बुरहानपुर। जिले में विश्व ग्रामीण महिला दिवस पर अपने काम से पहचान बनाने वाली महिला शाहजहां उप-स्वास्थ्य केंद्र भावसा में बतौर एएनएम पदस्थ है. दिन हो या रात किसी भी तरह की स्वास्थ्य सेवा के लिए शाहजहां हमेशा तत्पर रहती हैं.
शाहजहां ने लोगों की सेवा को बनाया अपना ईमान, गांवों की तरक्की का दूसरा नाम हैं 70 महिला सरपंच - Sub-Health Center Bhavsa
बुरहानपुर जिले में विश्व ग्रामीण महिला दिवस पर शाहजहां जिले के उप-स्वास्थ्य केंद्र भावसा में स्वास्थ्य सेवाओं के लिए हमेशा तत्पर रहती हैं. तो वहीं जिले की करीब 70 ग्राम पंचायतों में महिला सरपंच अपने गांवों की तरक्की का मार्ग प्रसस्त करने में जुटी हैं.
करीब 15 साल से स्वास्थ्य विभाग में सेवाएं दे रही शाहजहां अब तक 12 सौ से ज्यादा प्रसव करवा चुकी हैं, इसके साथ ही प्रसूताओं को खून की कमी होने और कहीं से इंतजाम नहीं होने पर भी खुद ही दर्जनों बार ब्लड डोनेट भी करवा चुकी हैं. लोगों की परेशानी को देखते हुए उन्होंने उप-स्वास्थ्य केंद्र को ही अपना आशियाना बना लिया है. स्वास्थ्य केंद्र में रहकर ही दिन- रात लोगों की सेवाएं कर रही हैं. इस काम में उनके पति शकील भी उनका पूरा सहयोग करते हैं.
ग्रामीण महिला दिवस के मौके पर महिला सरपंचों के योगदान को भी नजरअंदाज नहीं किया जा सकता, जिले में डेढ़ सौ से अधिक ग्राम पंचायतों में से करीब 70 पंचायतों में महिला सरपंच अपने गांवों की तरक्की का मार्ग प्रसस्त करने में जुटी हैं, इनमें से कई सरपंच ऐसी भी हैं जो पंचायत और घरेलू कामकाज के अलावा खेत में भी काम करने जाती हैं. ग्राम पंचायत भावसा, खामनी, मालवीर, नाचनखेड़ा, उमरदा, चापोरा, इटारिया सहित 70 ग्राम पंचायतों में महिला सरपंच प्रतिनिधित्व कर रही हैं, जो महिला सशक्तिकरण को बढ़ावा दे रही हैं.