रांची: हरियाणा में विधानसभा चुनाव की तिथि 01 अक्टूबर की जगह 05 अक्टूबर करने के भारत निर्वाचन आयोग के फैसले पर झामुमो ने सवाल उठाया है. झारखंड मुक्ति मोर्चा ने बड़ा आरोप भारतीय जनता पार्टी पर लगाया है.
रविवार को पार्टी के केंद्रीय कैंप कार्यालय में झामुमो केंद्रीय महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने संवाददाता सम्मेलन कर मीडिया से बात की. उन्होंने कहा कि हरियाणा भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष पंडित मदनलाल बरौली के जिस हास्यास्पद तर्क के आधार पर दिए गए आवेदन के आधार पर मतदान की तिथि बढ़ाई गयी वह हास्यास्पद है. आज निर्वाचन आयोग की विश्वसनीयता और संवैधानिकता पर प्रश्नचिह्न लग गया है. हरियाणा में जनता का विश्वास खो चुकी भाजपा ने टैम्परिंग और अन्य अनैतिक कार्य करने के लिए मतदान की तिथि बढ़वाया है. लेकिन इससे जनता का मूड नहीं बदलने वाला.
झामुमो नेता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि अगर यही करना है तो फिर चुनाव की जरूरत क्या है. जहां जहां विधानसभा का चुनाव होना है वहां वहां एक एक सीट छोडकर कर बाकी सीटों पर भाजपा की जीत का ऐलान कर दे. झामुमो नेता ने कहा कि दरअसल वर्तमान समय में ECI का मतलब एक्सटेंडेड कंपैन इंस्टिट्यूशन ऑफ बीजेपी बनकर रह गया है.
मंईयां सम्मान योजना पर PIL के पीछे किसी शातिर भाजपाई का हाथ
झामुमो प्रवक्ता सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि भाजपा नहीं चाहती कि राज्य की 21 वर्ष से ऊपर की सभी महिलाओं को सम्मान के साथ आर्थिक स्वालंबन की योजना का लाभ मिले. इसलिए किसी शातिर भाजपाई ने इस मुद्दे पर अदालत में पीआईएल करवाया है. उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, छतीसगढ़ में इसी तरह की योजनाएं इन्हें नहीं दिखती. लेकिन झारखंड में भाजपा महिलाओं के कल्याण की योजना को बंद कराना चाहती है क्योंकि वह डर गई है.
उत्पाद सिपाही दौड़ में हो रही मौत चिंताजनक, सरकार संवेदनशील
झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता सुप्रियो भट्टाचार्य ने एक सवाल के जवाब में कहा कि राज्य के अलग-अलग जिलों से उत्पाद सिपाही दौड़ अभ्यर्थियों की मौत की खबर एक गंभीर और चिंताजनक मामला है और इस पर सरकार पूरी तरह से गंभीर है. उन्होंने कहा कि 1 घंटे में 10 किलोमीटर की दौड़ रघुवर दास के शासनकाल में 2016 में बनाया गया था और अभी राज्य में कहीं पर भी ज्यादा गर्मी नहीं है. इसके बावजूद जिस तरह से अभ्यर्थियों की मौत की खबरें दुखद है. पूरे मामले में एक उच्च स्तरीय जांच की जरूरत है ताकि मौत की वास्तविक वजह का पता चल सके.