मुंबई: दुनिया का चौथा सबसे पड़ा भारतीय शेयर बाजार पहली बार 5 ट्रिलियन डॉलर के पर पहुंच गया है. बीएसई पर लिस्ट कंपनियों का मार्केट कैपिटल पहली बार रिकॉर्ड 5 ट्रिलियन डॉलर को पार कर गया. आज 21 मई को एमकैप नई ऊंचाई पर पहुंच गया है. बीएसई वेबसाइट पर डेटा से पता चलता है, जो भारतीय शेयर बाजारों में चल रही रैली को रेखांकित करता है.
बीएसई में सूचीबद्ध सभी कंपनियों का कुल मार्केट कैप 5 ट्रिलियन डॉलर या 414.46 ट्रिलियन रुपये से अधिक तक पहुंच गया, जो वर्ष की शुरुआत के बाद से 633 बिलियन डॉलर से अधिक बढ़ गया है. हालांकि प्रमुख सेंसेक्स सूचकांक अभी भी अपने सर्वकालिक उच्च स्तर से 1.66 फीसदी नीचे है, बीएसई मिड और स्मॉलकैप सूचकांक नई ऊंचाई पर पहुंच गए.
मार्केट कैप की जर्नी
बीएसई का कुल बाजार पूंजीकरण दिसंबर 2023 में 4 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंच गया था, और अब केवल छह महीनों में 5 ट्रिलियन डॉलर से अधिक हो गया है. बीएसई-सूचीबद्ध कंपनियां मई 2007 में 1 ट्रिलियन डॉलर के मार्केट कैप तक पहुंच गईं, जो एक दशक में दोगुनी होकर जुलाई 2017 में 2 ट्रिलियन डॉलर हो गईं, और फिर मई 2021 में 3 ट्रिलियन डॉलर के निशान तक पहुंच गईं.
अमेरिका दुनिया का सबसे बड़ा शेयर बाजार
दुनिया भर में केवल चार शेयर बाजार 5 ट्रिलियन डॉलर प्लस क्लब में हैं. जिसमें अमेरिका, चीन, जापान और हांगकांग शामिल है. लगभग 55.65 ट्रिलियन डॉलर के मार्केट कैप के साथ अमेरिका सबसे आगे है. इसके बाद चीन (9.4 ट्रिलियन डॉलर), जापान (6.42 ट्रिलियन डॉलर) और हांगकांग (5.47 ट्रिलियन डॉलर) का स्थान है. ब्लूमबर्ग के अनुसार, 2024 में अब तक भारत का बाजार पूंजीकरण लगभग 12 फीसदी बढ़ गया है, जबकि अमेरिका के लिए यह 10 फीसदी और हांगकांग का 16 फीसदी बढ़ गया है. चीन और जापान का मार्केट कैप काफी हद तक स्थिर रहा है, चीन में 1.4 फीसदी की गिरावट आई है और जापान में केवल 3 फीसदी की वृद्धि हुई है.