बूंदी. जिला परिषद के सामान्य वर्ग के लिए आरक्षित वार्ड नंबर 8 पर सबकी निगाहें टिकी हुई है. इस वार्ड में जिले में सबसे ज्यादा प्रत्याशी मैदान में है. यहां सर्वाधिक 6 दावेदार अपना भाग्य आजमा रहे हैं. इनमें कांग्रेस, भाजपा, आरएलपी, बसपा और दो निर्दलीय उम्मीदवार शामिल हैं. प्रथम चरण के वार्ड नंबर-8 के मतदाता 23 नवंबर को मतदान करेंगे.
प्रथम चरण के चुनाव प्रचार का अंतिम दिन शनिवार को होने से दोनों प्रमुख पार्टियों के उम्मीदवार अपने समर्थकों के साथ प्रचार अभियान में जुटे. यहां कांग्रेस के कमलेश चांदना पूरे जोर-शोर से मैदान में डटे हुए हैं. वहीं, बीजेपी के पुरुषोत्तम शर्मा ने भी जी जान से क्षेत्र में ताल ठोक रखी है. बूंदी जिले के तालेड़ा में 8 नंबर वार्ड वाली सीट दोनों पार्टियों ने सामान्य सीट होने की वजह से जिला प्रमुख के दावेदार यहां से उतारे गए हैं. अगर 20 साल के राजनीतिक रिकॉर्ड की बात की जाए तो 20 साल से बूंदी में बीजेपी का एक भी जिला प्रमुख नहीं बन पाया है. कांग्रेस का ही दबदबा यहां रहा है. लेकिन, इस बार सूत्रों की मानें तो बीजेपी ने अपने टिकट प्रणाली में मजबूत दावेदारों को इन सीटों पर उतारा है, जिससे बूंदी में बीजेपी का जिला प्रमुख बनाकर मिथक तोड़ा जा सके. लेकिन कांग्रेस ने भी इन इलाकों में अपनी धाक जमाने वाले नेताओं को उतार कर मुकाबले को कड़ा कर दिया है.
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कहा जा सकता है कि 4 चरणों में आयोजित होने वाले पंचायत राज चुनाव के तहत जिला परिषद और पंचायत राज चुनाव में बूंदी की तालेड़ा पंचायत समिति की वार्ड 8 की सीट हॉट सीट रहने वाली है. इस सीट से बूंदी जिला प्रमुख निश्चित रूप से माना जा रहा है दोनों ही पार्टियों ने अपनी-अपनी जीत का दावा किया है, लेकिन असल में जनता किसको जिला प्रमुख बनाकर भेजेगी ये देखना होगा. दोनों ही पार्टियों के प्रबल दावेदारों ने अपनी-अपनी जीत का दावा किया है , लेकिन 23 नवंबर को प्रथम चरण का मतदान होना है इस मतदान में जनता और सियासी ऊंट किस करवट बैठेगा यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा.
दोनों पार्टी के नेता कर रहे जीत का दावा
पंचायती राज चुनाव का बिगुल अब अपने अंतिम क्षणों में चल रहा है. केवल रविवार का ही दिन बचा है. ऐसे में दोनों ही पार्टियों के कार्यकर्ताओं नेताओं ने अपनी जान लगा दी है. बीजेपी और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों के प्रत्याशी जीत का दावा कर रहे हैं. कांग्रेस के प्रत्याशी और जिला प्रमुख के दावेदार माने जा रहे कमलेश शर्मा ने ईटीवी भारत से कहा कि केंद्र सरकार और बीजेपी की पूर्व राज्यों की नीतियों को देखते हुए इस बार भी कांग्रेस के पक्ष में हमारा माहौल बन रहा है. निश्चित रूप से कृषि कानून और बेरोजगारी के मुद्दे सहित कई ऐसे मुद्दे हैं, जो कांग्रेस को मजबूत बनाने का काम कर रहे हैं और निश्चित रूप से पंचायत राज चुनाव में हमारा जिला प्रमुख बनने जा रहा है. वहीं, बीजेपी के पुरुषोत्तम शर्मा कांग्रेस के कमलेश शर्मा को कड़ी टक्कर दे रहे हैं और जिला प्रमुख के दावेदार माने जा रहे हैं. उनका कहना है कि क्षेत्र के अंदर बीजेपी के पक्ष में माहौल है और कांग्रेस सरकार द्वारा राजस्थान के ग्रामीण इलाकों में कोई काम नहीं गया किया है. जिन वादों के साथ सरकार अपनी सत्ता में आई थी, उन वादों को सरकार भूल गई है. इस बार सारे मिथकों को तोड़कर हम लोग बूंदी में बीजेपी का जिला प्रमुख बनाने जा रहे हैं.
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तालेड़ा सीट से जुड़ा है जिला प्रमुख का गणित
पंचायती राज चुनाव में आरक्षित सीटों का चयन किया गया है. उसके अनुसार ही दावेदारों को टिकट वितरित किए गए हैं. बूंदी जिला प्रमुख की सीट सामान्य पुरुष के लिए है. ऐसे में बूंदी विधानसभा में केवल तालेड़ा पंचायत समिति के वार्ड नंबर-8 ऐसी सीट है, जो सामान्य पुरुष के लिए है. ऐसे में दोनों ही पार्टियों ने जिला प्रमुख बनाने के लिए इस सामान्य वाली सीट पर अपनी दावेदारी दिखाते हुए प्रबल दावेदारों को मैदान में उतारा है. कांग्रेस पांचवी बार अपने जिला प्रमुख को बूंदी में जिताने की कोशिश कर रही है और बीजेपी मिथक को तोड़ने में लगी है. बूंदी में जिला परिषद की 23 सीट है और पंचायत समितियों की 5 सीट है. इनमें से 1 सीट कांग्रेस के खाते में चल गई है, क्योंकि हिंडोली में एक सीट पर निर्विरोध निर्वाचन हुआ है. यहां नामांकन खारिज होने के चलते बीजेपी प्रत्याशी को बड़ा झटका लगा है और चुनाव लड़े ही यहां कांग्रेस की जीत दर्ज हुई है.