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मंगलुरु की मेघना ने सबसे लंबे समय तक किया कुर्मासन योग, एक घंटे से ज्यादा बैठी रही 'कछुए' की तरह

कर्नाटक के मंगलुरु की मेघना एच शेट्टीगर ने कछुए की तरह बैठकर एक घंटे से ज्यादा समय तक कुर्मासन योग किया.

मंगलुरु की मेघना ने सबसे लंबे समय तक किया कुर्मासन योग
मंगलुरु की मेघना ने सबसे लंबे समय तक किया कुर्मासन योग (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : 2 hours ago

बेंगलुरु: कर्नाटक के मंगलुरु की 13 वर्षीय लड़की ने कछुए की तरह बैठकर लंबे समय तक कुर्मासन योग किया और 'इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स' में अपना नाम दर्ज करवा लिया. दक्षिण कन्नड़ जिले के डेराबिल के नेक्किलागुड्डे निवासी हरीश शेट्टीगर और कविता शेट्टीगर की बेटी 13 वर्षीय मेघना एच शेट्टीगर ने यह उपलब्धि हासिल की है.

मेघना लेडीहिल के विक्टोरिया हाई स्कूल में कक्षा 8 में पढ़ रही है. उसने 1 घंटे 17 सेकंड तक कुर्मासन करने वाली सबसे कम उम्र की लड़की के रूप में 'इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स' में अपना नाम दर्ज करवाया है.

मेघना पहली कक्षा से ही योग कक्षाओं में भाग ले रही है. वह जब सातवीं कक्षा में थी, तब से कुर्मासन करने का प्रयास कर रही थी. वह अपने माता-पिता और योग टीचर कविता अशोक की मदद से यह कीर्तिमान हासिल करने में सफल रही.

मंगलुरु की मेघना ने सबसे लंबे समय तक किया कुर्मासन योग (ETV Bharat)

मेघना ने मध्य प्रदेश की लड़की का रिकॉर्ड तोड़ा
रिकॉर्ड बनाने वाली मेघना को सबसे लंबे समय तक कुर्मासन करने वाली किशोरी बनने का गौरव प्राप्त हुआ है. इससे पहले सबसे लंबे समय तक कुर्मासन करने का रिकॉर्ड मध्य प्रदेश की स्नेहा के नाम था, स्नेहा ने 45 मिनट तक कुर्मासन किया था.

मेघना ने इस रिकॉर्ड तोड़ दिया. वह 1 घंटे 17 सेकंड तक कुर्मासन में स्थिर रही. उन्होंने यह रिकॉर्ड 27 सितंबर 2024 को बनाया था और हाल ही में उन्हें रिकॉर्ड सर्टिफिकेट भी मिला है.

मेघना शेट्टीगर का बयान
इस बारे में बात करते हुए मेघना शेट्टीगर ने कहा, "मैं लेडीहिल स्थित विक्टोरिया हाई स्कूल की कक्षा 8 में पढ़ती हूं. मैंने अपनी योग टीचर कविता अशोक के मार्गदर्शन में यह कीर्तिमान बनाया है. मैं कुर्मासन में 1 घंटा 17 सेकंड का कीर्तिमान बनाकर बहुत खुश हूं. मैं इस उपलब्धि में मेरा साथ देने वाले सभी लोगों का आभार व्यक्त करना चाहती हूं. खास तौर पर मेरी शिक्षिका कविता अशोक, मेरे पिता हरीश शेट्टीगर, मां कविता शेट्टीगर और मेरी स्कूल की शिक्षिकाओं और बहन का.

मेघना ने आगे कहा, "मैंने इसे हासिल करने के लिए लगातार अभ्यास किया." योग शिक्षिका कविता अशोक ने अपनी छात्रा की उपलब्धि की प्रशंसा करते हुए कहा कि इस उपलब्धि को हासिल करने के लिए व्यक्ति को कम उम्र से ही योग का अभ्यास करना चाहिए. कुर्मासन जैसे योग को करने के लिए बहुत मेहनत करनी पड़ती है.

यह भी पढ़ें- क्या है दरबार मूव? जिसको लेकर अब्दुल्ला सरकार के खिलाफ हुआ प्रदर्शन, सड़क पर उतरे ​इंजीनियर रशीद

बेंगलुरु: कर्नाटक के मंगलुरु की 13 वर्षीय लड़की ने कछुए की तरह बैठकर लंबे समय तक कुर्मासन योग किया और 'इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स' में अपना नाम दर्ज करवा लिया. दक्षिण कन्नड़ जिले के डेराबिल के नेक्किलागुड्डे निवासी हरीश शेट्टीगर और कविता शेट्टीगर की बेटी 13 वर्षीय मेघना एच शेट्टीगर ने यह उपलब्धि हासिल की है.

मेघना लेडीहिल के विक्टोरिया हाई स्कूल में कक्षा 8 में पढ़ रही है. उसने 1 घंटे 17 सेकंड तक कुर्मासन करने वाली सबसे कम उम्र की लड़की के रूप में 'इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स' में अपना नाम दर्ज करवाया है.

मेघना पहली कक्षा से ही योग कक्षाओं में भाग ले रही है. वह जब सातवीं कक्षा में थी, तब से कुर्मासन करने का प्रयास कर रही थी. वह अपने माता-पिता और योग टीचर कविता अशोक की मदद से यह कीर्तिमान हासिल करने में सफल रही.

मंगलुरु की मेघना ने सबसे लंबे समय तक किया कुर्मासन योग (ETV Bharat)

मेघना ने मध्य प्रदेश की लड़की का रिकॉर्ड तोड़ा
रिकॉर्ड बनाने वाली मेघना को सबसे लंबे समय तक कुर्मासन करने वाली किशोरी बनने का गौरव प्राप्त हुआ है. इससे पहले सबसे लंबे समय तक कुर्मासन करने का रिकॉर्ड मध्य प्रदेश की स्नेहा के नाम था, स्नेहा ने 45 मिनट तक कुर्मासन किया था.

मेघना ने इस रिकॉर्ड तोड़ दिया. वह 1 घंटे 17 सेकंड तक कुर्मासन में स्थिर रही. उन्होंने यह रिकॉर्ड 27 सितंबर 2024 को बनाया था और हाल ही में उन्हें रिकॉर्ड सर्टिफिकेट भी मिला है.

मेघना शेट्टीगर का बयान
इस बारे में बात करते हुए मेघना शेट्टीगर ने कहा, "मैं लेडीहिल स्थित विक्टोरिया हाई स्कूल की कक्षा 8 में पढ़ती हूं. मैंने अपनी योग टीचर कविता अशोक के मार्गदर्शन में यह कीर्तिमान बनाया है. मैं कुर्मासन में 1 घंटा 17 सेकंड का कीर्तिमान बनाकर बहुत खुश हूं. मैं इस उपलब्धि में मेरा साथ देने वाले सभी लोगों का आभार व्यक्त करना चाहती हूं. खास तौर पर मेरी शिक्षिका कविता अशोक, मेरे पिता हरीश शेट्टीगर, मां कविता शेट्टीगर और मेरी स्कूल की शिक्षिकाओं और बहन का.

मेघना ने आगे कहा, "मैंने इसे हासिल करने के लिए लगातार अभ्यास किया." योग शिक्षिका कविता अशोक ने अपनी छात्रा की उपलब्धि की प्रशंसा करते हुए कहा कि इस उपलब्धि को हासिल करने के लिए व्यक्ति को कम उम्र से ही योग का अभ्यास करना चाहिए. कुर्मासन जैसे योग को करने के लिए बहुत मेहनत करनी पड़ती है.

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