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तो भजनलाल सरकार का बड़ा फैसला बढ़ा सकता है कर्मचारियों में बेचैनी ! - changes in employees holidays - CHANGES IN EMPLOYEES HOLIDAYS

प्रदेश में चार महीने पहले बनी भजन लाल सरकार 6 दिन का कार्य सप्ताह लागू करने पर विचार कर रही. सरकार की इस मंशा पर कर्मचारी लामबंद हो रहे हैं.

भजनलाल सरकार ले सकती है बड़ा फैसला
भजनलाल सरकार ले सकती है बड़ा फैसला
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : May 2, 2024, 10:27 AM IST

Updated : May 2, 2024, 10:54 AM IST

कर्मचारियों में आक्रोश

जयपुर. प्रदेश की भजन लाल सरकार सरकारी कार्यालयों में 5 दिन के सप्ताह के स्थान पर 6 दिन का सप्ताह किये जाने पर विचार कर रही है. 2008 के तत्कालीन सरकार में किए इस आदेश को बदलने की मंशा पर सरकारी कार्यालयों के गलियारों में उठ रही इन चर्चाओं ने कर्मचारी जगत में एकदम आक्रोश व्याप्त हो गया है. अब अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त कर्मचारी महासंघ एकीकृत ने आदेश का विरोध करते हुए आंख दिखा दी है.

5 से 6 दिन कार्य दिवस करने पर विचार : राजस्थान में सरकारी कर्मचारियों के लिए 6 दिन का कार्य सप्ताह लागू करने की संभावना को लेकर चर्चा जोरों पर है. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा जल्द ही इस महत्वपूर्ण बदलाव की घोषणा कर सकते हैं, जिससे अधिकारियों और कर्मचारियों में बेचैनी बढ़ गई है. आदेश की मंशा को लेकर तरह-तरह के कयास शुरू हो गए हैं. अब तक राजस्थान के सरकारी दफ्तरों में 5 दिन का सप्ताह लागू है यानी शनिवार और रविवार को अवकाश रहता है. फिलहाल 2008 के दौरान तत्कालीन सरकार के कार्यकाल के समय 'फाइव डे वीक' लागू हुआ था जो अभी तक चल रहा है.

पढ़ें: भजनलाल सरकार का बड़ा एक्शन, दो अधिकारी बर्खास्त, एक की पेंशन रोकी

कर्मचारियों में आक्रोश : सरकारी दफ़्तरों के गलियारों में यह चर्चा जोर पकड़ने लगी है कि सरकार अब राज्य में 6 दिन का सप्ताह लागू करने पर विचार कर रही है. इसको लेकर अंदरखाने सरकार ने अधिकारियों से चर्चा भी की है. इस दौरान सरकार की इस मंशा की भनक लगते ही अधिकारियों और कर्मचारियों की नींद उड़ गई है. अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त कर्मचारी महासंघ एकीकृत के प्रदेश अध्यक्ष गजेंद्र सिंह राठौड़ ने राज्य सरकार से मांग की है कि यदि राज्य सरकार द्वारा सरकारी कार्यालय में पांच दिवस के बजाए 6 दिवस का सप्ताह किया जाएगा तो कर्मचारी इसका विरोध करेंगे. राज्य में वर्ष 2008 में केंद्र के अनुरूप पांच दिनों का सप्ताह लागू किया गया था, इससे कर्मचारियों को सप्ताह में आधा घंटे अधिक काम करना पड़ता है. लेकिन शनिवार को कार्यालय में नहीं आना पड़ता. इससे सरकार को ही अधिक फायदा है क्योंकि उसके एक दिन के लिए बिजली और आवश्यक खर्च बचते हैं. वहीं कर्मचारियों को अपना सामाजिक और निजी जिन्दगी मे अधिक समय मिल पाता है. अनेक देशों में कर्मचारी कल्याण के अंतर्गत चार दिन का सप्ताह करने की बात चल रही है. उन्होंने कहा कि बैंकों में भी पांच दिवसीय सप्ताह शुरू किया जा रहा है. सरकार के इस सोच से कर्मचारियों में अत्यंत आक्रोश व्याप्त हो गया है. सरकार को कर्मचारी विरोधी कोई कदम नहीं उठाना चाहिए जिससे कर्मचारी कार्य की बजाए आंदोलन पर उतरना पड़े.

2008 में हुआ था 5 डे वीक : बता दें कि राजस्थान में 2008 तत्कालीन सरकार के कार्यकाल के दौरान 'फाइव डे वीक' लागू हुआ था. तब से कर्मचारियों को सोमवार से शुक्रवार तक काम करना होता है. इसके बाद शनिवार और रविवार को वीकली ऑफ होने के कारण उन्हें अवकाश मिल रहा है. अब फिर से चर्चा शुरू हो गई है कि भजन लाल सरकार नया बदलाव कर 6 डे वीक लागू कर सकती है.

कर्मचारियों में आक्रोश

जयपुर. प्रदेश की भजन लाल सरकार सरकारी कार्यालयों में 5 दिन के सप्ताह के स्थान पर 6 दिन का सप्ताह किये जाने पर विचार कर रही है. 2008 के तत्कालीन सरकार में किए इस आदेश को बदलने की मंशा पर सरकारी कार्यालयों के गलियारों में उठ रही इन चर्चाओं ने कर्मचारी जगत में एकदम आक्रोश व्याप्त हो गया है. अब अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त कर्मचारी महासंघ एकीकृत ने आदेश का विरोध करते हुए आंख दिखा दी है.

5 से 6 दिन कार्य दिवस करने पर विचार : राजस्थान में सरकारी कर्मचारियों के लिए 6 दिन का कार्य सप्ताह लागू करने की संभावना को लेकर चर्चा जोरों पर है. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा जल्द ही इस महत्वपूर्ण बदलाव की घोषणा कर सकते हैं, जिससे अधिकारियों और कर्मचारियों में बेचैनी बढ़ गई है. आदेश की मंशा को लेकर तरह-तरह के कयास शुरू हो गए हैं. अब तक राजस्थान के सरकारी दफ्तरों में 5 दिन का सप्ताह लागू है यानी शनिवार और रविवार को अवकाश रहता है. फिलहाल 2008 के दौरान तत्कालीन सरकार के कार्यकाल के समय 'फाइव डे वीक' लागू हुआ था जो अभी तक चल रहा है.

पढ़ें: भजनलाल सरकार का बड़ा एक्शन, दो अधिकारी बर्खास्त, एक की पेंशन रोकी

कर्मचारियों में आक्रोश : सरकारी दफ़्तरों के गलियारों में यह चर्चा जोर पकड़ने लगी है कि सरकार अब राज्य में 6 दिन का सप्ताह लागू करने पर विचार कर रही है. इसको लेकर अंदरखाने सरकार ने अधिकारियों से चर्चा भी की है. इस दौरान सरकार की इस मंशा की भनक लगते ही अधिकारियों और कर्मचारियों की नींद उड़ गई है. अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त कर्मचारी महासंघ एकीकृत के प्रदेश अध्यक्ष गजेंद्र सिंह राठौड़ ने राज्य सरकार से मांग की है कि यदि राज्य सरकार द्वारा सरकारी कार्यालय में पांच दिवस के बजाए 6 दिवस का सप्ताह किया जाएगा तो कर्मचारी इसका विरोध करेंगे. राज्य में वर्ष 2008 में केंद्र के अनुरूप पांच दिनों का सप्ताह लागू किया गया था, इससे कर्मचारियों को सप्ताह में आधा घंटे अधिक काम करना पड़ता है. लेकिन शनिवार को कार्यालय में नहीं आना पड़ता. इससे सरकार को ही अधिक फायदा है क्योंकि उसके एक दिन के लिए बिजली और आवश्यक खर्च बचते हैं. वहीं कर्मचारियों को अपना सामाजिक और निजी जिन्दगी मे अधिक समय मिल पाता है. अनेक देशों में कर्मचारी कल्याण के अंतर्गत चार दिन का सप्ताह करने की बात चल रही है. उन्होंने कहा कि बैंकों में भी पांच दिवसीय सप्ताह शुरू किया जा रहा है. सरकार के इस सोच से कर्मचारियों में अत्यंत आक्रोश व्याप्त हो गया है. सरकार को कर्मचारी विरोधी कोई कदम नहीं उठाना चाहिए जिससे कर्मचारी कार्य की बजाए आंदोलन पर उतरना पड़े.

2008 में हुआ था 5 डे वीक : बता दें कि राजस्थान में 2008 तत्कालीन सरकार के कार्यकाल के दौरान 'फाइव डे वीक' लागू हुआ था. तब से कर्मचारियों को सोमवार से शुक्रवार तक काम करना होता है. इसके बाद शनिवार और रविवार को वीकली ऑफ होने के कारण उन्हें अवकाश मिल रहा है. अब फिर से चर्चा शुरू हो गई है कि भजन लाल सरकार नया बदलाव कर 6 डे वीक लागू कर सकती है.

Last Updated : May 2, 2024, 10:54 AM IST
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