नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को कहा कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा प्रस्तुत केंद्रीय बजट विकसित भारत की नींव को मजबूत करने की 'गारंटी' प्रदान करता है.
बजट के बाद टेलीविजन पर दिए अपने संबोधन में उन्होंने कहा कि यह विकसित भारत के चार स्तंभों युवा, गरीब, महिला और किसान को सशक्त बनाएगा. उन्होंने कहा, यह युवा भारत की युवा आकांक्षाओं का प्रतिबिंब है. 'यह भारत के भविष्य को बनाने वाला बजट है.'
अनुसंधान और नवाचार के लिए 1 लाख करोड़ रुपये के फंड की घोषणा का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि 'ऐतिहासिक' बजट में स्टार्ट-अप के लिए छूट की भी पेशकश की गई है. उन्होंने कहा कि इसमें राजकोषीय घाटे को नियंत्रण में रखते हुए 11.11 लाख करोड़ रुपये के भारी पूंजीगत व्यय का प्रावधान है. उन्होंने कहा कि बजट गरीबों और मध्यम वर्ग को सशक्त बनाता है और युवाओं के लिए रोजगार के अनगिनत अवसर पैदा करेगा.
गौरतलब है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने संसद में पेश किए गए अंतरिम बजट 2024-25 में आर्थिक वृद्धि और समावेशी विकास पर जोर देते हुए राजकोषीय सुदृढ़ीकरण पथ पर बने रहने का फैसला किया है.
वित्त मंत्री ने आर्थिक विकास दर को आगे बढ़ाने के लिए बड़ी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं पर सरकार के पूंजीगत व्यय को बढ़ाते हुए 2024-25 के लिए राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को घटाकर सकल घरेलू उत्पाद का 5.1 प्रतिशत कर दिया है. तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था में कर संग्रह में जोरदार वृद्धि के कारण यह संभव हुआ है.
2024-25 में शुरू की जाने वाली बड़ी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के लिए आवंटन बढ़ाकर 11.1 लाख करोड़ रुपये कर दिया गया है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 11.1 प्रतिशत अधिक है.
सरकार की सकल बाजार उधारी 14.13 लाख करोड़ रुपये तय की गई है, जबकि शुद्ध बाजार उधारी 1.75 लाख करोड़ रुपये प्रस्तावित है जो 2023-24 के संबंधित आंकड़े से कम है.
वित्त मंत्री ने अपने अंतरिम बजट भाषण में कहा, 'सरकार द्वारा कम बाजार उधारी से निजी क्षेत्र के कॉरपोरेट्स को निवेश के लिए ऋण प्राप्त करने के लिए अधिक धन मिलेगा, इससे देश की आर्थिक वृद्धि में और तेजी आएगी.'