भोपाल।विधानसभा चुनाव के लिए आम आदमी पार्टी अब आदिवासी नेताओं और बीजेपी कांग्रेस से असंतुष्ट नेताओं का डाटा व कुंडली तैयार कर रही है. जिसके चलते वह कई सीटों पर इन्हें आम आदमी पार्टी में शामिल कर चुनाव लड़ा सकती है. 25 जून के बाद इस पर एक बड़ा फैसला हो सकता है. 25 जून को मध्य प्रदेश के ग्वालियर में आम आदमी पार्टी एक बड़ी रैली और सभा का आयोजन करने जा रही है. इनमें आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल और पंजाब के सीएम भगवत मान विशेष रूप से मौजूद रहेंगे. जिसके बाद आम आदमी पार्टी मध्यप्रदेश में अपने विधानसभा चुनाव का शंखनाद यहां से कर सकती है.
25 जून को होने वाली रैली और सभा के बाद में आप अपने कई पत्ते यहां खोल सकती है. ऐसा माना जा रहा है कि इस मंच से कई आदिवासी संगठनों के साथ आम आदमी पार्टी चुनाव लड़ने के अपने मंसूबे और गठबंधन को भी जारी कर सकती है. आप से जुड़े एक वरिष्ठ नेता की मानें तो पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने ऐसे नेताओं और लोगों की पूरी जानकारी पार्टी से मांगी है, जो बीजेपी और कांग्रेस से असंतुष्ट हो या आदिवासी क्षेत्रों में अपनी पकड़ मजबूत रखते हों.
आदिवासियों पर फोकस:अरविंद केजरीवाल, बीजेपी और कांग्रेस की पारंपरिक सीटों पर ज्यादा फोकस ना रखते हुए आदिवासी सीटों पर फोकस बनाए हुए है. पार्टी के सूत्रों की माने तो उन 25 से 30 आदिवासी सीटों पर फोकस किया जा रहा है, जहां पर आदिवासी संगठनों की बेहतर पकड़ है. इसके लिए केजरीवाल ने गोंडवाना गणतंत्र पार्टी, भारतीय गोंडवाना पार्टी के साथ ही जयस के दोनों संगठनों के उन नेताओं की कुंडली और जानकारी जुटा रही है, जिनका यहां पर प्रभाव है. जिसका ज्यादा प्रभाव होगा, उससे हाथ मिलाकर गठबंधन कर इन क्षेत्रों में आम आदमी पार्टी चुनाव लड़ेगी, क्योंकि केजरीवाल का इसमें मानना है कि नए किसी चेहरे को आदिवासी क्षेत्रों में उतारने की अपेक्षा जिन चेहरों का वहां पर दबदबा है. उन्हें ही अगर वहां पर गठबंधन कर उतारा जाता है तो निश्चित ही आम आदमी पार्टी को भी सफलता मिलेगी. ऐसे में गठबंधन की क्या शर्ते होंगी, फिलहाल यह बताने को कोई भी तैयार नहीं है.