भोपाल। भारतीय महिला हॉकी टीम का सेमीफाइनल के लिए बुधवार को मुकाबला होने जा रहा है. इस मुकाबले में जबरदस्त प्रदर्शन के लिए टीम को एकजुटता के साथ मानसिक तौर से भी तैयार रहने की जरूरत है. यह कहना है भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कोच राजेंद्र सिंह सीनियर का. आइए जानते हैं उन्होंने और क्या-क्या कहा.
पुरुष हॉकी में भारत को मिल सकता है ब्रॉन्ज मेडल, अगर मान ले पूर्व कोच की ये सलाह - Tokyo Olympic 2020
टोक्यो ओलंपिक में भारत को अब तक सिर्फ दो पदक ही मिले हैं. पहला पदक भारतीय महिला वेटलिफ्टर मीराबाई चानू ने दिलाया था, तो दूसरा पदक भारतीय बैडमिंटन स्टार पीवी सिंधु ने भारत की झोली में डाला था. ऐसे में अब भारत की झोली में और पदक आने की पूरी उम्मीद है, क्योंकि बुधवार को भारतीय महिला हॉकी टीम का सेमीफाइनल के लिए मुकाबला होने जा रहा है.
भारतीय हॉकी टीम का मुकाबला आज
मालूम हो कि भारतीय महिला हॉकी टीम आज सेमीफाइनल का मुकाबला खेलेगी, और पुरुष हॉकी टीम ब्रॉन्ज मेडल के लिए जद्दोजहद करेगी. ऐसे में पूर्व हॉकी ओलंपियन अर्जुन और द्रोणाचार्य अवॉर्डी, भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कोच रहे राजेंद्र सिंह सीनियर का कहना है, कि दोनों ही टीमो ने शानदार प्रदर्शन किया है. उन्होंने कहा कि पुरुष हॉकी टीम को ब्रॉन्ज मेडल को लेकर अपना ध्यान केंद्रित करना है, जबकि भारतीय महिला हॉकी टीम में कई खिलाड़ी ऐसी हैं, जो मध्य प्रदेश में एक समय ट्रेनिंग लेकर गई हैं. जिसमें सुशीला चानू और वंदना कटारिया के नाम शामिल हैं.
राजेंद्र सिंह का कहना है कि मध्यप्रदेश में खेलों को लेकर लगातार अच्छा माहौल बनता जा रहा है. यहां पर जो सुविधाएं हैं. उन्हें खिलाड़ी पसंद कर रहे हैं. यह सुविधाएं वर्ल्ड क्लास हैं. ऐसे में चाहे विवेक सागर हो या नीलाकांता ऐसे ही खिलाड़ी भारतीय टीम में मध्य प्रदेश का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं. राजेंद्रर सिंह के अनुसार जब सुविधाएं अच्छी मिलती हैं तो खिलाड़ी और बेहतर प्रदर्शन करता है.
पूर्व कोच ने दिया जीत का मंत्र
उन्होंने दोनों टीमों के मुकाबले संदेश देते हुए कहा कि, दोनों ही मैचों में खिलाड़ियों को यह समझकर खेलना चाहिए कि यह फाइनल मैच है. अपनी पूरी क्षमताओं के साथ खिलाड़ी खेलें और अपना हंड्रेड परसेंट दें. साथ ही मानसिक रूप से भी तैयार रहें. उन्होंने कहा कि ऐसा मौका जीवन में कम ही आता है.