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रेलवे ट्रैक पर पालतू कुत्ते को बचाने दौड़े, ट्रेन की चपेट में आने से वकील और डॉग की मौत - Lawyer dies trying to save dog

Lawyer dies while trying to save dog: महाराष्ट्र में ट्रेन की चपेट में आने से एक शख्स और उसके पालतू कुत्ते की मौत हो गई. मरने वाले शख्स का नाम भाऊसाहेब लांडगे हैं. वह पेशे से वकील थे. दिल को झकझोर देने वाला यह मामला छत्रपति संभाजीनगर की है.

A lawyer died in a train collision while saving his beloved dog
प्रतीकात्मक तस्वीर (ANI and IANS)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Aug 3, 2024, 9:19 PM IST

छत्रपति संभाजीनगर: कई लोग पालतू कुत्तों को परिवार का सदस्य मानते हैं. उनके लिए अपनी जान जोखिम में डालने से भी नहीं हिचकिचाते. छत्रपति संभाजीनगर में एक ऐसी ही घटना सामने आई है. संग्रामनगर फ्लाईओवर के पास अपने प्यारे कुत्ते को बचाते वक्त ट्रेन दुर्घटना में एक वकील की मौत की चौंकाने वाली घटना घटी. खबर के मुताबिक, एडवोकेट भाऊसाहेब लांडगे अपने कुत्ते को बचाते वक्त ट्रेन की चपेट में आ गए थे.

काम खत्म करने के बाद लांडगे अपने दो कुत्तों को घुमाने के लिए ले जाते थे. हमेशा की तरह वे कुत्तों के साथ टहलने के लिए निकले थे. संग्रामनगर लौटते समय, दो कुत्तों में से एक पिटबुल रेल की पटरी पर चलते हुए आगे निकल गया. उसी समय एक तेज गति से ट्रेन आ रही थी.

लांडगे कुत्ते को बचाने के लिए दौड़े. जैसे ही ट्रेन पास आई, उन्होंने जल्दी से पीछे हटने की कोशिश की लेकिन ट्रेन की चपेट में आ गए. ट्रेन की टक्कर से वकील लांडगे करीब 15 फीट दूर उछले और सिर के बल गिर गए. उनके सिर से खून बहने लगा, जबकि उनकी पीठ और शरीर के अन्य हिस्सों में गंभीर चोटें आईं. वहीं, दुर्भाग्य से ट्रेन की चपेट में आने से कुत्ते की मौके पर मौत हो गई. वहीं, दूसरा कुत्ता बच गया.

इस घटना के बाद स्थानीय श्रीमंत गोर्डे और वहां मौजूद लोगों ने गंभीर रूप से घायल एडवोकेट लांडगे को अस्पताल पहुंचाया. जहां डॉक्टरों की जांच के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया गया. वहीं, इस घटना की सूचना मिलते ही लांडगे का परिवार अस्पताल पहुंचा. वहीं कुत्ते को बचाने के लिए अपनी जान जोखिम में डालने वाले लांडगे की मौत से पूरे इलाके में मातम पसरा हुआ है.एडवोकेट भाऊसाहेब लांडगे गंगापुर तालुक के रहने वाले थे. उनके परिवार में उनकी पत्नी और दो बच्चें हैं. बड़ा बेटा इंजीनियर है, जबकि छोटा बेटा भी अपने पिता की तरह वकालत की पढ़ाई कर रहा है.

ये भी पढ़ें: IAS पति से हुई अलग, अपराधी से मिला धोखा, CM के नाम छोड़ा पत्र... सुसाइड नोट में हुए कई बड़े खुलासे

छत्रपति संभाजीनगर: कई लोग पालतू कुत्तों को परिवार का सदस्य मानते हैं. उनके लिए अपनी जान जोखिम में डालने से भी नहीं हिचकिचाते. छत्रपति संभाजीनगर में एक ऐसी ही घटना सामने आई है. संग्रामनगर फ्लाईओवर के पास अपने प्यारे कुत्ते को बचाते वक्त ट्रेन दुर्घटना में एक वकील की मौत की चौंकाने वाली घटना घटी. खबर के मुताबिक, एडवोकेट भाऊसाहेब लांडगे अपने कुत्ते को बचाते वक्त ट्रेन की चपेट में आ गए थे.

काम खत्म करने के बाद लांडगे अपने दो कुत्तों को घुमाने के लिए ले जाते थे. हमेशा की तरह वे कुत्तों के साथ टहलने के लिए निकले थे. संग्रामनगर लौटते समय, दो कुत्तों में से एक पिटबुल रेल की पटरी पर चलते हुए आगे निकल गया. उसी समय एक तेज गति से ट्रेन आ रही थी.

लांडगे कुत्ते को बचाने के लिए दौड़े. जैसे ही ट्रेन पास आई, उन्होंने जल्दी से पीछे हटने की कोशिश की लेकिन ट्रेन की चपेट में आ गए. ट्रेन की टक्कर से वकील लांडगे करीब 15 फीट दूर उछले और सिर के बल गिर गए. उनके सिर से खून बहने लगा, जबकि उनकी पीठ और शरीर के अन्य हिस्सों में गंभीर चोटें आईं. वहीं, दुर्भाग्य से ट्रेन की चपेट में आने से कुत्ते की मौके पर मौत हो गई. वहीं, दूसरा कुत्ता बच गया.

इस घटना के बाद स्थानीय श्रीमंत गोर्डे और वहां मौजूद लोगों ने गंभीर रूप से घायल एडवोकेट लांडगे को अस्पताल पहुंचाया. जहां डॉक्टरों की जांच के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया गया. वहीं, इस घटना की सूचना मिलते ही लांडगे का परिवार अस्पताल पहुंचा. वहीं कुत्ते को बचाने के लिए अपनी जान जोखिम में डालने वाले लांडगे की मौत से पूरे इलाके में मातम पसरा हुआ है.एडवोकेट भाऊसाहेब लांडगे गंगापुर तालुक के रहने वाले थे. उनके परिवार में उनकी पत्नी और दो बच्चें हैं. बड़ा बेटा इंजीनियर है, जबकि छोटा बेटा भी अपने पिता की तरह वकालत की पढ़ाई कर रहा है.

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