बलरामपुर: पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी बाजपेई की पुण्य तिथि पर जिले के एमएलके कॉलेज में शुक्रवार को श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बीजेपी नेता और पूर्व सांसद बृज भूषण शरण सिंह मौजूद रहे. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए बृज भूषण शरण सिंह ने भगवान राम की धरती अयोध्या को लेकर विवादित बयान दे डाला. उन्होंने कहा कि जितना सुंदर इतिहास गोंडा का है, उतना अयोध्या-फैजाबाद का नहीं रहा है. अयोध्या गोनर्ड एवं गोंडा के कारण है.
बृज भूषण शरण सिंह ने कहा कि 'इस धरती ने अटल जी को ही प्रधानमंत्री नही बनाया बल्कि नरेंद्र मोदी भी यहां पर एक घंटा भाषण देने के बाद सीधे गुजरात के मुख्यमंत्री बने थे. एक बार मुख्यमंत्री रहते मायावती ने भी गोंडा का नाम बदला था. कभी भी अपना फैसला न बदलने वाली मायावती को भी अटल जी के हस्तक्षेप के कारण मायावती को भी अपना निर्णय बदलना पड़ा था'.
बृजभूषण सिंह ने कहा कि 'राममंदिर उद्घाटन में न्यौता नहीं भेजा, कोई बात नहीं. हम अयोध्या से नाता जोड़े रहे. भले ही अयोध्या वाले हमे उठा उठा कर फेंकते रहे. हम अयोध्या को मानते रहेंगे. हम लोग तीर्थ करने जाते थे, लेकिन उसे भी बंद करा दिया गया. हनुमान जी का दर्शन करने जाते थे. उसे भी बंद करा दिया गया. आप हमें फेंकते रहो लेकिन हम अयोध्या को मानते रहेंगे'.
कार्यक्रम के बाद मीडिया से बात करते हुए बृज भूषण शरण सिंह ने बगलादेश में मंदिरों और हिंदुओं पर हो रहे हमले की निंदा करते हुए कहा कि जो हो रहा है वह बहुत ही गलत है. उससे भी गलत यह है कि कुछ जिम्मेदार नेता उस पर मौन है. हिंदुओं पर कहीं अत्याचार हो रहा है तो उसका ठेका सिर्फ भाजपा ने नहीं ले रखा है. विपक्ष के लोग इस मुद्दे पर मौन है, जो बहुत गलत है. उन्होंने कहा कि अटल जी को पकड़े रहने पर ही अब नैय्या पार लग सकती है.
कार्यक्रम में अटल जी के सहयोगी पूर्व मंत्री हनुमत सिंह, भाजपा विधायक पलटू राम, विधायक कैलाश नाथ शुक्ला आदि ने पूर्व प्रधानमंत्री को श्रद्धांजलि दी. कहा, अटल जी देश के सर्वमान्य नेता थे. उन्होंने देश को आगे बढ़ाने के लिए अपना पूरा जीवन लगा दिया. वहीं, कार्यक्रम संयोजिका एवं अटल जी की पौत्री अंजली मिश्र ने अतिथियों का आभार प्रकट किया.
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