगू के मामले बढ़ते जा रहे हैं. जुलाई से अभी तक 50 केस सामने आ चुके हैं. बढ़ते डेंगू के केस की सबसे बड़ी वजह जिले में समय पर फॉगिंग का काम नहीं करना है.

Dengue Cases in Panchkula
पंचकूला में फॉगिंग करती स्वास्थ्य विभाग की टीम (Photo- ETV Bharat)
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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Aug 22, 2024, 10:49 PM IST

चंडीगढ़: हरियाणा के पंचकूला में डेंगू के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. डेंगू में मरीजों की संख्या कालका और पंचकूला में अधिक है. इसका कारण समय पर फॉगिंग नहीं हो पाना बताया गया है. बीते एक सप्ताह में डेंगू के 25 मामले सामने आए हैं. इनमें पंचकूला के 10, सूरजपुर में 15 और पिंजौर के भी 15 मरीज शामिल हैं. जबकि अप्रैल से अगस्त तक डेंगू के कुल 50 मामले सामने आ चुके हैं.

डेंगू का खतरा बढ़ने पर फॉगिंग शुरू की

जिला पंचकूला में डेंगू का खतरा अधिक बढ़ने पर नगर निगम, पंचकूला द्वारा संक्रमण वाले और संभावित क्षेत्रों में फॉगिंग शुरू कर दी गई है. नगर निगम टीम द्वारा आज पंचकूला के गांव खड़क मंगोली में फागिंग की गई. इससे पहले सेक्टर-15, सेक्टर-22 आईटी पार्क, सेक्टर-31, गांव मोगीनंद, पुलिस लाइन सेक्टर-29, सेक्टर-4 एमडीसी, सेक्टर-10, सेक्टर-23, गांव बाना और गांव जयसिंहपुरा में फागिंग पूरी की गई.

एक सप्ताह में समूचे पंचकूला में होगी फॉगिंग

पंचकूला के मेयर कुलभूषण गोयल ने बताया कि नगर निगम द्वारा फागिंग शुरू कर दी गई है उन्होंने कहा कि आगामी एक सप्ताह में समूचे जिले में फागिंग की कार्यवाही पूरी कर दी जाएगी उन्होंने बताया कि डेंगू के अधिकांश मामले कालका और पिंजौर में सामने आए हैं. लेकिन पंचकूला के जिन क्षेत्रों से डेंगू के मामले सामने आए, वहां और आसपास के क्षेत्रों में भी फॉगिंग की जा रही है.

स्वास्थ्य विभाग व निगम में रही तालमेल की कमी

इससे पहले जिले में डेंगू फैलने का कारण फॉगिंग का समय पर नहीं होना बताया गया. वहीं इस मुद्दे पर स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम में तालमेल की कमी भी सामने आई. स्वास्थ्य विभाग के अनुसार पत्र लिखने के बावजूद नगर निगम द्वारा फॉगिंग का शेड्यूल समय पर जारी नहीं किया गया था. विभाग द्वारा बताया गया कि पंचकूला नगर निगम और कालका नगर परिषद के अंतर्गत क्षेत्र में डेंगू के मामले बढ़ने के बाद भी फॉगिंग शुरू नहीं की गई थी.

स्वास्थ्य विभाग ने अपने स्तर पर की फॉगिंग

पंचकूला सेक्टर-6 स्थित सिविल अस्पताल की सीएमओ डॉक्टर मुक्त कुमार के अनुसार निगम द्वारा फॉगिंग शुरू करने से पहले जिन क्षेत्रों से संक्रमण के मामले सामने आए, वहां स्वास्थ्य विभाग द्वारा अपने स्तर पर फॉगिंग की गई. इस बार डेंगू और मलेरिया के केस पहली बार आईएचआईपी पोर्टल पर अपलोड किए जा रहे हैं. इससे सरकारी और प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराने वाले मरीजों का डाटा अपडेट रहता है.

स्वास्थ्य विभाग ने भेजा था शेड्यूल

बीते 12 दिन में डेंगू की डेंसिटी एक से तीन फीसदी तक पहुंच गई. इसके मद्देनजर स्वास्थ्य विभाग द्वारा 15 दिन पहले शहर में फॉगिंग का शेड्यूल तैयार कर नगर निगम को भेजा गया था. लेकिन नगर निगम के अधिकारियों के अनुसार स्वास्थ्य विभाग ने केमिकल उपलब्ध नहीं कराया था. नतीजतन शहर में फॉगिंग शुरू होने में देर हुई.

ये भी पढ़ें- दुनिया भर में मच्छरों की कितनी प्रजातियां पाई जाती हैं, इंसानों के लिए ये कितने घातक हैं, जानें

ये भी पढ़ें- भारत में डेंगू के केस बढ़े, जुलाई तक मामलों में 50% की वृद्धि, केंद्र ने 9 राज्यों को सतर्क रहने को कहा

चंडीगढ़: हरियाणा के पंचकूला में डेंगू के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. डेंगू में मरीजों की संख्या कालका और पंचकूला में अधिक है. इसका कारण समय पर फॉगिंग नहीं हो पाना बताया गया है. बीते एक सप्ताह में डेंगू के 25 मामले सामने आए हैं. इनमें पंचकूला के 10, सूरजपुर में 15 और पिंजौर के भी 15 मरीज शामिल हैं. जबकि अप्रैल से अगस्त तक डेंगू के कुल 50 मामले सामने आ चुके हैं.

डेंगू का खतरा बढ़ने पर फॉगिंग शुरू की

जिला पंचकूला में डेंगू का खतरा अधिक बढ़ने पर नगर निगम, पंचकूला द्वारा संक्रमण वाले और संभावित क्षेत्रों में फॉगिंग शुरू कर दी गई है. नगर निगम टीम द्वारा आज पंचकूला के गांव खड़क मंगोली में फागिंग की गई. इससे पहले सेक्टर-15, सेक्टर-22 आईटी पार्क, सेक्टर-31, गांव मोगीनंद, पुलिस लाइन सेक्टर-29, सेक्टर-4 एमडीसी, सेक्टर-10, सेक्टर-23, गांव बाना और गांव जयसिंहपुरा में फागिंग पूरी की गई.

एक सप्ताह में समूचे पंचकूला में होगी फॉगिंग

पंचकूला के मेयर कुलभूषण गोयल ने बताया कि नगर निगम द्वारा फागिंग शुरू कर दी गई है उन्होंने कहा कि आगामी एक सप्ताह में समूचे जिले में फागिंग की कार्यवाही पूरी कर दी जाएगी उन्होंने बताया कि डेंगू के अधिकांश मामले कालका और पिंजौर में सामने आए हैं. लेकिन पंचकूला के जिन क्षेत्रों से डेंगू के मामले सामने आए, वहां और आसपास के क्षेत्रों में भी फॉगिंग की जा रही है.

स्वास्थ्य विभाग व निगम में रही तालमेल की कमी

इससे पहले जिले में डेंगू फैलने का कारण फॉगिंग का समय पर नहीं होना बताया गया. वहीं इस मुद्दे पर स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम में तालमेल की कमी भी सामने आई. स्वास्थ्य विभाग के अनुसार पत्र लिखने के बावजूद नगर निगम द्वारा फॉगिंग का शेड्यूल समय पर जारी नहीं किया गया था. विभाग द्वारा बताया गया कि पंचकूला नगर निगम और कालका नगर परिषद के अंतर्गत क्षेत्र में डेंगू के मामले बढ़ने के बाद भी फॉगिंग शुरू नहीं की गई थी.

स्वास्थ्य विभाग ने अपने स्तर पर की फॉगिंग

पंचकूला सेक्टर-6 स्थित सिविल अस्पताल की सीएमओ डॉक्टर मुक्त कुमार के अनुसार निगम द्वारा फॉगिंग शुरू करने से पहले जिन क्षेत्रों से संक्रमण के मामले सामने आए, वहां स्वास्थ्य विभाग द्वारा अपने स्तर पर फॉगिंग की गई. इस बार डेंगू और मलेरिया के केस पहली बार आईएचआईपी पोर्टल पर अपलोड किए जा रहे हैं. इससे सरकारी और प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराने वाले मरीजों का डाटा अपडेट रहता है.

स्वास्थ्य विभाग ने भेजा था शेड्यूल

बीते 12 दिन में डेंगू की डेंसिटी एक से तीन फीसदी तक पहुंच गई. इसके मद्देनजर स्वास्थ्य विभाग द्वारा 15 दिन पहले शहर में फॉगिंग का शेड्यूल तैयार कर नगर निगम को भेजा गया था. लेकिन नगर निगम के अधिकारियों के अनुसार स्वास्थ्य विभाग ने केमिकल उपलब्ध नहीं कराया था. नतीजतन शहर में फॉगिंग शुरू होने में देर हुई.

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