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ईएसी-पीएम के अध्यक्ष बिबेक देबरॉय का निधन - DEBROY DEATH

डॉ. बिबेक देबरॉय ने भारत में नीतिगत चर्चा को समृद्ध बनाने में उल्लेखनीय योगदान दिया. उन्होंने भारत की संस्कृति-सभ्यता के लिए भी काम किया.

DEBROY DEATH
डॉ. बिबेक देबरॉय की फाइल फोटो. (X/@himantabiswa)
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By PTI

Published : Nov 1, 2024, 12:08 PM IST

नई दिल्ली: प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद (ईएसी-पीएम) के अध्यक्ष बिबेक देबरॉय का आज सुबह निधन हो गया, ईएसी-पीएम के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी. उन्हें एम्स में भर्ती कराया गया था. देबरॉय (69) ने रामकृष्ण मिशन स्कूल, नरेंद्रपुर; प्रेसीडेंसी कॉलेज, कोलकाता; दिल्ली स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स; और ट्रिनिटी कॉलेज, कैम्ब्रिज से शिक्षा प्राप्त की थी.

उन्होंने प्रेसीडेंसी कॉलेज, कोलकाता, गोखले इंस्टीट्यूट ऑफ पॉलिटिक्स एंड इकोनॉमिक्स, पुणे, भारतीय विदेश व्यापार संस्थान, दिल्ली में काम किया था. इसके साथ ही उन्होंने कानूनी सुधारों पर वित्त मंत्रालय/यूएनडीपी परियोजना के निदेशक के रूप में भी काम किया था.

वे 5 जून, 2019 तक नीति आयोग के सदस्य भी थे. उन्होंने कई किताबें, शोधपत्र और लोकप्रिय लेख लिखे/संपादित किए हैं. वह कई समाचार पत्रों के सलाहकार संपादक भी रहे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देबरॉय के निधन पर शोक व्यक्त किया. उन्होंने कहा कि वह एक महान विद्वान थे. उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि डॉ. बिबेक देबरॉय जी एक महान विद्वान थे, जो अर्थशास्त्र, इतिहास, संस्कृति, राजनीति, अध्यात्म और अन्य विविध क्षेत्रों में पारंगत थे.

अपने कार्यों के माध्यम से, उन्होंने भारत के बौद्धिक परिदृश्य पर एक अमिट छाप छोड़ी. सार्वजनिक नीति में अपने योगदान से परे, उन्हें हमारे प्राचीन ग्रंथों पर काम करना और उन्हें युवाओं के लिए सुलभ बनाना पसंद था. प्रधानमंत्री ने देबरॉय के साथ अपनी एक तस्वीर भी साझा की.

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उन्होंने प्रेसीडेंसी कॉलेज, कोलकाता, गोखले इंस्टीट्यूट ऑफ पॉलिटिक्स एंड इकोनॉमिक्स, पुणे, भारतीय विदेश व्यापार संस्थान, दिल्ली में काम किया था. इसके साथ ही उन्होंने कानूनी सुधारों पर वित्त मंत्रालय/यूएनडीपी परियोजना के निदेशक के रूप में भी काम किया था.

वे 5 जून, 2019 तक नीति आयोग के सदस्य भी थे. उन्होंने कई किताबें, शोधपत्र और लोकप्रिय लेख लिखे/संपादित किए हैं. वह कई समाचार पत्रों के सलाहकार संपादक भी रहे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देबरॉय के निधन पर शोक व्यक्त किया. उन्होंने कहा कि वह एक महान विद्वान थे. उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि डॉ. बिबेक देबरॉय जी एक महान विद्वान थे, जो अर्थशास्त्र, इतिहास, संस्कृति, राजनीति, अध्यात्म और अन्य विविध क्षेत्रों में पारंगत थे.

अपने कार्यों के माध्यम से, उन्होंने भारत के बौद्धिक परिदृश्य पर एक अमिट छाप छोड़ी. सार्वजनिक नीति में अपने योगदान से परे, उन्हें हमारे प्राचीन ग्रंथों पर काम करना और उन्हें युवाओं के लिए सुलभ बनाना पसंद था. प्रधानमंत्री ने देबरॉय के साथ अपनी एक तस्वीर भी साझा की.

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