झुंझुनूं. कोरोना काल के बाद गत दिनों शिक्षा विभाग की ओर से आंशिक रूप से कक्षा 9 से 12 तक के विद्यार्थियों के लिए स्कूल शुरू करने के निर्देश दिए हैं. सरकार के इन निर्देशों के साथ ही विभिन्न मुद्दों को लेकर शिक्षकों का विरोध-प्रदर्शन होना शुरू हो गया.
इसी कड़ी में शिक्षा विभाग की ओर से विद्यालयों के समय में 30 मिनट बढ़ाने को लेकर विरोध शुरू हो गया है. जिसको लेकर राजस्थान शिक्षक संघ शेखावत के प्रांतीय आह्वान पर जिला मुख्यालय पर विरोध-प्रदर्शन किया गया. जिसमें जिला इकाई ने जिला कलेक्टर को मुख्यमंत्री और शिक्षामंत्री के नाम ज्ञापन देकर इस फैसले को वापस लेने की मांग की.
विद्यालय दैनिक समयावधि में 30 मिनट की बढ़ोत्तरी रास नही आ रही है शिक्षकों को
शिक्षक संघ के जिला मंत्री रामवतार जांगिड़ ने बताया कि विद्यालयों में दैनिक समयावधि में 30 मिनट की बढ़ोतरी कर दी गई है. पहले विद्यालय 10 बजे शुरू होने थे, लेकिन अब 9.30 बजे से विद्यालयों का संचालन करने के निर्देश विभाग की ओर से दिए गए हैं.
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इसको लेकर संगठन ने प्रदेशभर में ज्ञापन दिए हैं. जिसमें समय वृद्धि वापस लिए जाने की मांग की है. जिला मुख्यालय पर ज्ञापन देने वालों में दुर्गाराम मोगा, रामावतार जांगिड़ आदि शामिल थे. बाद में शिक्षक संघ शेखावत की जिला शाखा ने प्रधानमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन देकर केंद्र सरकार के तीनों कृषि कानूनों को किसान विरोधी बताया. कहा इससे किसानों का शोषण होगा, इसलिए केंद्र सरकार को इन कानूनों को तत्काल निरस्त करना चाहिए.
बिसाऊ के शिक्षकों ने नायब तहसीलदार को दिया ज्ञापन
सरकार की ओर से विद्यालयों का समय बढ़ाए जाने का राजस्थान शिक्षक संघ शेखावत ने विरोध जताते हुए इसे वापस लेने की मांग की है. इसके लिए मुख्यमंत्री के नाम नायब तहसीलदार को ज्ञापन सौंपा है. संघ के सदस्य शिक्षक प्रकाश चंद, रोहिताश शर्मा, विजय सिंह भामू, सुरेंद्र जांगिड़, यशवंत सिंह ने ज्ञापन में बताया कि पहले भी राज्य सरकार ने विद्यालयों की दैनिक कार्य अवधि में बढ़ोतरी की थी, जिसका भारी विरोध हुआ था.