जयपुर.प्रदेश में चुनावी साल में कानून व्यवस्था बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है. विपक्ष के आरोपों पर सीएम गहलोत ने शनिवार को आंकड़ों के साथ जवाब दिया, लेकिन गहलोत के इस जवाब पर नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने पलटवार किया. राठौड़ ने कहा कि अशोक गहलोत झूठों के मसीहा बनकर उभरे हैं. 2018 के विधानसभा चुनाव में बड़े-बड़े झूठे वादे कर राजस्थान की भोली-भाली जनता को मूर्ख बनाने का कार्य किया है. अब अपनी नाकामी का ठीकरा केंद्र सरकार पर फोड़कर अपनी उपलब्धियों का बखान कर रहे हैं. इसके साथ ही राठौड़ ने सीएम की गुढ़ा पर चुप्पी पर भी सवाल उठाए. राठौड़ ने कहा कि गुढ़ा लाल डायरी के उस रहस्य को भी उजागर करें, जिसकी बात उन्होंने कही थी.
नाकामी का ठीकरा केंद्र सरकार परः राठौड़ ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राज्य की लचर कानून व्यवस्था, विफल योजनाओं, पेपर लीक और अपनी नाकामी का ठीकरा केन्द्र सरकार पर फोड़कर अपनी उपलब्धियों का बखान कर रहे हैं, लेकिन हकीकत इससे कोसों दूर है. मणिपुर की घटना निश्चित तौर पर शर्मसार करने वाली है, लेकिन जब राजस्थान में महिलाओं के साथ अपराध होते हैं, खाजूवाला में दलित युवती के साथ रेप व हत्या की घटना हुई, हिंडौन की घटना हुई, दौसा की घटना हुई, उस पर मुख्यमंत्री अपना मुंह तक नहीं खोलते और दोहरा चरित्र अपनाते हैं. हाल ही में जोधपुर में जेएनयू में हुआ गैंगरेप, स्कूल में मासूम बच्ची के साथ दरिंदगी हुई इन पर खामोशी क्यों साधे हुए हैं.
राठौड़ ने कहा कि सीएम गहलोत को मणिपुर की चिंता है, लेकिन राजस्थान में खाजुवाला, हिडौंन, दौसा की घटना पर चिंता करनी चाहिए थी. उन्होंने कहा कि एनसीआरबी आंकडों के अनुसार दुष्कर्म के मामलों में राजस्थान तीसरी बार पहले नंबर पर आ चुका है. बदहाल कानून व्यवस्था और इससे त्रस्त होती जनता अब हिसाब लेने के लिए तैयार है. राठौड़ ने कहा कि चुनावी वर्ष आते ही मुख्यमंत्री जी लोकलुभावन घोषणाएं कर रहे हैं, जिसके जाल में जनता फंसने वाली नहीं है.
गुढ़ा पर खामोशी क्योंः राठौड़ ने कहा कि कांग्रेस सरकार में सैनिक राज्य मंत्री रहे राजेन्द्र गुढ़ा ने जब महिला दुष्कर्म को लेकर प्रदेश की बहन-बेटियों की पीड़ा को सच्चाई के साथ सबके सामने रखा तो, यह बात सीएम गहलोत को इतनी नागवार गुजरी कि उन्होंने गुढ़ा को मंत्रीपद से बर्खास्त कर दिया. साढ़े 4 साल के दौरान अंतर्कलह से जूझती कांग्रेस सरकार को बार-बार सत्ता में बनाये रखने में अहम भूमिका निभाई थी. गुढ़ा वही मंत्री है जिनके पुत्र के जन्मदिन पर गहलोत ने कहा था कि गुढ़ा, आपने मेरी सरकार बचाई है. मैं जिंदगीभर आपका एहसानमंद रहूंगा, लेकिन वो ही गुढ़ा मुख्यमंत्री की आंख में तब से चुभने लग गए थे, जब से उन्होंने सचिन पायलट के साथ जन संघर्ष यात्रा में चले गए.