जयपुर.सफाई कर्मचारियों की हड़ताल के चलते राज्य सरकार एकाएक बैकफुट पर आ गई है. राज्य की नगरीय निकायों में 13 हजार 184 सफाई कर्मचारियों के पदों पर कराई जा रही सीधी भर्ती को अग्रिम आदेशों तक स्थगित किया गया है. इस संबंध में स्वायत्त शासन विभाग के निदेशक हृदेश कुमार शर्मा ने आदेश जारी किए हैं. हालांकि, आदेशों में भर्ती को स्थगित करने का स्पष्ट रूप से कोई कारण नहीं बताया गया है.
बीते 2 दिन से सफाई कर्मचारियों की हड़ताल के चलते राजधानी सहित प्रदेश के कई नगरीय निकायों में सफाई व्यवस्था चरमरा गई है. अकेले राजधानी में 2 दिन में करीब 1500 टन कचरा नहीं उठा. सड़कों पर झाड़ू नहीं लगी. दरअसल, सफाई कर्मचारी राज्य सरकार की ओर से की जा रही 13 हजार 184 पदों पर भर्ती आरक्षण पद्धति से कराए जाने को लेकर आक्रोशित थे. ऐसे में उन्होंने हड़ताल करते हुए कार्य बहिष्कार किया.
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हालांकि, अब स्वायत्त शासन विभाग ने एक आदेश जारी करते हुए इन भर्तियों को अपरिहार्य कारणों से स्थगित कर दिया है. बावजूद इसके सफाई कर्मचारियों ने अभी भी हड़ताल खत्म नहीं की है. इस संबंध में संयुक्त वाल्मीकि सफाई श्रमिक संघ के अध्यक्ष नंदकिशोर डंडोरिया ने कहा कि उनकी अभी सिर्फ एक मांग मानी गई है. जब तक सरकार की ओर से नई भर्ती विज्ञप्ति जारी नहीं की जाती और उसमें आरक्षण पद्धति को हटाकर वाल्मीकि समाज को प्राथमिकता नहीं दी जाती, तब तक उनकी हड़ताल जारी रहेगी.
बता दें कि बीते दिनों बजट सत्र में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने विभिन्न नगरीय निकायों में सफाई व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए 30 हजार पदों पर सफाई कर्मचारियों की भर्ती का ऐलान किया था. लेकिन स्वायत्त शासन विभाग की ओर से महज 13 हजार 184 पदों पर भर्ती की विज्ञप्ति जारी की गई. उसे भी आरक्षण पद्धति पर कराए जाने का फैसला लिया गया. जिसका विरोध करते हुए सफाई कर्मचारियों ने हड़ताल करते हुए कार्य बहिष्कार कर दिया.