हनुमानगढ़. साढ़े तीन साल पूर्व एक मेडिकल स्टोर से जब्त नशीली गोलियां और सिरप के मामले में मेडीकल स्टोर संचालक को एनडीपीएस जज वीरेंद्र जसूजा ने 10 साल की लंबी सजा के साथ 1 लाख अर्थदंड भी सुनाया. राज्य सरकार की ओर से मामले की पैरवी विशिष्ट लोक अभियोजक दिनेश दाधीच ने की.
एनडीपीएस कोर्ट ने 10 साल की सजा सुनाई प्रकरण के अनुसार 17 मई 2017 को जंक्शन थाने की तत्कालीन प्रभारी प्रशिक्षु आरपीएस ममता सारस्वत को मुखबिर के जरिए सूचना मिली थी कि सुरेशिया में राम मेडिकल स्टोर का संचालक विपुल कुमार (33) पुत्र कृष्णलाल जाट निवासी वार्ड नम्बर 43 नशीली दवाएं बेचने का कार्य करता है. सूचना पर पुलिस ने राम मेडिकल स्टोर पर पहुंच जांच की तो मेडिकल स्टोर से ऑनरेक्स कफ सिरप की 12 शीशियां एवं एंटीलोर टेबलेट के 11 पत्ते जिसमें कुल 110 टेबलेट थी, बरामद की.
मौके से विपुल कुमार को गिरफ्तार कर उसके खिलाफ एनडीपीएस एक्ट की धारा 8/21, 8/22 के तहत मामला दर्ज कर जांच सदर थाना प्रभारी जगदीश पांडर को सौंपी गई थी. जांच के दौरान अपराध प्रमाणित पाए जाने पर पुलिस ने न्यायालय में चालान पेश किया.
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वरिष्ठ लोक अभियोजक दिनेध दाधिच ने जानकारी देते हुए बताया की, विचारण के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से कुल 14 गवाह एवं 55 दस्तावेज पेश करवाए गए. न्यायालय ने अपराध प्रमाणित पाए जाने पर विपुल कुमार को दोषी करार देकर 10 वर्ष के कठोर कारावास तथा 1 लाख रुपए के जुर्माना लगाया. जुर्माना राशि अदा नहीं करने पर 6 माह के अतिरिक्त कारावास की सजा से दंडित किया.