सागर। बुंदेलखंड अपनी ऐतिहासिक और पुरातात्विक धरोहरों के लिए विश्वभर में मशहूर है. बुंदेलखंड में खजुराहो के विश्व प्रसिद्ध मंदिर मौजूद हैं, ओरछा में भगवान राम का दरबार है. इसी तरह के ऐतिहासिक धरोहर बुंदेलखंड को प्राचीन कीर्ति और वैभव का आभास कराते हैं. जिले के रेहली नगर में 1100 साल पुराना चंदेल कालीन सूर्य मंदिर है और यह देश का ऐसा इकलौता मंदिर है, जो कर्क रेखा पर स्थित है. भारत सरकार अब इस ऐतिहासिक धरोहर को सजाने और संवारने के लिए विशेष प्रयास कर रही है.
- 5 एकड़ में बन रहा पार्क
रेहली में सुनार और देहर नदी के संगम पर बने 1100 साल पुराने इस मंदिर के नजदीक 5 एकड़ में पार्क बनाया जा रहा है. जो मंदिर परिसर की खूबसूरती पर चार चांद लगाएगा. इसके अलावा सरकार मंदिर में पर्यटकों के लिए भी कई प्रकार के इंतेजाम कर रही है, जिससे कि लोग अधिक से अधिक मात्रा में इस मंदिर के दर्शन कर सकें.
- जानिए क्या खासियत है रेहली के सूर्य मंदिर की
1. रेहली की सुनार नदी के तट पर स्थित है इस सूर्य मंदिर की स्थापना 10 वीं शताब्दी में चंदेल वंश के राजा द्वारा की गई थी. यह लगभग 1100 साल पुराना मंदिर है.
2. यह देश का एकमात्र ऐसा सूर्य मंदिर है, जो कर्क रेखा पर स्थित है, अर्थात मंदिर के दाएं तरफ दक्षिण और बाएं तरफ से उत्तर दिशा है.