जयपुर. डीजीजीआई की जयपुर जोनल यूनिट ने वित्तीय वर्ष 2018-19 में 1 अप्रैल 2018 से 31 मार्च 2019 तक कुल 116 कर चोरी के मामले उजागर करते हुए 1120.43 करोड़ रुपए की कर चोरी पकड़ी है. डीजीजीआई के एडीजी राजेंद्र कुमार ने प्रेस वार्ता में जानकारी देते हुए बताया कि वित्तीय वर्ष 2017-18 में कर चोरी के 46 मामले पकड़े गए थे, जिसमें 672.50 करोड़ की कर चोरी सामने आई थी.
डीजीजीआई ने 1120.43 करोड़ की कर चोरी का किया खुलासा
डीजीजीआई जयपुर जोनल यूनिट के एडीजी ने मंगलवार को प्रसवार्ता में कर चोरी का बड़ा खुलासा किया हैं.
वहीं यदि पिछले वित्तीय व्रर्ष की तुलना वर्तमान वित्तीय वर्ष से की जाए तो कर चोरी के मामलों में 1.7 गुना वृद्धि हुई है और राजस्व में 447.93 करोड] रुपये की वृद्धि हुई है. एडीजी राजेंद्र कुमार ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2018-19 में कर चोरी के 85 मामलों में तकरीबन 350 करोड़ की राजस्व वसूली की गई है जो कि वित्तीय वर्ष 2017-18 में 20 मामलों में 14.90 करोड़ की राजस्व वसूली से 23 गुना अधिक है.
एडीजी राजेंद्र कुमार ने बताया कि कर चोरी करने वाले लोगों पर डीजीजीआई की पैनी नजर है और एक के बाद एक बड़ी कार्रवाई को भी अंजाम दिया जा रहा है. एडीजी ने बताया कि जयपुर में फर्जी इनवॉइस से जुड़े मामले में विश्वकर्मा इंडस्ट्री से तकरीबन 105 करोड़ का रेवेन्यू रियलाइज किया गया. वहीं सौरव चाचेड़ से 1.48 करोड़, संदीप गोयल से 5.61 करोड़ और सुभाष चंद्र त्यागी से 1.68 करोड़ रुपये का रेवेन्यू रियलाइज हुआ.