श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम स्थित जवाहर पर्वतारोहण एवं शीतकालीन खेल संस्थान (JIM & WS) की टीमों ने नया रिकॉर्ड स्थापित किया है. अधिकारियों ने बताया कि कर्नल हेम चंद्र सिंह के नेतृत्व में संस्थान की टीमों ने 11 दिन में लद्दाख क्षेत्र में चार चोटियों पर सफलतापूर्वक चढ़ाई की.
श्रीनगर स्थित रक्षा प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल एमके साहू ने एक बयान में कहा कि टीम 21 जून को कांग यात्से II (6,250 मीटर), 28 जून को कांग यात्से I (6,415 मीटर), 1 जुलाई को ज़ो जोंगो II (6,220 मीटर) और 1 जुलाई को ज़ो जोंगो I (6,307 मीटर) चोटी पर पहुंची. इस महत्वपूर्ण उपलब्धि में माउंट कांग्यात्से II से पहली बार स्नोबोर्डिंग द्वारा उतरना भी शामिल है. उन्होंने कहा कि टीम के समर्पण और दृढ़ता ने पर्वतारोहण में एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है.
कांग यात्से II और कांग यात्से I लद्दाख की मार्खा घाटी में स्थित दो महत्वपूर्ण चोटियां हैं. कांग यात्से II चोटी अपनी आसान चढ़ाई के लिए जानी जाती है, जो इसे कम तकनीकी कठिनाई के साथ अधिक ऊंचाई वाले रोमांच की तलाश करने वाले पर्वतारोहियों के बीच लोकप्रिय बनाता है. इस चोटी से आसपास की हिमालय पर्वतमालाओं के शानदार दृश्य दिखाई देते हैं.
इसके विपरीत, कांग यात्से I चोटी की चढ़ाई करना तकनीकी रूप से अधिक चुनौतीपूर्ण है, जिसके लिए उन्नत पर्वतारोहण कौशल की जरूरत होती है. इस चोटी से जंस्कार और स्टोक पर्वतमालाओं के मनोरम दृश्य दिखाई देते हैं, जो अनुभवी पर्वतारोहियों को आकर्षित करता है.
ज़ो जोंगो II और ज़ो जोंगो I लद्दाख में चोटियों के ज़ो जोंगो समूह का हिस्सा हैं. ज़ो जोंगो II पर्वतारोहियों द्वारा आसान पहुंच और सीधी चढ़ाई के लिए पसंद किया जाता है, जहां से लद्दाख के शुष्क लेकिन आकर्षक और शानदार नजारे दिखाई देते हैं. ज़ो जोंगो I समूह की सबसे ऊंची चोटी है और अपनी प्राकृतिक सुंदरता और चढ़ाई की चुनौतियों के लिए जानी जाती है. जो जोंगो I की चढ़ाई करना अधिक कठिन है, जिसमें खड़ी और ऊबड़-खाबड़ भूमि से होकर गुजरना पड़ता है, तथा यह अपनी सुखद चढ़ाई और आसपास की हिमालयी चोटियों के विस्मयकारी दृश्यों के कारण पर्वतारोहियों के बीच काफी लोकप्रिय है.
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