मुजफ्फरनगर: जिला गुड़ और चीनी की मिठास के लिए विश्व में प्रसिद्ध है. मुख्य रूप से यहां गन्ने की फसल होती है, इसलिए इसे शुगर बाउल भी कहा जाता है. गन्ना मिलों का पेराई सत्र अब अंतिम चरण में चल रहा है. कुछ शुगर मिल अगले सीजन के लिए बंद हो गई हैं और कुछ बंद होने वाली हैं.
मुजफ्फरनगर: गन्ने का रिकॉर्ड उत्पादन, जून तक चलेगा पेराई सत्र
उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले में इस बार गन्ने का रिकॉर्ड तोड़ उत्पादन हुआ. मिलों का पेराई सत्र अंतिम चरण में चल रहा है, कुछ शुगर मिले अगले सीजन के लिए बंद भी हो गई हैं. जिसको लेकर ईटीवी भारत ने जिला गन्ना अधिकारी से बात की.
जिला गन्ना अधिकारी आर.डी द्विवेदी ने बताया कि जनपद में कुल 8 चीनी मिल हैं, जिनमें अभी तक 3 चीनी मिल जो भैसाना, टिकोला, खाईखेड़ी में हैं वो बंद हुई है. 5 चीनी मिल रोहाना, तितावी, मंसूरपुर, खतौली, मोरना में अभी चल रही है. 27 मई तक एक हजार बीस लाख क्विंटल गन्ने की खरीद और पेराई की जा चुकी है. जबकि विगत वर्ष में कुल गन्ने की पेराई 914 लाख क्विंटल थी. इस प्रकार आज की तारीख में 106 लाख क्विंटल से अधिक गन्ने की खरीद और पेराई की जा चुकी है.
इस महीने दो चीनी मिले बंद होंगी
संभावना है कि इस वर्ष कुल खरीद एक हजार चालीस लाख क्विंटल होगी. गतवर्ष की तुलना में 120 से 130 लाख क्विंटल गन्ने की अधिक खरीद और पेराई होने की संभावना है. फिलहाल चल रही मिलों में रोहाना और तितावी अंतिम चरण में है, जिसमें रोहाना मिव 29 या 30 मई को और तितावी 31 मई को बंद हो जाएगी. अन्य चीनी मिल मोरना, खतौली, मंसूरपुर का पेराई सत्र जून में भी चलेगा.