जयपुर: बारिश का दौर थमते ही प्रदेश में मौसमी बीमारियों के मामलों में तेजी से बढ़ोतरी शुरू हो चुकी है. डेंगू से प्रदेश में हालात किस तरह बदल रहे हैं, इसका अंदाज इसी बात से लगाया जा सकता है कि बीते 10 दिनों में प्रदेश में 2 हजार से अधिक नए मरीज डेंगू के सामने आ चुके हैं. हर दिन यह आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है. इसे देखते हुए एसएमएस से जुड़े अस्पतालों में मौसमी बीमारियों को लेकर अलग से ओपीडी शुरू की गई है.
राजधानी की बात की जाए, तो मौसमी बीमारियों के बढ़ते मामलों को देखते हुए एसएमएस मेडिकल कॉलेज से अटैच अस्पतालों में मौसमी बीमारियों को लेकर डेडीकेटेड ओपीडी शुरु की गई है. जो 24 घंटे तक चालू रहेगी, एसएमएस अस्पताल में भी मेडिसिन विभाग के निर्देशन में डेडीकेटेट ओपीडी शुरु की गई है. एसएमएस अस्पताल के अधीक्षक डॉक्टर सुशील भाटी का कहना है कि सवाई मानसिंह अस्पताल में बीते कुछ समय से डेंगू और अन्य मौसमी बीमारियों के मरीजों में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है.
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आंकड़े डराने वाले: आंकड़ों की बात की जाए, तो प्रदेश में डेंगू के 3000 से अधिक मामले सामने आ चुके हैं. जबकि मलेरिया और चिकनगुनिया के मामलों में भी तेजी से बढ़ोतरी हो रही है. आंकड़ों की बात करें तो...
- डेंगू के प्रदेश में अभी तक 3648 केस दर्ज
- इनमें सर्वाधिक 467 मामले उदयपुर से, 325 जयपुर, 301 जयपुर ग्रामीण, 290 बीकानेर, 116 टोंक और 158 मामले कोटा से देखने को मिले हैं.
- जबकि 967 के मलेरिया के सामने आ चुके हैं.
- 131 केस चिकनगुनिया के रिपोर्ट हुए हैं.
सामान्य बुखार में भी डेंगू के लक्षण: सवाई मानसिंह अस्पताल के चिकित्सकों का कहना है कि डेंगू के अलावा सामान्य बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या में भी लगातार बढ़ोतरी हो रही है. खास बात यह है कि सामान्य बुखार के लक्षण भी डेंगू जैसे दिखाई दे रहे हैं और एलाइजा टेस्ट से ही डेंगू की पुष्टि होती है, तो ऐसे में सामान्य बुखार से पीड़ित मरीज का भी टेस्ट करना पड़ रहा है.
डेंगू के लक्षण और उपचार: चिकित्सकों का कहना है कि डेंगू के बुखार के लक्षण शरीर में लंबे समय तक बने रहते हैं. यदि इस मौसम में कोई व्यक्ति तेज बुखार से पीड़ित है, तो उसे तुरंत चिकित्सक के परामर्श की जरूरत है.
ये होते हैं डेंगू के लक्षण:
- अचानक तेज बुखार
- गंभीर सिरदर्द
- आंखों के पीछे दर्द
- गंभीर जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द
- थकान
- जी मिचलाना
- उल्टी आना
- दस्त होना
- त्वचा पर लाल चकत्ते दिखना
- हल्का रक्तस्राव (जैसे नाक से खून बहना, मसूड़ों से खून आना)
ऐसे करें बचाव:
- घर में मच्छरदानी का प्रयोग करें.
- यदि घर और आसपास पानी इकट्ठा है, तो उसे खाली करें.
- जब भी घर से बाहर निकलें, तो बदन को पूरा ढक कर रखें.
- अगर आपको डेंगू के लक्षण हैं, तो अपने डॉक्टर से परामर्श लें.