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राजस्थान में यहां कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप

लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप मच गया है. हालांकि, भाजपा ने पंचायत समिति के प्रधान पद उपचुनाव में कांग्रेस के 11 मतों के मुकाबले 14 मतों से जीतने में कामयाब रही. वहीं हार के बाद भी कांग्रेस खेमे में खुशी की लहर देखी गई.

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Published : Mar 15, 2019, 7:55 PM IST

कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप

बांसवाड़ा. लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप मच गया है. हालांकि, भाजपा ने पंचायत समिति के प्रधान पद उपचुनाव में कांग्रेस के 11 मतों के मुकाबले 14 मतों से जीतने में कामयाब रही. वहीं हार के बाद भी कांग्रेस खेमे में खुशी की लहर देखी गई.


बता दें, भारतीय जनता पार्टी घाटोल पंचायत समिति के प्रधान पद उपचुनाव में अपना परचम लहराने में कामयाब रही लेकिन, मतगणना के नतीजे पार्टी नेताओं को सकते में डाल गए. जगह जगह कांग्रेस नेताओं के भाजपा में आने की खबरें आ रही हैं. वहीं, इस उपचुनाव में भाजपा पार्टी का एक सदस्य पाला बदल गया. कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप मच गया है. अब पार्टी अंदर ही अंदर मामले की जांच कराने में जुटी है.
दरअसर, 12 मार्च को हुए उपचुनाव में पार्टी ने सैना देवी को अपना कैंडिडेट बनाया था वहीं सामने कांग्रेस ने जीवनी देवी को मैदान में उतारा था. काफी कशमकश के बीच यह चुनाव हुए. सेंधमारी के डर के मारे भाजपा और कांग्रेस द्वारा अपने अपने सदस्यों की बाड़ा बंदी की गई थी और निर्धारित समय से कुछ समय पहले अपने सदस्यों को पंचायत समिति में मतदान स्थल पर लाया गया. चौंकाने वाली बात यह है कि बाड़ा बंदी के दौरान सदस्य अपनी अपनी पार्टी के खेमों में थे. इसके बाद भी भाजपा अपने सदस्यों को कंट्रोल में नहीं रख पाई.

कांग्रेस की सेंधमारी से जिला भाजपा में हड़कंप

हालांकि, भाजपा की प्रत्याशी सैना देवी 11 के मुकाबले 14 मतों से जीतने में कामयाब रही लेकिन, हार के बाद भी कांग्रेस खेमे में खुशी की लहर नजर आई. कांग्रेस के पास 10 सदस्य थे लेकिन, मतगणना में उसके कैंडिडेट को 11 सदस्यों का समर्थन मिला यानी भाजपा के किसी सदस्य ने बाहर नहीं आते हुए गोपनीय तरीके से कांग्रेस अपना समर्थन दे दिया.
इस मामले के सामने आने के साथ ही जिला भाजपा में भूचाल आया हुआ है. जिला अध्यक्ष मनोहर त्रिवेदी ने माना कि पार्टी का एक पंचायत समिति सदस्य द्वारा क्रॉस वोटिंग की गई है. क्रॉस वोटिंग किस सदस्य द्वारा की गई मामले की जांच करवाई जा रही है.

बता दें, पंचायत समिति में कुल 27 सदस्य हैं. इनमें से 17 भाजपा और 10 कांग्रेस प्रत्याशी चुनाव जीतकर पंचायत समिति पहुंचे थे. प्रधान पद पर भाजपा के हरेंद्र निनामा चुने गए. पिछले साल पार्टी की एक सदस्य अनीता राणा ने सरकारी सेवा में मौका मिलने के बाद पंचायत समिति सदस्यता से इस्तीफा दे दिया. वहीं, हरेंद्र निनामा विधानसभा पहुंच गए. इस प्रकार भाजपा के पास 15 सदस्य रह गए लेकिन राज्य सरकार ने एक आदेश जारी कर पार्टी की जीवनी देवी को प्रधान मनोनीत कर दिया. भाजपा सदस्य सैना देवी मामले को उच्च न्यायालय ले गईं. न्यायालय के आदेश के बाद 12 मार्च को चुनाव कराए गए.

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