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5 किमी पैदल चल दीपक रावत ने किया कुंभ कार्यों का निरीक्षण, लापरवाही पर फटकारा

हरिद्वार महाकुंभ को दिव्य और भव्य बनाने के लिए मेला प्रशासन जुटा हुआ है. गंगा किनारे के तमाम घाटों को संवारा जा रहा है, लेकिन कई अधिकारी निर्माण कार्यों को गंभीरता से नहीं करवा रहे हैं. इस पर कुंभ मेला अधिकारी दीपक रावत ने नाराजगी जताते हुए ऐसे अफसरों को जमकर फटकार भी लगाई.

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दीपक रावत

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Published : Nov 12, 2020, 9:21 AM IST

हरिद्वारःआगामी महाकुंभ के स्वरूप को भव्यता प्रदान करने के लिए मेला प्रशासन की तैयारियां जोरों पर हैं. खुद मेला अधिकारी दीपक रावत निर्माण कार्यों की मॉनिटरिंग कर रहे हैं. इसी कड़ी में मेलाधिकारी दीपक रावत ने तकरीबन 5 किलोमीटर पैदल चलकर गंगा किनारे हो रहे निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया. इस दौरान निर्माण कार्यों में अनियमितता बरतने पर सिंचाई विभाग के अधिकारियों को जमकर फटकार भी लगाई. साथ ही लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की चेतावनी भी दी.

कुंभ मेला अधिकारी दीपक रावत ने निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया.

आगामी महाकुंभ को शुरू होने में कुछ ही समय बचा है. ऐसे में नहर बंदी के बाद कई कार्य किए जाने थे. जिसकी समय सीमा खत्म हो रही है, लेकिन अभी तक कई कार्य अधर में लटके हैं. जिसे लेकर मेला अधिकारी दीपक रावत तमाम अधिकारियों के साथ निरीक्षण पर निकले. इस दौरान उन्होंने गंगा किनारे तमाम घाटों पर हो रहे निर्माण कार्यों का जायजा भी लिया. निर्माण कार्यों में हीलाहवाली और लापरवाही बरतने पर दीपक रावत ने अधिकारियों को जमकर फटकार भी लगाई.

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मेला अधिकारी दीपक रावत ने अधिकारियों की कार्य प्रणाली पर नाराजगी जताते हुए उन्हें सख्त हिदायत भी दी. उन्होंने कहा कि गंगा बंदी का समय भी खत्म हो रहा है. दीपावली की रात से गंगा बंदी खत्म हो जाएगी. अभी तक कार्य पूरा नहीं हुआ है. उन्होंने गंगा घाटों के तमाम कार्यों को समय से पूरा करने के सख्त निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े, इसके लिए घाटों पर निर्माण कार्य जारी है.

वहीं, अखाड़ा परिषद के महामंत्री हरि गिरि महाराज भी सिंचाई विभाग के अधिकारियों से काफी नाराज नजर आए. उन्होंने आरोप लगाया कि गंगा में भारी मात्रा में गंदे कपड़े पड़े हैं. उसे सिंचाई विभाग की ओर से गंगा में डाला जा रहा था. जो चिंता का विषय है. कुंभ के मद्देनजर और लोगों की आस्था के अनुरूप निर्माण कार्य बेहतर तरीके से किये जाने चाहिए.

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