डग (झालावाड़).सर्दी, गर्मी और बरसात में किसानों को फसलों के खराब होने का खतरा रहता है, तो कभी किसी सरकारी योजना में भूमि अवाप्त हो जाने जाने के बाद उसके मुआवजे का संकट खड़ा हो जाता है. ऐसा ही एक मामला सामने आया है, झालावाड़ की डग तहसील का. जहां 2008 में भीमनी बांध के निर्माण के दौरान किसानों की जमीन बांध के डूब क्षेत्र में आ गयी. लेकिन किसानों को अबतक मुआवजा नहीं दिया गया.
जमीनों के मुआवजे के इंतजार में किसानों की आंखें सूख गई हैं. किसान कार्यालयों के चक्कर लगाकर थक चुके हैं, लेकिन उनको उनकी ही जमीनों का मुआवजा नहीं मिल पा रहा है. किसानों का कहना है, कि जमीन डूबने के बाद से उनको मुआवजा नहीं मिला है और उनकी जमीनों में भी बांध का पानी भरा रहता है, जिसके चलते उनके पास खेती की जमीन भी नहीं बची है.
पढ़ेंः झालावाड़ में लगा है जानवरों का ब्यूटी पार्लर, यहां मिलती है जानवरों के श्रंगार की पूरी सामग्री