लखनऊःअप्राकृतिक दुराचार के एक मामले में नाबालिग को दो वर्ष के लिए विशेष सुधार गृह भेजने के जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका को पॉक्सो एक्ट के विशेष न्यायाधीश अरविंद मिश्रा ने खारिज कर दिया है. कोर्ट ने भी किशोर की दोष सिद्धि की पुष्टि करते हुए, उसे दो साल के लिए विशेष सुधार गृह भेजने का आदेश दिया है.
सरकारी वकील सुखेन्द्र प्रताप सिंह ने बताया कि वादी ने जानकीपुरम थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि 2 मई 2014 को वादी का पांच वर्षीय पुत्र 7 सात बजे किशोर अपचारी की दुकान पर नमकीन लेने गया था. जहां किशोर अपचारी ने वादी के पुत्र को टॉफी का लालच देकर उसके साथ अप्राकृतिक दुराचार किया. बताया गया कि किशोर/नाबालिग होने के चलते मामले की जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड में सुनवाई की गई.