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पूर्व विधायक ने हितग्राही परिवारों के साथ दिया धरना, शामिल लोगों ने उनपर ही लगाया आरोप

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Published : May 2, 2023, 9:25 PM IST

ग्वालियर में मंगलवार को पूर्व विधायक मुन्ना लाल गोयल ने उन हितग्राही परिवारों को बुलाया जिनको साल 2020 में विभिन्न इलाकों से हटाया गया था और केदारपुर में स्थाई पट्टे दिए गए थे. हालांकि, इन हितग्राहियों ने खुद पूर्व विधायक पर आरोप लगाया है, उनका कहना है कि अभी चुनाव आने वाला है इसलिए ये माहौल बना रहे हैं.

goyal protest with home beneficiary families
गोयल ने गृह लाभार्थी परिवारों के साथ किया विरोध

ग्वालियर के पूर्व विधायक मुन्ना लाल गोयल

ग्वालियर।मध्य प्रदेश में आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए ग्वालियर चंबल-अंचल में अब सियासत शुरू हो गई है. इसी को लेकर मंगवालर को पूर्व विधायक और सिंधिया समर्थक मुन्नालाल गोयल ने गरीबों के आशियानों के नाम पर नगर निगम पर प्रदर्शन कर धरना दिया. इस धरने में पूर्व विधायक मुन्ना लाल गोयल, सभापति मनोज तोमर सहित तमाम लोग शामिल हुए जिन्हें सरकारी आवास स्वीकृत नहीं हुआ है. सबसे खास बात ये है कि इस धरना प्रदर्शन में शामिल होने वाले हितग्राहियों ने पूर्व विधायक मुन्नालाल गोयल पर ही आरोप लगाया है.

हितग्राहियों का पूर्व विधायक पर आरोप: इस धरने में पूर्व विधायक मुन्ना लाल गोयल ने उन हितग्राही परिवारों को बुलाया जिनको साल 2020 में विभिन्न इलाकों से हटाया गया था. वैसे गरीब और मजदूर वर्ग के लोगों को केदारपुर में स्थाई पट्टे दिए हैं. यहां सड़क सीवर नल और अन्य सुविधाओं को लेकर सरकार ने करीब 5 करोड़ रुपए मंजूर किए हैं, लेकिन मुन्ना लाल गोयल का आरोप है कि महापौर शोभा सिकरवार नगर निगम में इस गरीब बस्ती की फाइलों को दबाकर बैठी हैं. इसी को लेकर मंगलवार को यह धरना आयोजित हुआ, लेकिन खास बात यह रही कि जिन हितग्राहियों को धरने में बुलाया वह अक्रोशित नजर आए. धरने में शामिल होने आए लोगों का कहना है कि मुन्नालाल गोयल गरीबों के लिए कुछ नहीं कर रहे हैं. चुनाव आ गया है इसलिए भीड़ इकट्ठी करने के लिए बुलाते हैं. पिछले 2 सालों से उन्हें आश्वासन मिल रहा है और उसके नाम पर यह कई बार भीड़ इकट्ठी करने के लिए हमें बुला लेते हैं, लेकिन इस समस्या का हल नहीं हो पा रहा है.

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पूर्व विधायक का कांग्रेस विधायक पर आरोप:पूर्व विधायक मुन्ना लाल गोयल का कहना है कि "कांग्रेस विधायक सतीश सिकरवार और उनकी महापौर पत्नी शोभा सिकरवार दलित और आदिवासियों के घरों के निर्माण के लिए प्रस्तावित जमीन पर न सिर्फ कब्जा जमाए बैठे हैं बल्कि वह उस जमीन पर सरकार द्वारा मंजूर किए गए विकास कार्यों को भी नहीं होने दे रहे हैं. दोनों पति-पत्नी खुद को गरीब और कमजोर वर्गों के हितैषी साबित करने के लिए तत्पर रहते हैं, लेकिन यही लोग सरकार द्वारा मंजूर की गई केदारपुर की जमीन पर विकास कार्य को नहीं होने दे रहे हैं और न ही उनकी जमीन पर से अपना कब्जा हटा रहे हैं. ईश्वर से प्रार्थना की है कि कांग्रेस विधायक सतीश सिकरवार और उनकी पत्नी शोभा सिकरवार को सद्बुद्धि दे और वह कमजोर वर्गों के लिए विकास कार्यों को होने दें. अन्यथा आने वाले चुनाव में जनता उन्हें सबक सिखाएगी."

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