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जंग की भूमि पर जीत अपनी शर्तों पर शांति के लिए एक राष्ट्र तैयार करता है: NSA अजीत डोभाल

NSA अजीत डोभाल ने एक पुस्तक के विमोचन कार्यक्रम के दौरान कहा कि राष्ट्रीय इच्छाशक्ति का निर्माण और उसे मजबूत करना एक प्रमुख कार्य है.

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NSA अजीत डोभाल एक पुस्तक विमोचन कार्यक्रम में (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : 2 hours ago

नई दिल्ली: भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल शुक्रवार को दिल्ली में ‘इंडियन स्ट्रेटेजिक कल्चर: महाभारत और कौटिल्य युद्ध के तरीके' नाम की पुस्तक के विमोचन समारोह में शामिल हुए. उन्होंने कहा कि, राष्ट्रीय इच्छाशक्ति का निर्माण और उसे मजबूत करना एक प्रमुख कार्य है.

अजीत डोभाल ने कहा "हम युद्ध क्यों लड़ते हैं? क्या यह विरोधी के मानव संसाधनों को नष्ट करने के लिए किसी परोक्ष आनंद के लिए है? हमारे सैन्य उद्देश्य क्या हैं और हम उन्हें कैसे प्राप्त करते हैं? एनएसए अजीत डोभाल ने आगे कहा कि, हम राष्ट्र की इच्छाशक्ति को तोड़कर इसे प्राप्त करते हैं और उनकी सेना को हराने से राष्ट्र की इच्छाशक्ति टूट जाती है. जब आप उन्हें युद्ध के मैदान में हरा देते हैं, चाहे वह यूक्रेन हो, रूस हो या कोई और युद्ध तो राष्ट्र आपकी शर्तों पर आपके साथ शांति स्थापित करने के लिए तैयार हो जाता है.

उन्होंने स्वामी विवेकानंद का जिक्र करते हुए आगे कहा कि, सालों पहले एक व्यक्ति जो राष्ट्रीय वसीयत का निर्माण और उसे मजबूत करने के लिए खड़ा हुआ था. सोशल मीडिया के प्रभाव पर, एनएसए अजीत डोवाल ने कहा, "सोशल मीडिया को सोशल मीडिया का उपयोग करके काउंटर करने की आवश्यकता है ... सोशल मीडिया की विश्वसनीयता धीरे -धीरे मिट रही है. आपको सोशल मीडिया पर कहानियों को खोजने और उजागर करने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए जो झूठ दिखाते हैं.

बता दें कि एनएसए डोभाल शुक्रवार को दिल्ली में जीडी बख्शी की पुस्तक ‘''Indian Strategic Culture: Mahabharata & Kautilyan Ways of War' ’ के लॉन्चिंग सेरेमनी पहुंचे थे. जहां उन्होंने किताब का विमोचन किया. बताया जा रहै है कि इस किताब में महाभारत और कौटिल्य के युद्ध के तरीकों को फोकस किया गया है.

ये भी पढ़ें: तीन घंटे तक माथापच्ची! सुलझ गया महायुति में सीटों पर फंसा पेंच, बागियों पर अमित शाह की नजर; ये हुए फैसले

नई दिल्ली: भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल शुक्रवार को दिल्ली में ‘इंडियन स्ट्रेटेजिक कल्चर: महाभारत और कौटिल्य युद्ध के तरीके' नाम की पुस्तक के विमोचन समारोह में शामिल हुए. उन्होंने कहा कि, राष्ट्रीय इच्छाशक्ति का निर्माण और उसे मजबूत करना एक प्रमुख कार्य है.

अजीत डोभाल ने कहा "हम युद्ध क्यों लड़ते हैं? क्या यह विरोधी के मानव संसाधनों को नष्ट करने के लिए किसी परोक्ष आनंद के लिए है? हमारे सैन्य उद्देश्य क्या हैं और हम उन्हें कैसे प्राप्त करते हैं? एनएसए अजीत डोभाल ने आगे कहा कि, हम राष्ट्र की इच्छाशक्ति को तोड़कर इसे प्राप्त करते हैं और उनकी सेना को हराने से राष्ट्र की इच्छाशक्ति टूट जाती है. जब आप उन्हें युद्ध के मैदान में हरा देते हैं, चाहे वह यूक्रेन हो, रूस हो या कोई और युद्ध तो राष्ट्र आपकी शर्तों पर आपके साथ शांति स्थापित करने के लिए तैयार हो जाता है.

उन्होंने स्वामी विवेकानंद का जिक्र करते हुए आगे कहा कि, सालों पहले एक व्यक्ति जो राष्ट्रीय वसीयत का निर्माण और उसे मजबूत करने के लिए खड़ा हुआ था. सोशल मीडिया के प्रभाव पर, एनएसए अजीत डोवाल ने कहा, "सोशल मीडिया को सोशल मीडिया का उपयोग करके काउंटर करने की आवश्यकता है ... सोशल मीडिया की विश्वसनीयता धीरे -धीरे मिट रही है. आपको सोशल मीडिया पर कहानियों को खोजने और उजागर करने पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए जो झूठ दिखाते हैं.

बता दें कि एनएसए डोभाल शुक्रवार को दिल्ली में जीडी बख्शी की पुस्तक ‘''Indian Strategic Culture: Mahabharata & Kautilyan Ways of War' ’ के लॉन्चिंग सेरेमनी पहुंचे थे. जहां उन्होंने किताब का विमोचन किया. बताया जा रहै है कि इस किताब में महाभारत और कौटिल्य के युद्ध के तरीकों को फोकस किया गया है.

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