इंदौर। अस्पतालों में लगातार ओपीडी पर बढ़ रहे बोझ और लोगों को उनके घर के आसपास बेहतर स्वास्थ्य सुविधा मिल सके, इसके लिए राज्य सरकार वार्ड स्तर पर संजीवनी क्लीनिक की शुरुआत करने जा रहा है. जिसमें पहले चरण में इंदौर से इसकी शुरुआत हो चुकी है, इसके अलावा शहर के दूसरे स्थानों पर कुल 45 संजीवनी क्लीनिक खोले जा रहे हैं.
प्रदेश में वार्ड स्तर पर खोले जाएंगे संजीवनी क्लीनिक, इंदौर से हुई शुरूआत
कमलनाथ सरकार ने संजीवनी क्लीनिक की शुरुआत इंदौर से की है, इसके अलावा दूसरे स्थानों पर 45 संजीवनी क्लीनिक खोले जाएंगे.
संजीवनी क्लीनिक के वर्तमान सेटअप के लिए एक डॉक्टर, दो स्टॉफ नर्स और लैब टेक्नीशियन की व्यवस्था की जा रही है. साथ ही 10 हजार की जनसंख्या के लिए एक ANM और 2500 की जनसंख्या के लिए एक आशा कार्यकर्ता की नियुक्ति का प्रावधान है.
एनआरएचएम की संचालक छवि भारद्वाज ने बताया कि संजीवनी क्लीनिक खुलने का मुख्य उद्देश्य है कि बड़े अस्पतालों में प्रतिदिन आने वाले 200 से 300 ओपीडी को कम करना है. जिसके चलते जिलों में जल्द ही मोहल्ला स्तर पर संजीवनी क्लीनिक खोले जाएंगे.