पौड़ी: पदोन्नति में आरक्षण को समाप्त करने सहित विभिन्न मांगों को लेकर जुड़े उत्तराखंड जनरल ओबीसी एम्प्लाइज एसोसिएशन के अधिकारी, कर्मचारी और शिक्षक बुधवार को पौड़ी मुख्यालय में मशाल जुलूस के साथ प्रदर्शन करेंगे. बीती 7 फरवरी को आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद राज्यसभा सांसद प्रदीप टम्टा के बयान पर भी एसोसिएशन ने कड़ी नाराजगी व्यक्त की थी. सांसद टम्टा के बयान से नाराज कार्मिक मशाल जुलूस के साथ उनका पुतला दहन करेंगे.
बयान से नाराज जनरल ओबीसी एम्प्लाइज एसोसिएशन. कांग्रेस सांसद प्रदीप टम्टा ने बीजेपी और आरएसएस को दलित विरोधी बताते हुए कहा कि राजनीति के अंदर बड़ा सवाल है कि इतिहास में पहली बार बीजेपी सरकार देश के सर्वोच्च न्यायालय में इस मांग को लेकर गई है कि नियुक्ति और पदोन्नति में आरक्षण कोई मौलिक अधिकार नहीं है. इसका अर्थ साफ है कि प्रदेश सरकार दलितों के आरक्षण को समाप्त करना चाहती है. उन्होंने आरोप लगाया कि मोदी और आरएसएस के कहने पर राज्य की सरकार प्रमोशन में आरक्षण को समाप्त करने का काम कर रही है.
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26 फरवरी को जिला मुख्यालय पौड़ी में मशाल जलूस को लेकर सभी ने तैयारियां शुरू कर ली हैं. एसोसिएशन की ओर से बताया गया कि यदि एक मार्च तक मांगों पर कदम नहीं उठता है तो दो मार्च से उत्तराखंड बंद का ऐलान किया जाएगा, जिसमें केवल आवश्यक सेवाएं ही खुली रहेंगी और तब भी कोई हल निकलकर सामने नहीं आता है तो पांच मार्च से आवश्यक सेवाए भी बंद कर हड़ताल को उग्र किया जाएगा.
एसोसिएशन के मुख्य संयोजक सीताराम पोखरियाल ने बताया कि पदोन्नति में आरक्षण को समाप्त करने के लिए उनके पक्ष में न ही कोई विधायक आया है और न ही कोई सांसद. वहीं, आरक्षण के पक्ष में दिए गए बयान को लेकर पूरा एसोसिएशन नाराज है, जिसके विरोध में मजा जुलूस का आयोजन किया जाएगा. कांग्रेस सांसद प्रदीप टम्टा ने कहा कि अगर राज्य की बीजेपी सरकार पदोन्नति में आरक्षण को हटाती है तो सरकार आने पर कांग्रेस पदोन्नति में आरक्षण को फिर से लागू करेगी.