जयपुर. राजस्थान विधानसभा में आज चौमूं से विधायक रामलाल शर्मा ने नियम 50 पर बोलते हुए कहा कि उनके क्षेत्र में आने वाला वीर हनुमान मंदिर तत्कालीन वसुंधरा राजे ने खोले के हनुमान मंदिर की तर्ज पर बनाने का निर्णय लिया था. जिसके बाद जेडीए ने इसका प्रारूप बनाया और इसके लिए रास्ते और तमाम सुविधाएं तैयार की गई.
'...नहीं तो हनुमान की ताकत से कर्नाटक की तरह राजस्थान में भी सरकार पर संकट आ जाएगा'
सामोद में वीर हनुमान मंदिर के रोपवे पर कलेक्टर की रोक पर आज सदन में बोलते हुए भाजपा विधायक रामलाल शर्मा ने कहा कि प्रदेश की सरकार जल्द इस रोक को हटवाए. उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं हुआ तो राजस्थान में भी सरकार पर संकट आ जाएगा.
मंदिर कमेटी और काम करने वाली कंपनी के बीच में इसे लेकर एमओयू भी हुआ. क्योंकि मंदिर पर चढ़ने के लिए 800 सीढ़ियां हैं और जो लोग 800 सीढ़ियां चढ़कर मंदिर नहीं जा सकते हैं वह लंबे समय से इस रोपवे का इंतजार कर रहे थे. नवंबर 2018 में इसके भौतिक सत्यापन के लिए कलेक्टर ने पीडब्ल्यूडी, पुलिस, एसडीएम और पर्यटन विभाग को लिखा. वहीं, चारों विभागों की अनुमति मिलने के बाद यह काम शुरू हुआ, लेकिन कलेक्टर ने इसमें अब मैकेनिकल विभाग की परमिशन नहीं होने की बात कहते हुए रोपवे चलने पर रोक लगा दी है.
जबकि चारों विभागों की परमिशन मिल चुकी थी और भी अगर कोई परमिशन चाहिए थी तो कलेक्टर अपने स्तर पर लेते. भाजपा विधायक ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि वीर हनुमान की ताकत क्या है यह सदन में बैठे लोगों को भी पता है. उन्होंने सरकार को आगाह करते हुए कहा कि यह आस्था का केंद्र है अगर ऐसा ही रहा तो सरकार पर कोई संकट आ सकता है. उन्होंने कहा कि जिस तरीके से कर्नाटक में संकट आया है उसी तरीके से अगर राजस्थान में राजनीतिक संकट आया तो फिर कांग्रेस भाजपा को जिम्मेदार ठहराएगी.