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क्या हॉर्स ट्रेडिंग की संभावना है? महाराष्ट्र में दिलचस्प हुआ विधान परिषद का चुनाव, किसका बिगड़ेगा खेल! - Maharashtra MLC Election 2024 - MAHARASHTRA MLC ELECTION 2024

Maharashtra MLC Election 2024: महाराष्ट्र में 11 सीटों के लिए विधान परिषद का चुनाव होना है. यह चुनावी मुकाबला और भी अधिक दिलचस्प होता जा रहा है क्योंकि 11 सीटों के लिए 12 उम्मीदवारों ने चुनावी पर्चा दाखिल किया है. वहीं, इस चुनाव में बड़े पैमाने पर हॉर्स ट्रेडिंग की संभावना बनी हुई है.

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फोटो (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Jul 5, 2024, 8:35 PM IST

Updated : Jul 5, 2024, 9:28 PM IST

मुंबई: लोकसभा चुनाव के रिजल्ट के बाद महाराष्ट्र में बदलते राजनीतिक हालात के बीच 12 जुलाई को 11 विधान परिषद सीटों के लिए चुनाव हो रहे हैं. इन 11 सीटों के लिए कुल 12 उम्मीदवारों ने नामांकन किया था. सभी पार्टियां इस चुनाव को निर्विरोध कराकर खरीद-फरोख्त को रोकना चाहती है. हालांकि, आज नामांकन फॉर्म वापस लेने के आखिरी दिन किसी भी पार्टी के उम्मीदवार द्वारा आवेदन वापस नहीं लेने के कारण विधान परिषद चुनाव 12 जुलाई को होने जा रहा है. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने भी इसके लिए पहल की थी. हालांकि, समन्वय की कमी के कारण आखिरकार विधान परिषद का चुनाव होने जा रहा है.

चुनाव में हॉर्स ट्रेडिंग की संभावना!
इस चुनाव में महायुति के 9 और महा विकास अघाड़ी के 3 उम्मीदवार मैदान में हैं. ऐसी संभावना है कि इस चुनाव में बड़े पैमाने पर खरीद-फरोख्त (हॉर्स ट्रेडिंग) हो सकती है. वहीं, राजनीतिक गलियारों में चर्चा थी कि इस चुनाव में इनमें से एक अपना नाम वापस ले सकते हैं, जिसको लेकर घमासान मचा हुआ था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, 12 जुलाई को विधान परिषद के लिए मतदान गुप्त रूप से होगा, इसलिए बड़े पैमाने पर वित्तीय खरीद-फरोख्त की संभावना बनी हुई है. गुप्त मतदान के कारण वोटों के बंटने की भी संभावना अधिक है. इसलिए यह देखना काफी दिलचस्प होगा कि किस पार्टी का वोट बंटेगा.

विधानसभा की कुल 288 सीटों में से 14 सीटें खाली
विधानसभा की कुल 288 सीटों में से 14 सीटें खाली हैं. इसलिए कुल 274 विधायक वोट करेंगे और विधायकों के पास जीत के लिए 23 (22.84) वोटों का कोटा होगा. अब जब चुनाव की घोषणा हो चुकी है तो चुनाव में बड़े पैमाने पर खरीद-फरोख्त की आशंका है, ऐसे में सभी पार्टियों को अपने विधायकों को साधने के लिए कड़ी मेहनत करनी होगी. राज्य में चुनाव की घोषणा हो चुकी है, इसलिए संभावना ऐसी जताई जा रही है कि, इस चुनाव में खूब खरीद-फरोख्त होगी.

कांग्रेस विधायक ने लगाया बड़ा आरोप
इस बारे में बात करते हुए कांग्रेस विधायक भाई जगताप ने आरोप लगाते हुए कहा कि 2014 में जब से देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री बने, तब से राज्य की राजनीति में खरीद-फरोख्त शुरू हो गई. उन्होंने कहा कि, पहले इस प्रकार के चुनाव में सत्ता पक्ष और विपक्ष एक साथ बैठते थे और इससे निर्विरोध चुनाव हो जाता था. लेकिन अब सत्ताधारी विपक्ष को अपना दुश्मन मान रही है और उसी तरह काम कर रहे हैं जिसके कारण इस तरह के चुनाव में खरीद-फरोख्त हो रही है. वहीं, इस चुनाव के बारे में बात करते हुए मंत्री शंभुराज देसाई ने कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं है कि हम महायुति के 9 के 9 विधायक चुनेंगे. उन्होंने कहा कि, इस चुनाव में खरीद-फरोख्त नहीं होगी. जब महाविकास अघाड़ी के पास ताकत नहीं थी तब उन्होंने उम्मीदवार दिए. शंभुराज ने यह भी कहा कि विधान परिषद के चुनाव में जीत उनकी पार्टी की होगी.

MLC के चुनावी मैदान में कौन-कौन?
विधान परिषद चुनाव के लिए महायुति ने पांच उम्मीदवार चुनाव मैदान में उतारे हैं. महायुति के उम्मीदवार महागठबंधन में बीजेपी से पंकजा मुंडे, सदाभाऊ खोत, परिणय फुके, योगेश तिलेकर, और अमित गोरखे. अजित पवार की अगुवाई वाली एनसीपी से राजेश विटेकर और शिवाजीराव गरजे मैदान में हैं. वहीं, एकनाथ शिंदे की शिवसेना से भावना गवली और कृपाल तुमाने को नामांकित किया गया है. वहीं, उद्धव ठाकरे समूह ने पार्टी सचिव और उनके निजी सहायक मिलिंद नार्वेकर को नामांकित किया है. उद्धव ठाकरे के पास कुल 15 वोट हैं और उन्हें एक निर्दलीय विधायक का समर्थन प्राप्त है. इसके अलावा, अगर ठाकरे को कांग्रेस से अतिरिक्त वोट मिलते हैं, तो नार्वेकर आसानी से निर्वाचित हो सकते हैं.

महागठबंधन के पास संख्याबल की ताकत
विधानसभा में मौजूदा ताकत को देखें तो बीजेपी के पास 103 विधायक हैं, शिवसेना के पास 39 विधायक हैं, अजित पवार की एनसीपी के पास 40 विधायक हैं. इसके अलावा महागठबंधन को कुछ स्वतंत्र और छोटी पार्टियों का भी समर्थन हासिल है. बीजेपी को अपने 5 उम्मीदवारों को जिताने के लिए 115 विधायकों के समर्थन की जरूरत होगी और 12 वोटों की गिनती करनी होगी. निर्दलीय और छोटे दलों के 9 विधायक बीजेपी के साथ हैं. इसलिए बीजेपी को सिर्फ तीन वोट हासिल करने होंगे. शिंदे सेना को 7 अतिरिक्त वोटों की जरूरत होगी. अजित पवार गुट को 6 वोट हासिल करने होंगे. संख्या में माविया की ताकत? - कांग्रेस के पास कुल 37 वोट हैं और उसने केवल प्रज्ञा सातव को उम्मीदवार बनाया है। कांग्रेस के पास अतिरिक्त 14 वोट हैं. ये अतिरिक्त वोट उद्धव ठाकरे की सेना को देने पर सहमति बनी है.

मुंबई: लोकसभा चुनाव के रिजल्ट के बाद महाराष्ट्र में बदलते राजनीतिक हालात के बीच 12 जुलाई को 11 विधान परिषद सीटों के लिए चुनाव हो रहे हैं. इन 11 सीटों के लिए कुल 12 उम्मीदवारों ने नामांकन किया था. सभी पार्टियां इस चुनाव को निर्विरोध कराकर खरीद-फरोख्त को रोकना चाहती है. हालांकि, आज नामांकन फॉर्म वापस लेने के आखिरी दिन किसी भी पार्टी के उम्मीदवार द्वारा आवेदन वापस नहीं लेने के कारण विधान परिषद चुनाव 12 जुलाई को होने जा रहा है. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने भी इसके लिए पहल की थी. हालांकि, समन्वय की कमी के कारण आखिरकार विधान परिषद का चुनाव होने जा रहा है.

चुनाव में हॉर्स ट्रेडिंग की संभावना!
इस चुनाव में महायुति के 9 और महा विकास अघाड़ी के 3 उम्मीदवार मैदान में हैं. ऐसी संभावना है कि इस चुनाव में बड़े पैमाने पर खरीद-फरोख्त (हॉर्स ट्रेडिंग) हो सकती है. वहीं, राजनीतिक गलियारों में चर्चा थी कि इस चुनाव में इनमें से एक अपना नाम वापस ले सकते हैं, जिसको लेकर घमासान मचा हुआ था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, 12 जुलाई को विधान परिषद के लिए मतदान गुप्त रूप से होगा, इसलिए बड़े पैमाने पर वित्तीय खरीद-फरोख्त की संभावना बनी हुई है. गुप्त मतदान के कारण वोटों के बंटने की भी संभावना अधिक है. इसलिए यह देखना काफी दिलचस्प होगा कि किस पार्टी का वोट बंटेगा.

विधानसभा की कुल 288 सीटों में से 14 सीटें खाली
विधानसभा की कुल 288 सीटों में से 14 सीटें खाली हैं. इसलिए कुल 274 विधायक वोट करेंगे और विधायकों के पास जीत के लिए 23 (22.84) वोटों का कोटा होगा. अब जब चुनाव की घोषणा हो चुकी है तो चुनाव में बड़े पैमाने पर खरीद-फरोख्त की आशंका है, ऐसे में सभी पार्टियों को अपने विधायकों को साधने के लिए कड़ी मेहनत करनी होगी. राज्य में चुनाव की घोषणा हो चुकी है, इसलिए संभावना ऐसी जताई जा रही है कि, इस चुनाव में खूब खरीद-फरोख्त होगी.

कांग्रेस विधायक ने लगाया बड़ा आरोप
इस बारे में बात करते हुए कांग्रेस विधायक भाई जगताप ने आरोप लगाते हुए कहा कि 2014 में जब से देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री बने, तब से राज्य की राजनीति में खरीद-फरोख्त शुरू हो गई. उन्होंने कहा कि, पहले इस प्रकार के चुनाव में सत्ता पक्ष और विपक्ष एक साथ बैठते थे और इससे निर्विरोध चुनाव हो जाता था. लेकिन अब सत्ताधारी विपक्ष को अपना दुश्मन मान रही है और उसी तरह काम कर रहे हैं जिसके कारण इस तरह के चुनाव में खरीद-फरोख्त हो रही है. वहीं, इस चुनाव के बारे में बात करते हुए मंत्री शंभुराज देसाई ने कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं है कि हम महायुति के 9 के 9 विधायक चुनेंगे. उन्होंने कहा कि, इस चुनाव में खरीद-फरोख्त नहीं होगी. जब महाविकास अघाड़ी के पास ताकत नहीं थी तब उन्होंने उम्मीदवार दिए. शंभुराज ने यह भी कहा कि विधान परिषद के चुनाव में जीत उनकी पार्टी की होगी.

MLC के चुनावी मैदान में कौन-कौन?
विधान परिषद चुनाव के लिए महायुति ने पांच उम्मीदवार चुनाव मैदान में उतारे हैं. महायुति के उम्मीदवार महागठबंधन में बीजेपी से पंकजा मुंडे, सदाभाऊ खोत, परिणय फुके, योगेश तिलेकर, और अमित गोरखे. अजित पवार की अगुवाई वाली एनसीपी से राजेश विटेकर और शिवाजीराव गरजे मैदान में हैं. वहीं, एकनाथ शिंदे की शिवसेना से भावना गवली और कृपाल तुमाने को नामांकित किया गया है. वहीं, उद्धव ठाकरे समूह ने पार्टी सचिव और उनके निजी सहायक मिलिंद नार्वेकर को नामांकित किया है. उद्धव ठाकरे के पास कुल 15 वोट हैं और उन्हें एक निर्दलीय विधायक का समर्थन प्राप्त है. इसके अलावा, अगर ठाकरे को कांग्रेस से अतिरिक्त वोट मिलते हैं, तो नार्वेकर आसानी से निर्वाचित हो सकते हैं.

महागठबंधन के पास संख्याबल की ताकत
विधानसभा में मौजूदा ताकत को देखें तो बीजेपी के पास 103 विधायक हैं, शिवसेना के पास 39 विधायक हैं, अजित पवार की एनसीपी के पास 40 विधायक हैं. इसके अलावा महागठबंधन को कुछ स्वतंत्र और छोटी पार्टियों का भी समर्थन हासिल है. बीजेपी को अपने 5 उम्मीदवारों को जिताने के लिए 115 विधायकों के समर्थन की जरूरत होगी और 12 वोटों की गिनती करनी होगी. निर्दलीय और छोटे दलों के 9 विधायक बीजेपी के साथ हैं. इसलिए बीजेपी को सिर्फ तीन वोट हासिल करने होंगे. शिंदे सेना को 7 अतिरिक्त वोटों की जरूरत होगी. अजित पवार गुट को 6 वोट हासिल करने होंगे. संख्या में माविया की ताकत? - कांग्रेस के पास कुल 37 वोट हैं और उसने केवल प्रज्ञा सातव को उम्मीदवार बनाया है। कांग्रेस के पास अतिरिक्त 14 वोट हैं. ये अतिरिक्त वोट उद्धव ठाकरे की सेना को देने पर सहमति बनी है.

Last Updated : Jul 5, 2024, 9:28 PM IST
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