नई दिल्ली: देश के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह अब नहीं रहे. दिल्ली के मोतीलाल नेहरू प्लेस स्थित उनके सरकारी निवास पर पार्थिव शरीर को अंतिम दर्शन के लिए रखा गया है. देर रात से ही उन्हें श्रद्धांजलि देने वालों का तांता लगा हुआ है. दिल्ली में हो रही झमाझम बारिश के बीच मनमोहन सिंह को चाहने वाले उनका अंतिम दर्शन करने पहुंच रहे हैं. मनमोहन सिंह का पार्थिव शरीर शनिवार सुबह 24 अकबर रोड स्थित कांग्रेस पार्टी मुख्यालय में रखा जाएगा. जहां पर पार्टी के तमाम नेता, कार्यकर्ता उनका अंतिम दर्शन कर सकेंगे. उसके बाद अंतिम संस्कार होगा.
डॉ मनमोहन सिंह का अंतिम दर्शन और उन्हें श्रद्धांजलि देने के बाद ईटीवी भारत से खास बातचीत में कांग्रेस की वरिष्ठ नेता अलका लांबा ने कहा कि मनमोहन सिंह वह रत्न थे जो अमर रहेंगे. उनके जाने से देश को बड़ी क्षति हुई है. उन्होंने अपने नेतृत्व में देश को जिस बुलंदियों पर पहुंचाया है वह सभी जानते हैं. अलका लांबा बोलीं; ''हम भारत सरकार से मांग करते हैं कि ऐसे रत्न को भारत रत्न दिया जाना चाहिए.'' वह इसकी मांग सरकार से करेंगे और पार्टी की मीटिंग में भी इस मांग को रखेंगे. मनमोहन सिंह भारत रत्न के हकदार हैं. 10 साल प्रधानमंत्री रहे उसके बाद 10 साल तक वह इसी निवास से देश की हर व्यवस्था को देखा. देश को आर्थिक संकट से उबारने में उनका जो योगदान रहा वह भुलाया नहीं जा सकता है.
अलका लांबा ने कहा कि कांग्रेस के स्थापना दिवस पर कर्नाटक के बेलगाम में बड़ा कार्यक्रम आज होना था. मगर गुरुवार रात को उन्हें मनमोहन सिंह के एम्स अस्पताल जाने की जानकारी मिली तो वह पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी के साथ कर्नाटक में ही मौजूद थीं. वह सभी तुरंत दिल्ली आने का निर्णय किया और आज होने वाली वहां के कार्यक्रम को स्थगित कर दिया. अब कल शनिवार को पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का पार्थिव शरीर पार्टी मुख्यालय में लाया जाएगा. उनको चाहने वाले वहां उनका अंतिम दर्शन कर सकेंगे.
कांग्रेस नेता अलका लांबा ने मनमोहन सिंह के साथ बीते पलों के बारे में कहा कि जब भी वह उनसे मिलने के लिए जाती थी, बड़े प्यार से बातें करते थे. उनकी पत्नी से लंबी चौड़ी बात होती थी. आज भी जब वह श्रद्धांजलि देने गई तो अधिक नहीं लेकिन दो मिनट उनसे बातें की. उनकी पांव छूने के लिए महिलाओं आगे आई तो आज भी मनमोहन सिंह जी की धर्मपत्नी ने कहा कि डॉक्टर साहब कहते थे हम पंजाबी हैं और पंजाब में लड़कियों से पांव नहीं छुआते हैं. तो आज भी उन्होंने हमें मना किया. वह बोलीं वो भी पैर नहीं छूने देते थे मैं भी नहीं छूने दूंगी और इस तरह से उन्होंने डॉक्टर साहब को याद किया और हमारे सिर पर हाथ फेरा.
कांग्रेस पार्टी में ठीक 100 साल पहले महात्मा गांधी अध्यक्ष बने थे. हमलोग कर्नाटक के बेलगाम में थे, हम जश्न मनाने के लिए तैयारी कर रहे थे. हमें रात को दुखद खबर की सूचना मिली. तब कार्यक्रम रद्द कर दी गई. कांग्रेस कमेटी की वर्किंग कमेटी की बैठक खास तौर पर श्रद्धांजलि देने के लिए बुलाई गई है. अब 28 दिसंबर की तारीख जिस दिन पार्टी का स्थापना दिवस है उसी दिन मनमोहन सिंह के पार्थिव शरीर मुख्यालय में लाया जाएगा. यह सब इतिहास में दर्ज होने वाला है. अलका लांबा ने कहा कि उनका अंतिम संस्कार राजघाट के समीप जहां अन्य पूर्व प्रधानमंत्री की समाधि के लिए जगह निश्चित है, शनिवार को होगा.
बता दें कि डॉक्टर मनमोहन सिंह को श्रद्धांजलि देने के लिए शुक्रवार दोपहर 1:00 बजे करीब आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल समेत तमाम नेता पहुंचे थे.
ये भी पढ़ें: