मुंबई: अगर आप भी शेयर बाजार में अक्सर निवेश करते हैं तो यह खबर आपके काम की है. देश के प्रमुख शेयर बाजारों बीएसई और एनएसई ने कैश और फ्यूचर ऑप्शन डील के लिए अपने ट्रांजेक्शन शुल्क में बदलाव किया है. सेबी द्वारा शेयर बाजार समेत बाजार के बुनियादी ढांचे से जुड़ी संस्थाओं के सभी सदस्यों के लिए एक समान शुल्क संरचना अनिवार्य किए जाने के बाद यह कदम उठाया गया है. शेयर बाजारों की ओर से जारी अलग-अलग सर्कुलर में कहा गया था कि बदली हुई दरें 1 अक्टूबर से लागू होंगी.
सेबी की अधिसूचना के बाद किए गए बदलाव
बीएसई ने इक्विटी फ्यूचर और ऑप्शन कैटेगरी में सेंसेक्स और बैंकेक्स ऑप्शन कॉन्ट्रैक्ट के लिए ट्रांजेक्शन शुल्क में बदलाव करते हुए इसे 3,250 रुपये प्रति करोड़ प्रीमियम टर्नओवर कर दिया है. हालांकि, इक्विटी फ्यूचर और ऑप्शन कैटेगरी में अन्य कॉन्ट्रैक्ट के लिए ट्रांजेक्शन शुल्क में कोई बदलाव नहीं किया गया है. सेबी ने जुलाई में बाजार बुनियादी ढांचा संस्थाओं (एमआईआई) की फीस के बारे में अधिसूचना जारी की थी. इसमें कहा गया था कि एमआईआई के पास सभी सदस्यों के लिए एक समान शुल्क संरचना होनी चाहिए, जो ट्रेडिंग की मौजूदा वॉल्यूम-आधारित सिस्टम की जगह लेगी.
कैश मार्केट सेगमेंट के लिए एक समान ट्रांजेक्शन चार्ज लगाया गया
एनएसई ने अब कैश मार्केट सेगमेंट के लिए एक समान ट्रांजेक्शन चार्ज लगाया है. अब हर एक लाख रुपये के कारोबार पर दोनों तरफ 2.97 रुपये का शुल्क लगेगा. इससे पहले स्टॉक एक्सचेंज कैश सेगमेंट में एक महीने में कारोबार के कुल मूल्य के अलग-अलग स्लैब के लिए 2.97-3.22 रुपये प्रति साइड चार्ज कर रहा था. एनएसई ने इक्विटी फ्यूचर्स सेगमेंट में चार्ज में संशोधन किया है. अब एक लाख ट्रेड वैल्यू पर दोनों तरफ 1.73 रुपये का शुल्क लगेगा.