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लॉटरी किंग सैंटियागो मार्टिन ने डीएमके को दिया था 509 करोड रु. का चंदा : चुनाव आयोग - Lottery King donated DMK

Lottery King donated to DMK most : चुनाव आयोग द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार लॉटरी किंग ने सबसे अधिक डीएमके को चंदा दिया. चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार बॉन्ड संबंधित जानकारी पोर्टल पर अपलोड कर दिया है.

santiago martin
सैंटियागो मार्टिन
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By PTI

Published : Mar 17, 2024, 6:26 PM IST

नई दिल्ली : इलेक्टोरल बॉन्ड संबंधित जानकारी चुनाव आयोग ने अपने पोर्टल पर सार्वजनिक कर दी है. अलग-अलग राजनीतिक दलों ने यह जानकारी चुनाव आयोग को सौंपी थी. अभी तक यह जानकारी गुप्त थी. चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक तमिलनाडु की पार्टी डीएमके को 656.8 करोड़ रुपये इलेक्टोरल बॉन्ड से मिले थे. इनमें से सबसे ज्यादा योगदान लॉटरी किंग सैंटियागो मार्टिन का था. मार्टिन ने अकेले ही 509 करोड़ के बॉन्ड खरीदे थे.

भाजपा को 2018 में चुनावी बॉन्ड योजना के लागू होने के बाद से इनके (बॉन्ड के) माध्यम से सबसे अधिक 6,986.5 करोड़ रुपये की धनराशि प्राप्त हुई. इसके बाद पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस (1,397 करोड़ रुपये), कांग्रेस (1,334 करोड़ रुपये) और बीआरएस (1,322 करोड़ रुपये) का स्थान रहा.

आंकड़ों के मुताबिक, ओडिशा की सत्तारूढ़ पार्टी बीजद को 944.5 करोड़ रुपये मिले. इसके बाद द्रमुक ने 656.5 करोड़ रुपये और आंध्र प्रदेश की सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस ने लगभग 442.8 करोड़ रुपये के बॉन्ड भुनाए. जद (एस) को 89.75 करोड़ रुपये के बॉन्ड मिले, जिसमें चुनावी बॉन्ड की दूसरी सबसे बड़ी खरीदार मेघा इंजीनियरिंग से 50 करोड़ रुपये भी शामिल हैं.

लॉटरी किंग सेंटियागो मार्टिन का फ्यूचर गेमिंग 1,368 करोड़ रुपयों के साथ चुनावी बॉण्ड का सबसे बड़ा खरीदार था, जिसमें से लगभग 37 प्रतिशत द्रमुक को गया. द्रमुक के अन्य प्रमुख दानदाताओं में मेघा इंजीनियरिंग 105 करोड़ रुपये, इंडिया सीमेंट्स 14 करोड़ रुपये और सन टीवी 100 करोड़ रुपये शामिल हैं.

तृणमूल कांग्रेस को चुनावी बॉन्ड के माध्यम से 1,397 करोड़ रुपये मिले और वह भाजपा के बाद दूसरी सबसे बड़ी प्राप्तकर्ता है. द्रमुक दानदाताओं की पहचान का खुलासा करने वाले कुछ राजनीतिक दलों में से एक है, जबकि भाजपा, कांग्रेस, तृणमूल और आप जैसे प्रमुख दलों ने निर्वाचन आयोग को इन विवरणों का खुलासा नहीं किया था. उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर निर्वाचन आयोग ने चुनावी बॉन्ड से जुड़ी जानकारी अब सार्वजनिक कर दी ह.

टीडीपी ने 181.35 करोड़ रुपये, शिवसेना ने 60.4 करोड़ रुपये, राजद ने 56 करोड़ रुपये, समाजवादी पार्टी ने चुनावी बॉन्ड के जरिए 14.05 करोड़ रुपये प्राप्त किए. आंकड़ों में कहा गया कि अकाली दल ने 7.26 करोड़ रुपये, अन्नाद्रमुक ने 6.05 करोड़ रुपये, नेशनल कॉन्फ्रेंस ने 50 लाख रुपये के बॉन्ड भुनाए.

माकपा ने घोषणा की थी कि वह चुनावी बॉन्ड के माध्यम से धन प्राप्त नहीं करेगी, जबकि एआईएमआईएम और बसपा ने कोई रकम प्राप्त नहीं करने की जानकारी दी है.

ये भी पढ़ें : कौन है 'लॉटरी किंग' सैंटियागो मार्टिन? जिसकी कंपनी ने दिया ₹1368 करोड़ का दान

नई दिल्ली : इलेक्टोरल बॉन्ड संबंधित जानकारी चुनाव आयोग ने अपने पोर्टल पर सार्वजनिक कर दी है. अलग-अलग राजनीतिक दलों ने यह जानकारी चुनाव आयोग को सौंपी थी. अभी तक यह जानकारी गुप्त थी. चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक तमिलनाडु की पार्टी डीएमके को 656.8 करोड़ रुपये इलेक्टोरल बॉन्ड से मिले थे. इनमें से सबसे ज्यादा योगदान लॉटरी किंग सैंटियागो मार्टिन का था. मार्टिन ने अकेले ही 509 करोड़ के बॉन्ड खरीदे थे.

भाजपा को 2018 में चुनावी बॉन्ड योजना के लागू होने के बाद से इनके (बॉन्ड के) माध्यम से सबसे अधिक 6,986.5 करोड़ रुपये की धनराशि प्राप्त हुई. इसके बाद पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस (1,397 करोड़ रुपये), कांग्रेस (1,334 करोड़ रुपये) और बीआरएस (1,322 करोड़ रुपये) का स्थान रहा.

आंकड़ों के मुताबिक, ओडिशा की सत्तारूढ़ पार्टी बीजद को 944.5 करोड़ रुपये मिले. इसके बाद द्रमुक ने 656.5 करोड़ रुपये और आंध्र प्रदेश की सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस ने लगभग 442.8 करोड़ रुपये के बॉन्ड भुनाए. जद (एस) को 89.75 करोड़ रुपये के बॉन्ड मिले, जिसमें चुनावी बॉन्ड की दूसरी सबसे बड़ी खरीदार मेघा इंजीनियरिंग से 50 करोड़ रुपये भी शामिल हैं.

लॉटरी किंग सेंटियागो मार्टिन का फ्यूचर गेमिंग 1,368 करोड़ रुपयों के साथ चुनावी बॉण्ड का सबसे बड़ा खरीदार था, जिसमें से लगभग 37 प्रतिशत द्रमुक को गया. द्रमुक के अन्य प्रमुख दानदाताओं में मेघा इंजीनियरिंग 105 करोड़ रुपये, इंडिया सीमेंट्स 14 करोड़ रुपये और सन टीवी 100 करोड़ रुपये शामिल हैं.

तृणमूल कांग्रेस को चुनावी बॉन्ड के माध्यम से 1,397 करोड़ रुपये मिले और वह भाजपा के बाद दूसरी सबसे बड़ी प्राप्तकर्ता है. द्रमुक दानदाताओं की पहचान का खुलासा करने वाले कुछ राजनीतिक दलों में से एक है, जबकि भाजपा, कांग्रेस, तृणमूल और आप जैसे प्रमुख दलों ने निर्वाचन आयोग को इन विवरणों का खुलासा नहीं किया था. उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर निर्वाचन आयोग ने चुनावी बॉन्ड से जुड़ी जानकारी अब सार्वजनिक कर दी ह.

टीडीपी ने 181.35 करोड़ रुपये, शिवसेना ने 60.4 करोड़ रुपये, राजद ने 56 करोड़ रुपये, समाजवादी पार्टी ने चुनावी बॉन्ड के जरिए 14.05 करोड़ रुपये प्राप्त किए. आंकड़ों में कहा गया कि अकाली दल ने 7.26 करोड़ रुपये, अन्नाद्रमुक ने 6.05 करोड़ रुपये, नेशनल कॉन्फ्रेंस ने 50 लाख रुपये के बॉन्ड भुनाए.

माकपा ने घोषणा की थी कि वह चुनावी बॉन्ड के माध्यम से धन प्राप्त नहीं करेगी, जबकि एआईएमआईएम और बसपा ने कोई रकम प्राप्त नहीं करने की जानकारी दी है.

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