रायपुर: छत्तीसगढ़ में बीते कई महीनों से इंटरनेशनल गैंग्स और शूटर्स की सक्रियता बढ़ गई है.पहले लॉरेंस गैंग ने यहां के कारोबारियों को धमकी दी. उसके बाद अमन साहू गैंग ने प्रदेश में उत्पात मचाने की कोशिश की. अब मलेशिया से माफिया मयंक सिंह ने कारोबारी को धमकाने के लिए शूटर भेजा. जिससे रायपुर से लेकर प्रदेश के कई जिलों में दहशत है. रायपुर एसएसपी संतोष सिंह का दावा है कि अमन साहू गैंग के उत्पात पर हम अंकुश लगाएंगे और उसके शूटरों पर लगातार एक्शन जारी रहेगा.
रायपुर पुलिस ने तैयारी का किया दावा: इस मामले में ईटीवी भारत ने रायपुर पुलिस से बात की जिसमें एसएसपी संतोष सिंह ने बताया कि गैंग्स्टर्स से निपटने के लिए पुलिस तैयार है. उन्होंने बताया कि रायपुर में अभी जो फायरिंग की घटना हुई है. उससे जुड़े लोगों के एक गैंग को हमने पहले भी पकड़ा था. जो प्रदेश में शूटआउट की वारदात को अंजाम देने की फिराक में थे. हमने उन्हें वारदात से पहले पकड़ लिया था. अभी जो घटना रायपुर में हुई है. उसमें यह खुलासा हुआ है कि यह पूरा मामला एक्स्ट्रोशन से जुड़ा हुआ है. यहां के व्यापारी जो झारखंड में कंस्ट्रक्शन और माइनिंग का काम कर रहे हैं उनसे लेवी वसूलने के लिए ये गैंग प्रयास कर रहा है. रायपुर पुलिस पूरी तरह मुस्तैद है हम ऐसे गिरोह को गिरफ्तार करने की कोशिश में लगे हुए हैं.
कोरबा फायरिंग के घटना की भी जांच जारी: इस क्रम में ईटीवी भारत ने कोरबा में अमन साहू गैंग की तरफ से दो साल पहले हुई फायरिंग को लेकर सवाल पूछा. इस सवाल के जवाब में एसएसपी संतोष सिंह ने कहा कि" RKTC कंपनी के ऑफिस पर हवाई फायरिंग की घटना में भी झारखंड का लिंक सामने आया था. उस समय भी अमन साहू गैंग का नाम इस केस से जुड़ा था. हमने दो लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था. बीते साल भी फायरिंग की घटना हुई थी जिसमें तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया. इस साल के फायरिंग की वारदात में हम आरोपियों की गिरफ्तारी में लगे हुए हैं.
अमन साहू गैंग के 80 फीसदी गुर्गे सलाखों के पीछे: एसएसपी संतोष सिंह दावा करते हुए कहा कि अमन साहू गैंग के 80 फीसदी गुर्गे सलाखों के पीछे हैं. 20 फीसदी गुर्गे सलाखों के बाहर हैं और वो वारदात को अंजाम देते हैं. उनको भी हम जल्द सलाखों के पीछे पहुंचाएंगे. अमन साहू गैंग के मास्टरमाइंड की हम रिमांड लेने की तैयारी कर रहे हैं. जैसे ही हमे रिमांड मिलेगी हम उससे पूछताछ करेंगे.
"छत्तीसगढ़ में जो फायरिंग की घटनाएं हुई है वह एक्सटोरशन से जुड़े मामले हैं. इस तरह के एक्सटोरशन गैंग झारखंड में ज्यादा सक्रिय हैं. इस गैंग के सदस्यों की संख्या सैंकड़ों में है. वहां की स्थानीय पुलिस इनकी तलाश में जुटी हुई है. झारखंड से जाकर एक विशेष व्य्क्ति मलेशिया में छिपा है लेकिन उसकी पुख्ता जानकारी नहीं है. पुलिस इस गैंग के 80 फीसदी लोगों को झारखंड में गिरफ्तार कर चुकी है. 20 फीसदी इस गैंग के लोग ही घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं. गैंग के सदस्य गिरफ्तार होते हैं और छूट जाते हैं उसके बाद अपराध की घटनाओं को अंजाम देते हैं. इस तरह यह गैंग ऑपरेट हो रहा है": संतोष सिंह, एसएसपी, रायपुर
छत्तीसगढ़ में फायरिंग की घटनाओं में पुलिस को मिली है सफलता: छत्तीसगढ़ में फायरिंग की घटनाओं में पुलिस को सफलता मिली है. जितनी भी घटनाएं हुई हैं उसमें आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है. बीते घटनाओं का लिंक राजस्थान से मिला था जिसमें राजस्थान से गिरफ्तारी हुई थी. रायपुर की घटना पर भी हम काम कर रहे हैं. सारे क्लू पर विचार किया जा रहा है. आने वाले समय में ऐसे लोगों पर कार्रवाई होती दिखेगी