भोपाल। पेपर लीक होने के चलते मध्यप्रदेश प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड द्वारा ली गई तीन भर्ती परीक्षाओं को निरस्त कर दिया गया है. इसमें वरिष्ठ कृषि विस्तार अधिकारी, ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी और नर्सिंग की परीक्षा शामिल हैं. गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि 11 फरवरी 2020-21 को ली गई परीक्षा के एक दिन पहले पेपर लीक हो गया था. इसके बाद इस साल हुई बाकी 10 परीक्षाओं की जांच की गई, जिसमें से 3 में गड़बड़ी मिलने के बाद परीक्षा निरस्त कर दी गई. हालांकि मंत्री ने कहा कि यह गड़बड़ी नहीं छोटी -सी बात है. जिस परीक्षा का परिणाम ही नहीं आया, उसे निरस्त कर दिया गया.
गड़बड़ी की आशंका के बाद PEB की 3 परीक्षाएं निरस्त, सीएम ने दिए जांच के आदेश इलेक्ट्राॅनिक विकास निगम की जांच में हुआ खुलासा
गृहमंत्री नरोत्तम मिश्र ने बताया कि परीक्षा में गड़बड़ी की शिकायत के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मामले की जांच के निर्देश दिए थे. इसके बाद मध्यप्रदेश प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड के अधिकारियों ने पूरे मामले की जांच की थी. इसमें ऑब्जर्वस तक की भूमिका की जांच की गई. जांच में गड़बड़ी न मिलने पर सीएम के आदेश पर इसकी जांच इलेक्ट्राॅनिक विकास निगम द्वारा गई. जांच में सामने आया कि एक हैकिंग के माध्यम से 10 फरवरी को एक पेपर डाउनलोड किया गया है.
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इसके बाद साल 2020-21 में हुई सभी 10 परीक्षाओं की जांच कराई गई. इसके बाद गड़बड़ी मिलने पर तीन परीक्षाओं वरिष्ठ कृषि विस्तार अधिकारी, ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी और नर्सिंग की परीक्षा को निरस्त कर दिया गया.
गृहमंत्री बोले छोटी-सी बात है, गड़बड़ी नहीं
भर्ती परीक्षा में गड़बड़ी के मामले में देश भर में चर्चित रह चुके व्यापंम कांड के बाद तीन परीक्षाओं में गड़बड़ी मिलने के सवाल पर गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि यह गड़बड़ी नहीं है, बल्कि छोटी-सी बात है. परीक्षा के रिजस्ट ही जारी नही हुए थे, उसके पहले ही परीक्षा निरस्त कर दी गई. गृहमंत्री ने बताया कि अभी तक किसी भी पीईबी के कर्मचारी की मिलीभगत सामने नहीं आई है. सायबर सेल मामले की जांच करेगी.
कमलनाथ ने की सीबीआई जांच की मांग
वहीं मामले को लेकर पूर्व सीएम कमलनाथ ने ट्वीट कर इसकी जांच सीबीआई से कराने की मांग की है. कमलनाथ ने ट्वीट कर लिखा कि "सरकार द्वारा मध्यप्रदेश प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड की वरिष्ठ कृषि विस्तार अधिकारी सहित तीन परीक्षाएं निरस्त करने का निर्णय लिया गया है. इन परीक्षाओं को लेकर शुरूआत से ही निरंतर फर्जीवाडे की शिकायतें सामने आ रही थी. खुद अभ्यर्थी इसको लेकर शिकायतें कर रहे थे. यह प्रदेश का व्यापमं पार्ट 2 है. मैं सरकार से मांग करता हूं कि इस पूरे फर्जीवाडे की जांच सीबीआई को सौंपी जाए"