नई दिल्ली: इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड ने हाल ही में अपने खिलाड़ियों के लिए एक बड़ा फरमान जारी किया था. ईसीबी ने अपने खिलाड़ियों को पाकिस्तान सुपर लीग में खेलने पर रोक लगा दी थी. इसके साथ ही अन्य देशों में होने वाले क्रिकेट लीग्स में भी खेलने से रोकने का आदेश दिया था.
बोर्ड ने घरेलू क्रिकेट को मजबूती देने के लिए ये फैसला लिया था. अगर इंग्लैंड क्रिकेटर्स बोर्ड के इस फैसले के बाद भी विदेशी लीग्स में खेलते हैं तो उन पर इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड बैन लगा सकता है. इस बात की पूष्टि ईएसपीएन क्रिकईन्फो की एक रिपोर्ट भी करती है.
THE ECB SET TO BAN ITS PLAYERS TO PARTICIPATE IN PSL & OTHER T20 LEAGUES EXCEPT IPL..!!!!!
— Tanuj Singh (@ImTanujSingh) November 30, 2024
- The ECB will allow their players to participate Only in IPL. (The Telegraph). pic.twitter.com/lMsuRnt4ai
ईसीबी और इंग्लैंड क्रिकेटर्स के बीच बगावत
अब इंग्लैंड के क्रिकेटर ईसीबी के इस फैसले के खिलाफ उतर आए हैं और खुलकर बगावत कर रहे हैं. इंग्लिश क्रिकेटर अब बोर्ड के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की सोच रहे हैं. इससे बोर्ड और खिलाड़ियों के बीच विवाद खड़ा हो गया है. खिलाड़ियों की मानें तो वो बोर्ड की नो-ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट नीति से पूरी तरह से वाकिफ नहीं हैं.
ईसीबी के खिलाफ जाएंगे इंग्लैंड के क्रिकेटर
अब ये सभी खिलाड़ी मिलकर अगले हफ्ते एक मीटिंग करने वाले हैं, इस मीटिंग में ये सभी खिलाड़ी इस नो-ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट नीति की बारिकियों को जानेंगे और फिर इस पर फैसला लेंगे कि वो बोर्ड के साथ इससे कैसे डील कर सकते हैं. ईसीबी की ये नीति खिलाड़ियों को भारी नुकसान पहुंचा रही है. इंग्लैंड के क्रिकेटर्स प्रोफेशनल क्रिकेटर्स एसोसिएशन (पीसीए) के अलावा व्हाट्सएप ग्रुप चैट में आपस में बात करके आने की नीति तैयार कर रहे हैं.
आपको बता दें कि ईसीबी के चीफ एग्जीक्यूटिव रिचर्ड गोल्ड ने कहा था कि घरेलू क्रिकेट की मजबूती देने के लिए ये नीति अमल में लाई गई है. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इन खिलाड़ियों को पीएसएल और सीपीएल जैसी अन्य देशों की क्रिकेट लीग में खेलने की अनुमति तब दी जाएगी, जब वो पहले घरेलू लीग T20 ब्लास्ट और द हंड्रेड जैसे घरेलू टूर्नामेंट में रुकावट न बने और यहां सबसे पहले खेलें.
दरअसल आज के समय में हर देश में एक क्रिकेट लीग खेली जा रही है, जिसमें पाकिस्तान, बांग्लादेश, श्रीलंका, साउथ अफ्रीका और वेस्टइंडीज, इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया जैसे बड़े-बड़े देश शामिल हैं. इन लीग्स में देश और दुनिया भर के क्रिकेटर्स हिस्सा लेते हैं. अब इंग्लैंड के क्रिकेटर अपने घरेलू क्रिकेट ढांचे को मजबूत करें ये ईसीबी चाहता है. भारत की इंडियन प्रीमियर लीग ( आईपीएल) दुनिया की सबसे बड़ी और अमीर लीग्स में से एक है. इस लीग को ईसीबी के इस नियम से बाहर रखा गया है.